Fact Check: शिक्षकों के लिए सुप्रीम कोर्ट ने नहीं जारी किया कोई लोगो, वायरल मैसेज निकला फेक
नई दिल्ली, 16 सितंबर: सोशल मीडिया जानकारियों के आदान-प्रदान का सबसे बेहतरीन जरिया है, लेकिन बहुत से लोग इसका गलत इस्तेमाल करते हैं। कई बार लोग सोशल मीडिया की फर्जी पोस्ट के झांसे में आकर अपना नुकसान भी करवा लेते हैं। अब शिक्षकों से जुड़ी एक पोस्ट तेजी से वायरल हो रही है। लोग बिना सच्चाई जाने इसे फेसबुक और व्हाट्सएप के ग्रुप में शेयर कर रहे हैं। जिसको लेकर भारत सरकार के प्रेस इनफार्मेशन ब्यूरो ने चेतावनी जारी की है। साथ ही लोगों को ऐसे मैसेज से बचने की सलाह दी।
वायरल हो रहे मैसेज में एक लोगो साझा किया गया है। इस लोगो में कलम और किताब बनी है, जिस पर ऊपर लिखा है शिक्षक, जबकि नीचे 'द नेशन बिल्डर' लिखा है। साथ ही दावा किया जा रहा कि सुप्रीम कोर्ट का इस संबंध में एक आदेश आया है, जिसमें सभी शिक्षकों को ये लोगो अपने वाहनों पर लगाने को कहा गया। बहुत से लोग तेजी से इसे वायरल कर रहे हैं। कुछ शिक्षकों ने तो इसे अपने स्थानीय ग्रुप में साझा कर, वाहनों पर सबसे ये स्टीकर लगाने की अपील की है।
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पीआईबी फैक्ट चेक के मुताबिक ये वायरल हो रहा मैसेज पूरी तरह से फेक है। इस संबंध में सुप्रीम कोर्ट ने कोई आदेश जारी नहीं किया है और ना ही इस तरह का लोगो अप्रूव किया गया। ऐसे में शिक्षक इसे अपने वाहनों पर ना लगाएं। वहीं जो लोग इसे लगा चुके हैं, वो तुरंत निकाल दें, क्योंकि मोदी सरकार नया मोटर व्हीकल एक्ट लेकर आई थी, जिसके तहत वाहनों पर नंबर प्लेट के अलावा कुछ भी लिखवाने पर भारी-भरकम जुर्माना चुकाना पड़ सकता है।
A post claiming that the Supreme court has approved a logo for teachers to put on their vehicles is in circulation.#PIBFactCheck
▶️This claim is #Fake.
▶️No such directive has been issued by the Supreme court.
▶️Refrain from forwarding such false messages. pic.twitter.com/3QYzYI3eQ8
— PIB Fact Check (@PIBFactCheck) September 15, 2021
Fact Check
दावा
शिक्षकों के लिए सुप्रीम कोर्ट ने जारी किया लोगो
नतीजा
वायरल मैसेज पूरी तरह से फेक है
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