SCO Summit में पीएम मोदी ने दिखाया भारत का दम, 70 हजार स्टार्ट्स अप... जानिए संबोधन की बड़ी बातें
समरकंद, 16 सितंबरः उज्बेकिस्तान के समरकंद में आज शंघाई सहयोग संगठन की बैठक का पहला चरण समाप्त हो गया। इस बैठक में एससीओ के सुधार और विस्तार, क्षेत्रीय सुरक्षा, सहयोग, कनेक्टिविटी को मजबूत करने और व्यापार को बढ़ावा देने पर चर्चा हुई। इस मौके पर भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत एससीओ सदस्यों के बीच अधिक सहयोग और विश्वास का समर्थन करता है। वहीं, पीएम मोदी ने सदस्य देशों को आगे बढ़ने के बारे में कहा कि SCO देश स्टार्टअप और फूड फेस्टिवल के लिए काम करें।
photo- PTI
Recommended Video
भारत में 70 हजार से अधिक स्टार्ट अप
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को शिखर सम्मेलन में बोलते हुए कहा कि हम जन केंद्रित विकास मॉडल पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। हम हर क्षेत्र में इनोवेशन का समर्थन कर रहे हैं। आज हमारे देश में 70,000 से अधिक स्टार्ट-अप और 100 से अधिक यूनिकॉर्न हैं।" उन्होंने आगे कहा कि, "भारत की अर्थव्यवस्था के इस साल 7.5% की दर से बढ़ने की उम्मीद है। मुझे खुशी है कि हमारी अर्थव्यवस्था दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक है।"
SCO देशों के साथ अनुभव साझा करने के लिए तैयार
SCO के सदस्य देशों को आगे बढ़ने के बारे में पीएम मोदी ने कहा कि हम स्टार्टअप्स और इनोवेशन पर एक स्पेशल वर्किंग ग्रुप की स्थापना करके SCO के सदस्य देशों के साथ अपना अनुभव साझा करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने का कि वह स्टार्ट-अप और इनोवेशन पर एक विशेष वर्किंग फोर्स ग्रुप का गठन करेंगे और एससीओ सदस्यों के साथ अपने निष्कर्ष साझा करेंगे। पीएम मोदी ने कहा कि SCO के सदस्य देश, वैश्विक गिनती में लगभग 30 प्रतिशत का योगदान देते हैं और विश्व की 40 प्रतिशत जनता भी SCO देशों में निवास करती है। भारत SCO सदस्यों के बीच अधिक सहयोग और आपसी विश्वास का समर्थन करता है।
भारत को विनिर्माण हब बनाने पर जोर
प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को शिखर सम्मेलन में बोलते हुए कहा कि भारत पारंपरिक दवाओं पर एक नए एससीओ कार्य समूह के लिए पहल करेगा। पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि हम भारत को एक विनिर्माण हब बनाने पर प्रगति कर रहे हैं। इस वर्ष भारत की अर्थव्यवस्था में 7.5% वृद्धि की आशा है जो विश्व की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सबसे अधिक होगी। उन्होंने कहा- दुनिया कोविड महामारी से उबर रही है। यूक्रेन क्राइसिस और कोरोना की वजह से ग्लोबल सप्लाई चेन में कुछ दिक्कतें आई हैं। विश्व ऊर्जा और खाद्य संकट का सामना कर रहा है। SCO देशों के बीच सप्लाई चेन विकसित करने का प्रयास करना चाहिए। इसके लिए बेहतर कनेक्टिविटी की जरूरत है।
मिलेट्स की खेती को बढ़ावा देना जरूरी
पीएम मोदी ने कहा कि आज विश्व एक और बड़ी चुनौती का सामना कर रहा है, वह है नागरिकों की खाद्य सुरक्षा निश्चित करना। इसका समाधान मिलेट्स यानी मोटे अनाजों की खेती को बढ़ावा देना है। ये विश्व के कई हिस्सों में हजारों सालों से उगाया जा रहा है। ये खाद्य का सबसे अच्छा साधन है। 2023 को ईयर ऑफ मिलेट्स के तौर पर मनाया जाएगा। इसके साथ ही पीएम मोदी ने कहा कि भारत विश्व के मेडिकल टूरिज्म के लिए सबसे उचित डेस्टिनेशन है। हमने गुजरात में ग्लोबल सेंटर फॉर ट्रैडीशनल मेडिसिन का उद्घाटन किया। हमें SCO देशों के बीच ट्रैडीशनल मेडिसिन पर सहयोग बढ़ाना चाहिए। भारत इसके लिए पहल करेगा।
यूक्रेन में कमजोर पड़ रही पुतिन की सेना, जानिए कैसे रूस के पिछड़ने तुर्की को फायदा हो रहा है