पुणे में कोरोना से भयावह हुए हालात, ऑक्सीजन बेड की कमी से जूझ रहे हैं अस्पताल
पुणे। महाराष्ट्र में कोरोना वायरस के मामलों ने पिछले सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। आलम ये है कि अब राज्य में स्वास्थ्य व्यवस्था चरमराने लगी है और इसका सबसे बड़ा उदाहरण पुणे में दिखने को मिला, जहां पिंपरी इलाके में YCM अस्पताल के अंदर मरीजों के लिए ऑक्सीजन बेड की कमी पड़ गई है। हालत ये है कि मरीजों को कुर्सियों पर बिठाकर ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा जा रहा है।
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पुणे में एक दिन के अंदर 12 हजार से अधिक केस
जानकारी के मुताबिक, पुणे में पिछले 24 घंटों के अंदर कोरोना के 12,494 मामले दर्ज किए गए। ये आंकड़ा दिल्ली जैसे केंद्र शासित प्रदेश में कुल मामलों का करीब 3 गुना ज्यादा है। अकेले पुणे के अंदर कोरोना से संक्रमित मरीजों की कुल संख्या 5,74,829 पहुंच गई है। इस स्थिति में अस्पतालों में ऑक्सीजन बेड की कमी होना वाकई बहुत गंभीर मामला है।
YCMH में खत्म हुए ऑक्सीजन बेड
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पुणे के पिंपरी चिंचवाड़ में स्थित यशवंतराव चव्हाण मेमोरियल अस्पताल (वाईसीएमएच) में रविवार को ऑक्सीजन बेड की संख्या अंतिम स्तर पर पहुंच गई, जिसके बाद संक्रमित मरीजों को कुर्सियों पर बिठाकर अस्पताल के ट्राइएज एरिया में ऑक्सीजन सपोर्ट दिया गया। YCMH के डीन राजेंद्र वाबले ने कहा कि अस्पताल में कोरोना संक्रमित मरीजों के लिए कुल 432 बेड हैं, जिनमें से 55 ICU के लिए और बाकि ऑक्सीजन सपोर्ट के लिए हैं। उन्होंने बताया कि रविवार को अस्पताल में ऑक्सीजन बेड की संख्या अपनी सीमा तक पहुंच गई, जिसके बाद तत्काल मरीजों के लिए अस्पताल के बाहर 'ट्राइएज' एरिया बनाया और मरीजों को कुर्सी पर ऑक्सीजन सपोर्ट दिया गया।
पुणे के जंबो अस्पताल में ऑक्सीजन बेड की स्थिति
पुणे के जंबो अस्पताल के डॉक्टरों का कहना है कि उनके यहां 400 बेड उपलब्ध थे, लेकिन इनमें से कोई ऑक्सीजन बेड नहीं है। वहीं दूसरी तरफ 800 बेड वाले एक अस्पताल के सीईओ का कहना है कि हमारे पास 400 बेड हैं, लेकिन सभी 200 ऑक्सीजन बेड और 60 आईसीयू बेड घिरे हुए हैं। हालांकि इनमें 100 उच्च निर्भरता इकाई (HDU) में हमारे पास अभी उपलब्ध हैं।
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