लड़की की कुंडली के सप्तम भाव की राशि खोलती है पति का राज
नई दिल्ली। अधिकांश अविवाहित लोगों को यह जानने की जिज्ञासा रहती है कि उनका जीवन साथी कैसा होगा? उसका स्वभाव कैसा होगा? वह कामकाज क्या करता होगा? ऐसे अनेक सवालों का जवाब उस जातक की जन्मकुंडली से मिल सकता है। यदि बाद लड़की के विवाह की हो तो ऐसी बातों को जानना बेहद जरूरी होता है ताकि उसे दांपत्य जीवन में कोई परेशानी ना आए। वैदिक ज्योतिष के अनुसार जन्मकुंडली का सप्तम भाव विवाह का कारक स्थान होता है। अलग-अलग लग्न के अनुसार इस भाव की राशि और स्वामी बदल जाते हैं। हम यहां लड़की के सप्तम भाव में स्थित चंद्र राशि के अनुसार जानते हैं उसे कैसा जीवनसाथी मिलेगा। हालांकि कुंडली के अन्य ग्रहों का भी सप्तम पर काफी प्रभाव पड़ता है। विस्तृत जानकारी के लिए संपूर्ण कुंडली का अध्ययन आवश्यक होता है।
लड़की की जन्मकुंडली
- मेष : यदि किसी लड़की की जन्मकुंडली के सप्तम भाव में मेष राशि स्थित है तो उसका जीवनसाथी अनेकों भूमि-संपत्ति, भवनों का मालिक होता है। इनका वैवाहिक जीवन सुखी और समृद्धिशाली रहता है तथा विवाह के बाद दोनों का भाग्योदय होता है।
- वृषभ : जिस लड़की की जन्मकुंडली के सप्तम भाव में वृषभ राशि होती है उन्हें सुंदर और गुणवान पति की प्राप्ति होती है। इनका जीवन साथी मीठा बोलने वाला और पत्नी की बात मानने वाला होता है। हालांकि कभी-कभी ऐसी कन्या के पति के अन्य स्त्रियों से संबंध भी देखे गए हैं।
- मिथुन : लड़की की कुंडली के सप्तम भाव में मिथुन राशि है तो उसका पति दिखने में सामान्य, समझदार और अच्छे विचारों वाला होता है। इनका जीवन साथी चतुर व्यवसायी होता है। ऐसी कन्या का पति लेखक, फिल्मकार, संगीतकार भी हो सकता है।
- कर्क : जिन लड़कियों की जन्मकुंडली का सातवें घर में कर्क राशि हो। यानी उसमें अंक चार लिखा हुआ है तो उसे अत्यंत सुंदर, चरित्रवान और शांत दिमाग वाला जीवनसाथी मिलता है। ऐसी कन्याओं का पति दूर देशों में जॉब करने वाला होता है या उसका बिजनेस दूसरे देशों में भी होता है।
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लड़की की कुंडली का सातवां भाव
- सिंह : लड़की की कुंडली का सातवां भाव सिंह राशि का हो तो इनका पति बहुत डॉमिनेट करने वाला होता है। हर बात में वह अपनी-अपनी चलाता है, लेकिन लेन-देन के मामलों में ईमानदार होता है। ऐसी कन्या का पति प्रशासनिक सेवाओं में उच्चाधिकारी होता है।
- कन्या : जिस लड़की की कंुडली के सप्तम भाव में कन्या राशि हो तो उनका पति सुंदर और गुणवान होता है। इन लड़कियों का भाग्योदय विवाह के बाद होता है और साथ में पति का भी भाग्योदय होता है। इनका पति लेखक, वकील, ज्योतिष, गणितज्ञ होता है।
- तुला : लड़की की कुंडली का सप्तम भाव तुला राशि का हो तो इन्हें सुंदर, उच्च शिक्षित हीरों, सोना-चांदी का व्यापारी या विदेशों में बिजनेस करने वाला पति मिलता है। वह प्रत्येक छोटी-बड़ी बातों में इनका साथ देने वाला होता है।
- वृश्चिक : जिन लड़कियों की कुंडली का सप्तम भाव वृश्चिक राशि का हो तो उन्हें राशि स्वामी मंगल के प्रभाव से सुशिक्षित किंतु क्रोधी स्वभाव वाले पति की प्राप्ति होती है। जीवनसाथी प्रॉपर्टी का बिजनेस करने वाला या कृषक होता है। ऐसे जातक के एक से अधिक भवन होते हैं।
- धनु : लड़की की कुंडली के सप्तम भाव में धनु राशि होने पर उसका पति स्वाभिमानी और परिश्रमी होता है। सामान्य परिवार से होते हुए भी ऐसे व्यक्ति के विचार अति उच्च कोटि के होते हैं। ऐसा व्यक्ति समाज में प्रतिष्ठित और सदाचारी होता है।
- मकर : यदि किसी लड़की की कुंडली के सप्तम भाव में मकर राशि है तो उसका जीवनसाथी धार्मिक प्रवृत्ति का व्यक्ति होता है। पंडित, ज्योतिषी, कथावाचक या बौद्धिक कार्य करने वाला होता है। ऐसी लड़की का पति गुप्त विद्याओं का जानकार होता है।
- कुंभ : लड़की की कुंडली के सप्तम भाव में कुंभ राशि हो तो उसका जीवनसाथी ईश्वर के प्रति आस्थावान और सभ्य होता है। ऐसा जातक वकील, न्यायाधीश होता है। साथ ही वह सरकारी महकमे में उच्च पद पर आसीन होता है।
- मीन : लड़की के सप्तम भाव की राशि मीन हो तो उसका पति गुणवान और धार्मिक प्रवृत्ति का होता है। इसका व्यक्तित्व जितना आकर्षक होता है सभ्य व्यवहार में भी वह उतना ही आगे होता है। समाज में प्रतिष्ठित और उच्च पदासीन होता है।
पति स्वाभिमानी और परिश्रमी
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