कौन है लंदन आतंकी हमले का जिम्मेदार ISIS का 'सैनिक' खालिद मसूद
52 वर्ष के खालिद मसूद ने दिया था लंदन आतंकी हमले को अंजाम। दिसंबर 1964 को केंट में जन्में खालिद के बारे में किसी तरह की कोई इंटेलीजेंस नहीं थी और लंदन के साथ खालिद ने पहले आतंकी हमले को दिया अंजाम।
लंदन। बुधवार को ब्रिटेन की संसद पर जो आतंकी हमला हुआ उसके पीछे 52 वर्ष के खालिद मसूद का हाथ था। दिंसबर 1964 को केंट में जन्में खालिद ने पहली बार किसी आतंकी हमले को अंजाम दिया था। गुरुवार को खालिद के बारे में कई तरह की जानकारियां सामने आई हैं।
19 वर्ष की उम्र में पहला केस
खालिद मसूद के बारे मे कोई भी इंटेलीजेंस नहीं थी लेकिन उसका आपराधिक रिकॉर्ड जरूर दर्ज था। उसे हथियार रखने और हत्या के जुर्म में गिरफ्तार किया जा चुका था। हमले की जांच में सामने आया है कि मसूद ने एक कार किराए पर ली थी जिसका प्रयोग उसने लोगों को कुचलने के लिए किया था। कार किराए पर लेने के बाद उसने कंपनी को कॉल किया और कहा कि उसे अब इस कार की कोई जरूरत नहीं है। इस फोन कॉल के तुरंत बाद उसने वेस्टमिंस्टर ब्रिज पर लोगों पर कार चढ़ा दी थी। मसूद जब 19 वर्ष का था तब उसे पहली बार किसी अपराध में दोषी ठहराया गया था। वर्ष 2003 में भी उसे चाकू रखने के लिए दोषी ठहराया गया था। उसे एक हिंसक प्रवृत्ति वाला व्यक्ति बताया जाता है। लेकिन अभी तक इस बारे में कोई जानकारी नहीं है कि वह कैसे चरमपंथी बना। मसूद ने लंदन हमले में लोन वोल्फ अटैक किया और तुरंत बाद आईएसआईएस ने इस हमले की जिम्मेदारी ले ली। आईएसआईएस ने मसूद को एक सैनिक करार दिया है।
किसी तरह की कोई इंटेलीजेंस नहीं
लंदन में जो आतंकी हमला हुआ वह बिल्कुल बर्लिन और नीस में हुए आतंकी हमले जैसा है। इन दोनों हमलों की जिम्मेदारी भी आईएसआईएस ने ली थी। लंदन पुलिस ने अभी तक यह नहीं कहा है कि हमले की साजिश आईएसआईएस की है। ब्रिटेन की प्रधानमंत्री थेरेसा मे ने भी हमलावर को एक गायब हो चुका व्यक्ति करार दिया है। उन्होंने गुरुवार को कहा था कि यह एक एतिहासिक केस जिसमें इंटेलीजेंस बिल्कुल भी नहीं थी। हमलावर और उसके मकसद के बारे में पुलिस को कोई भी जानकारी नहीं थी। उन्होंने यही जानकारी संसद में सांसदों को दी है।