हरिद्वार कुंभ में भी दिखा RSS का सेवा भाव, कोरोना महामारी के बीच स्वयं सेवक कर रहे श्रद्धालुओं की मदद
हरिद्वार, 15 अप्रैल: उत्तराखंड की धर्मनगरी हरिद्वार में कुंभ मेला जारी है, लेकिन महत्वपूर्ण शाही स्नान खत्म हो गए। कोरोना महामारी के बाद भी शाही स्नानों में भारी भीड़ उमड़ी, जिस वजह से व्यवस्था बनाए रखने में सुरक्षाबलों के पसीने छूट गए। वहीं इस बार भी राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) ने सेवा भाव दिखाया। साथ ही बड़ी संख्या में स्वयं सेवकों ने श्रद्धालुओं की मदद के लिए मोर्चा संभाला। इसके अलावा उन्होंने यातायात प्रबंधन में भी पुलिस का साथ दिया।
आरएसएस के मुताबिक उत्तराखंड के डीजीपी ने संघ को पत्र लिखकर कुंभ के लिए वालंटियर मांगे थे। जिसके बाद संघ ने 1500 स्वयं सेवकों को तैयार किया, जो उत्तराखंड के विभिन्न जिलों से आए थे। इसके बाद उन्होंने कुंभ क्षेत्र के करीब 150 चौराहों पर श्रद्धालुओं को व्यवस्थित तरीके से कुंभ स्नान कराने के लिए सहयोग देना शुरू किया। यातायात व्यवस्था सही करने के लिए हर चौराहे पर 6 स्वयं सेवक पुलिस के चार जवानों के साथ तैनात रहते हैं।
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आरएसएस के पदाधिकारियों ने आगे बताया कि उनके स्वयं सेवकों के रुकने के लिए कैंप में व्यवस्था की गई है। सुबह उठकर वो नास्ता करते हैं, फिर दिन का खाना लेकर निकल जाते हैं। सभी कार्यकर्ता श्रद्धालुओं को पानी पिलाने से लेकर रहने-खाने के अलावा अन्य व्यवस्थाओं में भी कुंभ मेला प्रशासन के साथ हाथ बंटा रहे हैं। वहीं व्यवस्था के दौरान कोई गलतफहमी ना हो, इसके लिए मेला प्रशासन ने बाकायदा सभी वालंटियर्स को पहचान पत्र जारी कर दिया है। मामले में हरिद्वार में संघ के प्रमुख प्रचारक सुनील ने कहा कि उन्होंने कुम्भ क्षेत्र में 55 केन्द्र बनाये हैं, जहां उनके 1500 स्वयं सेवक कुम्भ की व्यवस्था बनाने में निस्वार्थभाव से सेवा कर रहे हैं। कुम्भ मेला पुलिस प्रशासन ने उन्हें एसपीओ नाम देकर कुम्भ में व्यवस्थाओं को लेकर कार्य करने को कहा है। इसके अलावा वो कोरोना प्रोटोकॉल का भी पालन करवा रहे हैं, ताकी महामारी से श्रद्धालुओं की रक्षा की जा सके।