अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने साइन किया 716 बिलियन डॉलर वाला रक्षा बजट
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सोमवार को 716 बिलियन डॉलर का डिफेंस पॉलिसी बिल साइन किया है। इस बिल के जरिए अमेरिकी सेना को खर्च का अधिकार मिल गया है। इस बिल के साथ चीन की जेडटीई कॉर्प और हुवेई टेक्नोलॉजीज पर अमेरिकी नियंत्रण कम होगा।
वॉशिंगटन। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सोमवार को 716 बिलियन डॉलर का डिफेंस पॉलिसी बिल साइन किया है। इस बिल के जरिए अमेरिकी सेना को खर्च का अधिकार मिल गया है। इस बिल के साथ चीन की जेडटीई कॉर्प और हुवेई टेक्नोलॉजीज पर अमेरिकी नियंत्रण कम होगा। ट्रंप ने यह बिल अमेरिकी सेना के न्यूयॉर्क स्थित ड्रम बेस से वॉशिंगटन लौटते समय साइन किया। ट्रंप न्यू जर्सी में अपने गोल्फ क्लब में 12 दिनों की छुट्टियों के बाद वापस लौटे हैं। इस बिल को ट्रंप के राजनीति आलोचक और अरिजोना से सीनेटर जॉन मैक्केन के नाम पर रखा गया है। हालांकि ट्रंप ने मैक्केन के नाम का जिक्र नहीं किया। मैक्केन जो इस समय बीमार चल रहे हैं उन्होंने कहा कि बिल उनके नाम पर है यह जानकर उन्हें काफी खुशी है। मैक्केन के मुताबिक यह बिल सभी खतरों को दूर करेगा।
चीन पर कमजोर होगा अमेरिकी नियंत्रण!
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप के मुताबिक यह बिल अमेरिकी सेनाओं में निवेश और आज के दौर में लड़े जा रहे युद्ध को देखते हुए काफी अहम है। वहीं वॉशिंगटन स्थित सेंटर फॉर स्ट्रैटेजिक एंड इंटरनेशनल स्टडीज के मुताबिक पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के पहले तीन कार्यकाल में डिफेंस बजट को महंगाई के अनुपात के हिसाब से रखा गया था। वहीं कुछ सांसदों ने कहा है कि यह डिफेंस बिल चीन पर अमेरिकी पकड़ को कमजोर करता है। सांसद चाहते थे कि डिफेंस बिल के जरिए चीन की कंपनी जेडटीई पर कड़े प्रतिबंधों की बहाली की जाए। वह चाहते थे कि कंपनी को ईरान और नॉर्थ कोरिया को गैर-कानूनी उत्पादन भेजने के लिए सजा दी जाए। इस बिल में मौजूद नेशनल डिफेंस ऑथराइजेशन एक्ट यानी एनडीएए के जरिए चीन पर नियंत्रण कमजोर हो जाएगा। अमेरिकी इंटेलीजेंस कंपनियों को इस बात की चिंता है कि चीनी कंपनियां जैसे जेडटीई और हुवेई टेक्नोलॉजीज और कुछ और कंपनियों की वजह से चीन की तरफ से जासूस का खतरा बढ़ रहा है।