'ममता बनर्जी घमंडी', केंद्र ने कहा- PM Modi को आधे घंटे कराया इंतजार, बैठक छोड़कर गईं
कोलकाता, 28 मई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को पश्चिम बंगाल पहुंचे थे जहां उनकी पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ चक्रवात यास से हुए नुकसान को लेकर बैठक होनी थी। दोनों के बीच मुलाकात हुई भी लेकिन अब इस मुलाकात को लेकर चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है। जानकारी के मुताबिक ममता बनर्जी ने पहले तो आधे घंटे तक प्रधानमंत्री को इंतजार कराया और इसके बाद जब बैठक के लिए पहुंची तो वहां सिर्फ तूफान से नुकसान की रिपोर्ट सौंपी फिर चली गईं। सरकार के सूत्रों के मुताबिक ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री के साथ मीटिंग छोड़ दी हो।
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बैठक छोड़कर चली गईं ममता बनर्जी
यही नहीं ममता बनर्जी ने पीएम से कहा कि उन्हें यास तूफान से हुए नुकसान का जायजा लेने जाना है इसलिए वह जा रही हैं। इसके बाद वह यास तूफान से बुरी तरह प्रभावित जिले दीघा के दौरे पर चली गईं।
दीघा में पत्रकारों से बात करते हुए ममता बनर्जी ने कहा "मैने उनसे (पीएम) से कहा- आप यहां मुझसे मिलने के लिए आए थे। आप मुझसे मिलना चाहते थे इसलिए मैं आई। मेरे मुख्य सचिव और मैं, हम यह रिपोर्ट आपको सौंप रहे हैं। मुझे अपने कार्यक्रम के तहत अब दीघा जाना है। इसलिए मैं आपसे विदा ले रही हूं।"
राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने डाली मीटिंग की तस्वीर
पश्चिम बंगाल में चले तीखे चुनाव अभियान के बाद ये पहली बार था जब प्रधानमंत्री मोदी और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री आमने-सामने मिल रहे थे। प्रधानमंत्री मोदी उड़ीसा में चक्रवात यास का दौरा करने के बाद पश्चिम बंगाल के पश्चिमी मेदिनीपुर स्थित कलाइकुंडा एयरबेस पर पहुंचे थे।
लेकिन केंद्र सरकार ने कहा कि ममता बनर्जी ने पीएम मोदी और राज्यपाल जगदीप धनखड़ को आधे घंटे तक इंतजार कराया। राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने भी एक तस्वीर ट्वीट कर इस घटना की जानकारी दी है। राज्यपाल ने जो तस्वीर ट्विटर पर डाली है उसमें दिखाई दे रहा है कि पीएम मोदी बीच में कुर्सी पर बैठे हैं। मेज पर एक तरफ राज्यपाल जगदीप धनखड़ और राज्य में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी बैठे हुए हैं जबकि सामने की तरफ जहां मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव को बैठना है वह कुर्सी खाली है।
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने घटना को बताया पीड़ादायक
ममता बनर्जी के पीएम के साथ बैठक छोड़कर चले जाने की रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह समेत कई बीजेपी नेताओं ने निंदा की है और ममता बनर्जी के इस आचरण को निम्न स्तर की क्षुद्र राजनीति को दर्शाने वाला बताया है।
राजनाथ सिंह ने पश्चिम बंगाल में हुए घटनाक्रम को स्तब्ध करने वाला बताया है। रक्षा मंत्री ने कहा "मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री व्यक्ति नहीं संस्था है। दोनों जन सेवा का संकल्प और संविधान के प्रति निष्ठा की शपथ लेकर दायित्व ग्रहण करते हैं।"
एक दूसरे ट्वीट में उन्होंने 'बंगाल की जनता को सहायदा देने' पहुंचे प्रधानंमत्री के साथ ममता बनर्जी के इस व्यवहार को 'पीड़ादायक' बताया है। इसे भारत की 'संघीय व्यवस्था की मूल भावना को आहत करने वाला' बताते हुए उन्होंने कहा "राजनैतिक मतभेदों को जन सेवा के संकल्प व संवैधानिक कर्तव्य से ऊपर रखे जाने का यह दुर्भाग्यपूर्ण उदाहरण है।"