मुंबई हमला : ऑपरेशन ताज खत्म, मृतक संख्या 183 , प्रधानमंत्री की सेना प्रमुखों के साथ बैठक (लीड-2)
मुंबई/नई दिल्ली, 29 नवंबर (आईएएनएस)। आर्थिक राजधानी मुंबई में 59 घंटों से चल रहा आतंक का खूनी खेल शनिवार सुबह खत्म हो गया। राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) के कमांडो ने आतंकवादियों को मार होटल ताज पर कब्जा कर लिया। इस दौरान पूरे घटनाक्रम में मरने वालों की संख्या 183 हो गई है, जिसमें 22 विदेशी नागरिक हैं। इस बीच, मुंबई और देश की सुरक्षा स्थिति का जायजा लेने के लिए प्रधानमंत्री ने सैन्य प्रमुखों और अन्य अधिकारियों के साथ बैठक की।
उधर, हमले को लेकर पाकिस्तान पर उठ रही उंगलियों के बीच वहां के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार महमूद अली दुर्रानी ने कहा कि इंटर सर्विसेज इंटेलीजेंस (आईएसआई) हमले की जांच में भारत का पूरा सहयोग करेगी।
इससे पहले ताज में कार्रवाई खत्म होने की घोषणा मुंबई के पुलिस आयुक्त हसन गफूर ने की। शनिवार तड़के लगभग 3.30 बजे से दो घंटे तक सुरक्षाकर्मियों और आतंकवादियों के बीच लगातार गोलीबारी होती रही थी।
इधर, नई दिल्ली में गृह मंत्रालय में वरिष्ठ अधिकारी एम. एल. कुमावत ने कहा कि मारे जाने वालों में 20 पुलिसकर्मी भी शामिल हैं, जिसमें राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) के दो कमांडो, महाराष्ट्र पुलिस के 14 जवान व अधिकारी, स्टेट रिजर्व पुलिस का एक, दो होम गार्ड और एक रेलवे सुरक्षा बल का जवान शामिल है। हमले में अब तक 141 आम लोगों की मौत हुई है।
उन्होंने कहा कि मरने वाले विदेशियों में तीन-तीन जर्मन व इजरायली, दो-दो कनाडाई और अमेरिकी तथा इंग्लैंड, जापान, आस्ट्रेलिया, इटली, चीन, थाइलैंड, मारीशस व सिंगापुर के एक-एक नागरिक हैं। मारे गए पांच अन्य विदेशियों की पहचान होना बाकी है। इसमें 23 अन्य विदेशी घायल हुए हैं।
इस बीच नई दिल्ली में प्रधानमंत्री ने रक्षा सचिव विजय सिंह, गृह सचिव मधुकर गुप्ता, सेना प्रमुख दीपक कपूर, नौसेना प्रमुख एडमिरल सुरीश मेहता, वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल होमी मेजर, तटरक्षक बल के महानिदेशक एडमिरल आर. एफ. कान्ट्रेक्टर और खुफिया ब्यूरो के प्रमुख पी. सी. हल्दर के साथ बैठक कर स्थिति का जायजा लिया। इससे पूर्व गृह मंत्री शिवराज पाटिल ने भी शीर्ष सुरक्षा और खुफिया अधिकारियों की एक बैठक की। प्रधानमंत्री ने रविवार को अपने निवास पर सर्वदलीय बैठक भी बुलाई है।
उधर, मुख्यमंत्री विलासराव देशमुख ने शहीद हुए पुलिसकर्मियों के परिजनों को 25-25 लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की। साथ ही उन्होंने कहा कि एनएसजी की तर्ज पर राज्य सरकार भी एक सुरक्षा बल का गठन करेगी। उन्होंने शहीद पुलिसकर्मियों के परिवार के एक-एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने तथा परिजनों के लिए सरकारी मकानों में रहने की स्थायी व्यवस्था करने की घोषणा की। उन्होंने कहा, "शहीद हुए पुलिसकर्मियों का जो मौजूदा वेतनमान था, उसी के मुताबिक उनके परिजनों को वह वेतन मिलता रहेगा। यह उस शहीद की सेवानिवृत्ति की उम्र तक मिलता रहेगा।
उपमुख्यमंत्री आर.आर. पाटिल ने कहा कि आतंकवादियों ने 5,000 लोगों की जान लेने के मकसद से हमला किया था। उन्होंने बताया कि कुल 10 आतंकवादी थे, जिनमें से नौ को ढेर कर दिया गया और एक को पकड़ लिया गया। ये सभी आतंकवादी समुद्र के रास्ते मुंबई में दाखिल हुए थे। उन्होंने कहा कि शुरुआती जांच से पता चलता है कि आतंकवादी 5,000 से अधिक लोगों को मारना चाहते थे।
इस सबके बीच इस्लामाबाद में पाकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार महमूद अली दुर्रानी ने एक निजी समाचार चैनल से बातचीत में कहा कि मुंबई हमले की जांच में आईएसआई भारतीय खुफिया एजेंसियों का पूरा सहयोग करेगी। उन्होंने कहा, "दोनों देश आतंकवाद और चरमपंथ से पीड़ित हैं। दोनों के द्विपक्षीय संबंधों में मजबूती आने से आतंकवाद से निपटने में मदद मिलेगी।"
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।
*