कौन हैं सऊदी अरब की नौफ मरवाई, जो प्रिंस सलमान के कहने पर अरब देशों में फैला रही हैं योग
सऊदी अरब खेल मंत्रालय ने इन दिनों जेद्दा में एक योग कार्यशाला का आयोजन किया हुआ है, जो 22 दिसंबर को शुरू हुआ है और 30 दिसंबर तक चलेगा। इस कार्यक्रम में 11 अरब देश हिस्सा ले रहे हैं।
Saudi Arab Nouf Marwaai: भारत में भले ही एक तबका योगा का विरोध करता हो, लेकिन सऊदी अरब काफी तेजी से योग के महत्व को समझ रहा है और योगा को ना सिर्फ सऊदी अरब में, बल्कि पूरे अरब देशों में फैलाने की कोशिश कर रहा है और इस काम को आधिकारिक तौर पर अंजाम दे रही हैं नौफ मरवाई, जो अरब देशों में योगा की अलख जगा रही हैं। नौफ मरवाई को सऊदी अरब में आधिकारिक तौर पर पहली महिला योगा टीचर के तौर पर चुना गया है, जिन्हें अरब देशों में योग के महत्व को फैलाने की जिम्मेदारी दी गई है।
अरब देशों में योगा की अलख
सऊदी अरब खेल मंत्रालय ने इन दिनों जेद्दा में एक योग कार्यशाला का आयोजन किया हुआ है, जो 22 दिसंबर को शुरू हुआ है और 30 दिसंबर तक चलेगा। योगा कार्यशाला का आयोजन, 'अरब यूथ एम्पावरमेंट प्रोग्राम' के बैनर तले किया जा रहा है, जिसमें 11 अरब देशों के प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं। इन अरब देशों में संयुक्त अरब अमीरात, ओमान, यमन, फिलिस्तीन, मिस्र, लीबिया, एलेग्रिया, मोरक्को, ट्यूनीशिया और मॉरिटानिया शामिल है। इस कार्यक्रम का मुख्य मकसद योग के महत्व को मानवीय जीवन में उतारना, अरबे देशों में खेल, सांस्कृतिक और मनोरंजक विकास को आगे बढ़ाना और अरब युवा प्रतिनिधिमंडलों को इन क्षेत्रों में जागरूक बनाना है। नौफ मरवाई को सऊदी क्राउन प्रिंस ने योग को लोगों के जीवन में उतारने की जिम्मेदारी सौंपी हैं और वो काफी मेहनत के साथ ये काम कर रही हैं।
नौफ मरवाई को मिल चुका पद्मश्री
सऊदी अरब की रहने वाली नौफ मरवाई को भारत सरकार पद्मश्री सम्मान से सम्मानित कर चुकी हैं और वो सऊदी अरब में पहली प्रमाणित योगा टीचर हैं, जो सऊदी अरब योग कमेटी की अध्यक्ष भी हैं। भारतीय समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए नौफ मरवाई ने कहा कि, "वह चाहती हैं कि हर किसी को अपने जीवन की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए योग अभ्यास तक पहुंच प्राप्त हो।" उन्होंने कहा कि, "आज के जीवन में, वैश्विक चुनौतियों के बीच योग की आवश्यकता है, जो राष्ट्रों के बीच शांति का संदेश ला सके"। उन्होंने कहा कि, "सबसे पहले मैं वास्तव में खेल मंत्रालय को हमारे अरब भाइयों और बहनों को उनके स्वास्थ्य और कल्याण के लिए शारीरिक और मानसिक रूप से इस खूबसूरत कला से परिचित कराने के अवसर के लिए धन्यवाद देती हूं। मुझे लगता है कि हमने उन सभी सवालों के जवाब देने की कोशिश की, जिन्हें उन्हें बढ़ावा देने के लिए आवश्यकता है।"
'डिप्रेशन से लड़ने के लिए योग जरूरी'
