मार्कशीट में बच्चों को नंबर की जगह टीचर देंगे स्माइली
भोपाल। वाट्सएप, फेसबुक और न जाने कितने सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर हम कई बार अपनी भावनाएं शब्दों में न व्यक्त करके स्माइली में करते हैं। अब इन्हीं स्माइली को मध्य प्रदेश सरकार शिक्षा से जोड़ने वाली है। राज्य सरकार ने हाल ही फैसला लिया है कि क्लास एक और दो के बच्चों को रिपोर्ट कार्ड में टीचर नंबरों के स्थान स्माइली देंगे। सरकार ने इस कदम को इसलिए उठाया है जिससे बच्चे नंबरों के दबाव से मुक्त रह सकें।
मूल्यांकन उत्तर पुस्तिका की जगह अभ्यास पुस्तिका के आधार पर
शिक्षक रिपोर्ट कार्ड में बच्चों के नंबरों के स्थान पर स्माइली अंकित करेंगे। शिक्षा विभाग की राज्य शिक्षा केंद्र विंग ने मंगलवार को इस नई व्यवस्था की घोषणा कर दी। इस वर्ष नया शिक्षण सत्र अप्रैल से शुरू होगा। वार्षिक मूल्यांकन और नए शिक्षण सत्र की तैयारियों के संबंध में जिला शिक्षा अधिकारियों और राज्य शिक्षा केंद्र जिला समन्वयकों को निर्देश दिए हैं। पहली और दूसरी कक्षा के छात्रों का मूल्यांकन उत्तर पुस्तिका की जगह अभ्यास पुस्तिका के आधार पर किया जायेगा।
बच्चों को नंबरों के स्थान पर स्माइली दी जाएंगी
राज्य शिक्षा केंद्र के निदेशक लोकेश जाटव ने बताया कि, इन दिनों माता-पिता अपने बच्चों पर अच्छे नंबरों का दबाव बनाने लगते हैं। जिसके चलते बच्चे प्रेशर में आ जाते है। इसलिए बच्चों को नंबरों के स्थान पर स्माइली दी जाएंगी। पहली और दूसरी के छात्रों को स्माइली 50 प्रतिशत लिखित एवं 50 प्रतिशत मौखिक परीक्षा के आधार पर दी जाएगी।
इस आधार पर मिलेंगी स्माइली
छात्र ने क्लास के पाठ्यक्रम में दक्ष हो जाता है तो उसे 3 स्माइली दिए जाएंगी। अगर वह सीखने के स्तर पर है तो दो स्माइली दी जाएंगी। अगर विधार्थी कमजोर है और सीखने का प्रयास कर रहा है तो उसे एक स्माइली दी जाएगी। इतना ही नहीं बच्चे के रिपोर्ट कार्ड में उसके व्यक्तिगत और सामाजिक व्यवहार को देखते हुए भी स्माइली दी जाएगी।