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बृहस्पति की साइज का ग्रह नए चंद्रमा को देगा जन्म! जानिए क्यों खास है 'बेबी प्लानेट'?

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नई दिल्ली, 11 अगस्त। बृहस्पति के आकार का एक 'बेबी प्लानेट' नए चंद्रमा के आकार के ग्रह को जन्म दे सकता है। ये बात स्पेस साइंस से जुड़े एक अध्ययन में वैज्ञानिकों की ओर कही जा जा रही है। जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप (JWST) से प्राप्त अंतिरिक्ष की तस्वीरों और पहले से मौजूद डेटा की स्टडी की बेबी प्लानेट को लेकर कई बाते कहीं गई हैं।

JWST में दिखा 'बेबी प्लानेट'

JWST में दिखा 'बेबी प्लानेट'

स्पेस साइंटिस्ट्स ने सबसे कम उम्र के एक्सोप्लानेट को देखा है। जिस पर स्टडी करने के बाद ये पता चला कि ये छोटा ग्रह नए चंद्रमाओं को जन्म दे सकता है। इस बेबी प्लानेट को वैज्ञानिकों ने जेम्स वेब स्पेस टेलीस्कोप (JWST) से प्राप्त तस्वीरों में देखा है, जो अपने शिशु अवस्था में है और काफी छोटा है। ये ग्रहों के जन्म के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान कर सकता है।

नए चंद्रमा को दे सकता है जन्म

नए चंद्रमा को दे सकता है जन्म

बेबी प्लानेट की स्टडी को लेकर साइंटिस्ट्स ने कहा है कि जो बात इसे और भी दिलचस्प बनाती है वह यह है कि इससे नए चंद्रमाओं का जन्म हो सकता है। बाद में हम इसे इसके पुराने आकार में देख सकते हैं। यानी घटना के दौरान बेबी प्लानेट का आकार और लुक परिवर्तिन नहीं होता।

सबसे कम उम्र का एक्सोप्लानेट

सबसे कम उम्र का एक्सोप्लानेट

वैज्ञानिकों ने कहा है कि खोजा गया बेबी प्लानेट लगभग 200 खगोलीय इकाई की दूरी पर स्थित है। इसका नाम AS 209 है। ये पृथ्वी से 395 प्रकाश वर्ष दूर स्थित तारा की तुलना में कुछ अरब वर्ष पुराना है। जबकि इसका ग्रह लगभग 1.5 मिलियन वर्ष पुराना है। AS 209 अब तक खोजे जाने वाले सबसे कम उम्र के एक्सोप्लैनेट में से एक है।

वैज्ञानिकों ने कही ये बात

वैज्ञानिकों ने कही ये बात

इस नई रिसर्च को लीड कर रहे फ्लोरिडा विश्वविद्यालय में खगोल विज्ञान विभाग के प्रोफेसर जेहान बे ने कहा 'ग्रह निर्माण का अध्ययन करने का सबसे अच्छा तरीका ग्रहों का निर्माण करते समय निरीक्षण करना है।' एक पत्रिका 'द एस्ट्रोफिजिकल जर्नल लेटर्स जर्नल' में प्रकाशित अध्ययन में पहली बार खगोलविदों ने एक ऐसे एक्सोप्लैनेट के आसपास की डिस्क का विश्लेषण किया है, जो ग्रह के बारे में जानकारी देता है। इससे भविष्य में चंद्रमा के विकसित होने की भी जानकारी मिलती है।

'बेबी प्लानेट' की स्टडी क्यों?

'बेबी प्लानेट' की स्टडी क्यों?

ग्रहों का विकास अरबों वर्षों से चल रहा है। हमारे सौर मंडल में ग्रहों के निर्माण का अध्ययन करना मुश्किल है, खासकर अगर हम वर्षों पुराने स्पेस की स्थिति के बारे में जानना चाहते हैं, जब पृथ्वी समेत अन्य ग्रहों को जन्म हुआ था। इसके लिए ग्रह की कम उम्र और आसपास मौजूद गैस खगोलविदों को ग्रह निर्माण के बारे में मौजूदा सवालों के जवाब देने में मदद करेगी। नई खोज में यह समझने की भी गुंजाइश है कि यह अपने ही तारे से इतनी दूर कैसे बना?

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English summary
Birth to new moons know about why baby planet important to space science
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