
जाग उठा ISIS: सीरिया में 3500 कैदियों को बनाया गया बंधक, अमेरिका का एक और मिशन फेल?
वॉशिंगटन, जनवरी 26: सीरिया की एक जेल, जिसमें हजारों इस्लामिक स्टेट के कैदी बंद हैं, उस जेल पर भीषण हमला किया जाता है। सीरिया के पड़ोसी इराक में इस्लामिक स्टेट के आतंकवादी एक इराकी पुलिस अधिकारी का सिर कलम करते हुए वीडियो जारी करते हैं और अफगानिस्तान में इस्लामिक स्टेट के आतंकी पिछले 2 महीने में 10 बार से ज्यादा भीषण हमला कर चुके हैं। ये घटनाएं साफ साफ इस बात की गवाही दे रही हैं, कि इस्लामिक स्टेट जाग चुका है और अमेरिका का एक और ऑपरेशन अपने अंजान तक नहीं पहुंच सका।

जाग गया है आईएसआईएस
सीरिया और इराक में इस्लामिक स्टेट के पुनरुत्थान के सबूत दिन-ब-दिन बढ़ते जा रहे हैं। तीन साल पहले ये आतंकवादी संगठन सीरिया में अपना आखिरी ठिकाने जब खोया, तब कहा गया, कि शायद अब आईएसआईएस खत्म हो चुका है, लेकिन पिछले कुछ महीनों में आईएसआईएस फिर से एक्टिव हो चुका है और नये इलाकों को अपने कब्जे में करने के लिए अपने पैरों पर खड़ा हो चुका है। कभी सीरिया और इराक के बड़े हिस्से पर कब्जा करने वाले आईएसआईएस को इस बार कैसे रोका जाए, दुनिया के लिए बड़ी चुनौती है। आईएसआईएस ने जिस तरीके से सीरिया की जेल पर हमला कर ना सिर्फ आईएसआईएस के आतंकियों को आजाद करवाया है, बल्कि सैकड़ों अन्य कैदियों को भी अपनी रक्षा कवच के तौर पर अपहरण कर चुका है और जेल पर जिस तरह से आईएसआईएस ने हमला किया है वो साफ बताता है, कि आईएसआईएस एक गंभीर खतरे के रूप में उभर रहा है।

खत्म नहीं हुई है लड़ाई
स्टिमसन सेंटर थिंक टैंक में मध्य पूर्व और उत्तरी अफ्रीका के डायरेक्टर कावा हसन ने कहा कि, "यह क्षेत्रीय खिलाड़ियों के लिए और अंतराष्ट्रीय खिलाड़ियों के लिए एक वेक अप कॉल है कि आईएसआईएस खत्म नहीं हुआ है और आईएसआईएस के खिलाफ लड़ाई खत्म नहीं हुई है।" उन्होंने कहा कि, "साफ साफ जाहिर हो रहा है, कि आईएसआईएस अब अपनी पसंद के मुताबिक ठिकानों पर हमला कर रहा है और अपने मनपंसद इलाके पर कब्जा कर रहा है और उसके खिलाफ लचीलापन दिखाया जा रहा है।"

सीरिया के हसाका में जेल पर हमला
गुरुवार को, इस्लामिक स्टेट के लड़ाकों ने पूर्वोत्तर सीरिया के एक शहर हसाका में एक जेल पर हमला किया है, जिसमें जेल में बंद करीब 3,500 कैदियों को आजाद करने की कोशिश की कई और आईएसआईएस ने उन्हें अपनी हिरासत में लेकर सुरक्षा बलों से बचने के लिए कैदियों का मानव ढाल की तरह इस्तेमाल करने लगे। ये लोग अभी भी आईएसआईएस के कब्जे में हैं और इसके साथ ही एक बार फिर से करीब तीन सालों के बाद आईएसआईएस ने अमेरिकी सैनिकों को लड़ाई के चुनौती दी है। यानि, साफ हो गया है कि, आने वाले वक्त में एक बार फिर से अमेरिकी सैनिक आईएसआईएस के खिलाफ ऑपरेशन चलाएंगे। लेकिन, मंगलवार तक, इस्लामिक स्टेट के हमलावरों ने अभी भी हसाका में जेल के हिस्से को नियंत्रित किया हुआ है, हालांकि, अमेरिकी सैनिकों को सीरियाई सैनिकों की मदद के लिए भेजा गया है, लेकिन अभी भी जेल पर इस्लामिक स्टेट का ही नियंत्रण है।

