UP: प्रशासन का फरमान, खुले में शौच करने गए तो होगी एफआईआर
रायबरेली। यूपी के रायबरेली में जिला प्रशासन ने एक अनोखा फरमान सुनाया है। सुबह होते ही खुले में लोटा लेकर जाने वाले सावधान हो जाएं। अब खुले में शौच जाने वाले लोगों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज हो सकता है। ओडीएफ हो चुके गांवों में विकास विभाग शीघ्र ही ऐसे परिवारों को चिन्हित कर नोटिस भेजेगा, जो खुले में शौच के लिये जाते है। फिर भी यदि उन लोगों ने घरों में शौचालय का निर्माण कराकर उसका इस्तमाल प्रारम्भ न किया तो उनके खिलाफ मुकदमा भी दर्ज कराया जाएगा। नोटिस पर ब्लाक स्वच्छता अधिकारी समेत कोतवाली प्रभारी के भी हस्ताक्षर होगें।
रायबरेली एडीओ पंचायत कमल किशोर ने बताया कि पात्रों का चयन कर प्रत्येक गांव में शौचालय बनवाए जा रहे है। लेकिन जो पात्रता की श्रेणी में नही आते उन्हे भी अपने मदों से शौचालय बनवाना होगा। खुले में शौच जाने वालो पर कार्रवाई निश्चित है। विकास खंड लालगंज की तीन ग्राम पंचायतें खजूरगांव, गेंगासो व जनेवा कटरा खुले में शौच मुक्त घोषित है। दो अन्य ग्राम पंचायतों शाहपुर में 112 व गोविदंपुर वलौली में 120 शौचालय निर्माणधीन है। इनमें से अधिकांश पूरे बन चुके है। इनकों ओडीएफ कराने के लिये डीपीआरओ कार्यालय में प्रस्ताव भेजा गया है। जांच पूरी होते ही उक्त दोनो ग्राम पंचायतें भी ओडीएफ हो जायेगीं ।
सरकार की मंशा सभी गांवों को खुले में शौच जाने वालों को सरकार के निर्देष पर नोटिस भेजी जाएंगी। नोटिस मे लिखा गया है कि अनुदान की पात्रता श्रेणी में न आने के कारण शौचालय का निर्माण स्वयं कराना है। नोटिस के अनुसार खुले में शौच पर प्रथम दृश्टया भारतीय दंड संहिता की धारा 268, 269, 270, 277, 278 व 294 के तहत दंडनीय अपराध बताया गया है। एडीओ पंचायत ने बताया कि विकास विभाग लालगंज में तैनात सभी ग्राम पंचायत अधिकारियों को इस बावत पत्र जारी किए जा चुके है।
ब्लाक प्रमुख अनंतेष सिंह ने गांवो में फैली गंदगी को लेकर चिंता जताई है। उन्होने ब्लॉक सभागार में इस बात पर नाराजगी जताई और सफाई कर्मचारियों को निष्ठा के साथ ग्रामीण क्षेत्रों में सफाई व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त करने पर जोर दिया। कहा कि गांवों में अधिकतर शिकायतें सफाई न होने की रही है।