नौफ मरवाई ने कहा कि, "समाज में योग और जीवन की गुणवत्ता बढ़ाने और डिप्रेशन से लड़ने के लिए योग का अभ्यास करने के लाभों को समझने के लिए, हमने योग और जीवन की गुणवत्ता और डिप्रेशन के बारे में वैज्ञानिक अध्ययन के निष्कर्षों को शामिल किया है।" उन्होंने कहा कि, "हमने पारंपरिक योग, योगासन स्पोर्ट्स और योग थेरेपी की परिभाषा और एक्सरसाइज के बीच के अंतर को भी समझाया है, ताकि विभिन्न अरब देशों में जरूरतों और प्राथमिकताओं के मुताबिक, प्रत्येक समाज अपने हिसाब से योग को अपने जीवन में ढाल सके।"
गंभीर बीमारी से रही हैं पीड़ित
आपको बता दें कि, नौफ मरवाई बचपन से ही ल्यूपस (ऑटोइम्यून रूमेटिक डिजीज) जैसी बीमारी से पीड़ित रही हैं और उन्होंने योग और आयुर्वेद के जरिए इस बीमारी पर जीत हासिल कर ली। उन्होंने कहा कि, 'मैं बचपन से ही इस बीमारी से पीड़ित थी, लेकिन योग और आयुर्वेदिक जीवनशैली ने मेरे जीवन को बदल दिया।' उन्होंने कहा कि, "मैं चाहती हूं, कि, हर किसी की योग तक पहुंच हो, चाहे वो किसी बीमारी से ग्रसित हों, या पूरी तरह से स्वस्थ हों, जीवन की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए योग काफी जरूरी है।"
योग ने कैसे बदली नौफ की जिंदगी?
नौफ मारवाई ने कहा कि, "मुझे 17 साल की उम्र में इस बीमारी का पता चला था और उसके बाद मैंने योग और आयुर्वेदिक पद्धति से अपना इलाज करना शुरू किया था। जिसके बाद मेरी जिंदगी में काफी सुधार आने लगा और ये काफी आश्चर्यजनक और अविश्वसनीय है, कि मेरे शरीर के किसी भी अंग को कोई नुकसान नहीं हुआ और मैं काफी अच्छी जिंदगी जी रही हूं"। उन्होंने कहा कि, "आज की विश्व चुनौतियों में योग की आवश्यकता है और यह राष्ट्रों के बीच शांति का संदेश हो सकता है।" सऊदी सरकार ने योग को बढ़ावा देने के मकसद से एक समिति का गठन किया हुआ है, जिसका उद्येश्य योग की संस्कृति को उसके सभी प्रकारों के साथ फैलाना है, जैसे स्वास्थ्य और कल्याण के लिए योग (पारंपरिक हठ योग, अयंगर योग, अष्टांग योग आदि), प्रोफेशनल योगासन खेल और मेडिकल योग को अरब देशों में फैलाना है।"
योग के लिए सऊदी अरब की पहल
सऊदी योग समिति ने मई 2021 में अपनी स्थापना के बाद से पूरे राज्य में स्वास्थ्य और कल्याण के लिए योग को बढ़ावा देने के लिए बहुत सारी गतिविधियों और पहलों का आयोजन किया है, जिसने अन्य अरब देशों का ध्यान खींचा है। इस महीने की शुरुआत में, पहला सऊदी योग महोत्सव जेद्दाह में आयोजित किया गया था, जो 7 दिनों तक चला था। इस आयोजन में व्यापार और प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय भी शामिल हुआ था, जिसमें 112 से ज्यादा योग में निपुण रजिस्टर्ड डॉक्टर शामिल हुए थे। सबसे दिलचस्प बात ये थी, कि योग कार्यक्रम में 95 लोगों की टीम में ज्यादातर लड़कियां थीं। इसके साथ ही योगासन स्पोर्ट्स चैंपियनशिप जेद्दाह में आयोजित की गई, जो अरब दुनिया में अपनी तरह का पहला आयोजन था। इस कार्यक्रम में विभिन्न आयु वर्ग के लोगों की सक्रिय भागीदारी देखी गई।
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