इराक में भी आईएसआईएस का उदय
सिर्फ सीरिया ही नहीं, बल्कि इराक में भी पिछले हफ्ते, लगभग उसी समय जब सीरिया में जेल पर हमला किया गया था, ठीक उसी समय आईएसआईएस लड़ाकों ने दियाला प्रांत में एक सेना की चौकी पर हमला कर दिया। आईएसआईएस के घातक हमले में 10 से ज्यादा इराकी सैनिकों की मौत हो गई। पिछले कुछ सालों में इराकी चौकी पर आईएसआईएस द्वारा किया गया है ये सबसे बड़ा हमला है। रिपोर्ट के मुताबिक, आईएसआईएस के लड़ाकों ने देर रात उस वक्त हमला किया था, जब बेस में सैनिक सो रहे थे और बंदूकधारियों ने अचानक अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी थी। इराकी पुलिस फोर्स पर किया गया हमला साफ तौर पर इस बात के सबूत हैं, कि साल 2014 में जिस आईएसआईएस के खिलाफ युद्ध चलाया गया था, उसी तरह युद्ध की परिस्थितियां फिर से बनने लगी हैं।

पुलिस अधिकारी को टॉर्चर
इतना ही नहीं, पिछले महीने दिसंबर में उत्तर पूर्वी इराक के एक पहाड़ी इलाके में आईएसआईएस के लड़ाकों ने एक पुलिस कर्नल समेत चार इराकी शिकारियों को पकड़ लिया था। बात में कर्नल को काफी टॉर्चर किया गया और फिर कैमरे के सामने उनका सिर कलम कर उसका खौफनाक वीडियो जारी किया था। ये वीडियो उस वक्त की याद दिलाता है, जब इराक और सीरिया में आईएसआईएस लड़ाकों के लिए लोगों को पकड़ना और उन्हें नारंगी कपड़े पहनाकर उनका सिर कलम कर देना आम बात हुआ करती थी, लेकिन एक पुलिस कर्नल का सिर कलम कर देना साफ बताया है कि, आईएसआईएस फिर से संगठित हो चुका है और कभी भी दुनिया के खिलाफ आतंकवाद का ऐलान कर सकता है।

इराक में एक्टिव आईएसआईएस
इराक के सुदूर पर्वतीय और रेगिस्तानी इलाकों में आईएसआईएस स्लीपर सेल द्वारा किए गए हमलों ने इराकी सरकारी बलों, पेशमर्गा और कुर्द बलों के बीच समन्वय की कमी को उजागर किया है जो इराकी कुर्दिस्तान क्षेत्र की सरकार के साथ मिलकर आईएसआईएस के खिलाफ लड़ाई लड़ते हैं। अमेरिकन काउंटर टेररिज्म टार्गेटिंग एंड रेजिलिएंस इंस्टीट्यूट के निदेशक अर्दियन शाजकोवसी ने कहा कि, हमलों में गिरफ्तार किए गए आईएसआईएस के कई लड़ाके तीन साल पहले अपने क्षेत्र के आखिरी हिस्से को खो चुके थे और छोटे थे और लेकिन अब ये पुराने आईएसआईए,स सदस्यों वाले परिवारों से मिल गये हैं, जिनका इस्लामिक स्टेट से गहरा संबंध था। यानि, आईएसआईएस में रंगरूटों की नई पीढ़ि शामिल हो रही है, जो नये तरह के खतरों को जन्म दे रही हैं।

कैसे जिंदा हो गया है आईएसआईएस?
जब इराक और सीरिया में आईएसआईएस को करीब करीब खत्म कर दिया गया, तो मारे गये आईएसआईएस लड़ाकों के परिवारों को रखने के लिए इराक में कई शिविर बनाए गये। जहां मारे गये आईएसआईएस आतंकियों के परिवार के साथ साथ उनके रिश्तेदारों को रखा गया है। लेकिन, ये शिविर नये आतंकियों को जन्म देने वाला एक प्रजनन शिविर बन गया है, जहां आईएसआईएस के मारे गये आतंकियों के रिश्तेदार नये संकल्प के साथ आईएसआईएस से जुड़ रहे हैं। इसके साथ ही इराकी सुरक्षा बलों द्वारा किए गये भ्रष्टाचार की वजह से कई ठिकानों पर जरूरी सामानों की आपूर्ति बंद कर दी गई है, और ऐसा लगता है कि, सैनिकों और अधिकारियों को अपने कर्तव्यों की उपेक्षा करने की अनुमति दे दी गई है, लिहाजा नये सिरे से आईएसआईएस का जन्म हो चुका है। ऐसे में सवाल ये है, कि आखिर आईएसआईएस के खिलाफ अब कैसे ऑपरेशन चलया जाए।