जब Robert vadra ने कहा था, मैं कहीं से भी चुनाव लड़ूं तो जीत जाऊंगा
नई दिल्ली। सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा (Robert vadra) क्या इसलिए राजनीति में नहीं आ पा रहे क्यों कि उनके खिलाफ आर्थिक अपराध के कई मामले चल रहे हैं ? इन आरोपों से जैसे ही बरी होंगे तो क्या वे राजनीति में आ जाएंगे ? 2019 में जब सोनिया गांधी कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष बनी थीं तब पार्टी मुख्यालय के बाहर लगे होर्डिंग- पोस्टर में राहुल, प्रियंका के साथ रॉबर्ट वाड्रा की भी तस्वीर लगी थी। पिछले लोकसभा चुनाव के समय मुरादाबाद में पोस्टर लगा कर उन्हें इलेक्शन लड़ने के लिए आमंत्रित किया गया था। तो क्या अब उनको राजनीति में उतारने की तैयारी शुरू कर दी गयी है ? आयकर अधिकारियों की पूछताछ के बाद उन्होंने राजनीति के किसी मंझे हुए नेता की तरह बयान दिया है। उन्होंने इस मामले को किसान आंदोलन से जोड़ कर उल्टे केन्द्र सरकार को घेरने की कोशिश की है।
किसान आंदोलन से ध्यान भटकाने के लिए पूछताछ ?
रॉबर्ट वाड्रा हैं तो व्यापारी लेकिन अब राजनीतिक पैंतरों से भी वाकिफ हो गये हैं। जब आयकर विभाग की टीम ने सोमवार को उनसे पूछताछ की तो उन्होंने इसे बदले की कार्रवाई बता दिया। वाड्रा ने आरोप लगाया कि किसान आंदोलन से ध्यान भटकाने के लिए यह सब किया गया। तो क्या रॉबर्ड वाड्रा के खिलाफ सचमुच कोई मामला नहीं है और नरेन्द्र मोदी की सरकार राजनीतिक द्वेष में उनके खिलाफ कार्रवाई कर रही है ? ब्रिटेन में अघोषित सम्पत्ति रखने के मामले में आयकर विभाग और प्रवर्तन निदेशालय उनके खिलाफ जांच कर रहा है। रॉबर्ट वाड्रा जब बयान दर्ज कराने के लिए आयकर विभाग के दफ्तर नहीं आये तो आइटी की टीम उनके ऑफिस पहुंच गयी।
वाड्रा पर आरोप
वाड्रा पर आरोप है कि उन्होंने मनी लॉन्ड्रिंग के जरिये लंदन के ब्रायनस्टन स्क्वायर में 1.9 मिलियन पाउंड का घर खरीदा है। उनके खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज है और इस मामले में वे फिलहाल जमानत पर हैं। उनके खिलाफ फरीदाबाद और बीकानेर में जमीन घोटाला का भी मामला चल रहा है। इन मामलों में कानून का अंतिम फैसला क्या होगा, किसी को मालूम नहीं। चूंकि अभी उन पर केवल आरोप लगा है इसलिए वे चुनाव तो लड़ ही सकते हैं। वाड्रा अभी 52 साल के हैं। जहां तक पाक-साफ राजनीति का सवाल है तो उन्हें कुछ साल और इंतजार करना पड़ेगा।
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2009 में मिला था सुल्तानपुर से लड़ने का ऑफर !
आज से दस साल पहले रॉबर्ट वाड्रा ने कहा था, 'मैं राजनीति में कब आऊंगा ये तो पता नहीं लेकिन में जिस किसी भी सीट से चुनाव लड़ूंगा तो जीत जाऊंगा। लेकिन में एक बिजनेसमैन हूं, और मुझे उसी रूप में पहचाना जाना चाहिए जो मैं हूं।" उस समय रॉबर्ट वाड्रा ने खुलासा किया था कि 2009 के लोकसभा चुनाव में उन्हें उत्तर प्रदेश की सुल्तानपुर सीट से चुनाव लड़ने का ऑफर मिला था लेकिन उन्होंने मना कर दिया था। 2019 में उन्होंने कहा था, जब मैं सभी आरोपों से बरी हो जाऊंगा तब मैं राजनीति में आने पर विचार करूंगा। लंदन की अघोषित सम्पत्ति मामले में सोमवार को जब आयकर विभाग की टीम ने इनसे करीब आठ घंटे तक पूछताछ की तो वाड्रा फिर सुर्खियों में आ गये।
गांधी परिवार में रॉबर्ट वाड्रा
रॉबर्ट वाड्रा के पिता राजेन्द्र वाड्रा मुरादाबाद में पीतल के बर्तनों के बड़े व्यापारी थे। उनकी मां मॉरीन स्कॉटलैंड (ब्रिटेन) की रहने वाली थीं। रॉबर्ट के बड़े भाई रिचर्ड ने 2003 में खुदुशी कर ली थी। उनकी बहन मिशेल की 2001 में एक सड़क हादसे में मौत हो गयी थी। 2009 में उनके पिता राजेन्द्र वाड्रा दिल्ली के एक होटल में मृत पाये गये थे। 1997 में रॉबर्ट वाड्रा और प्रियंका गांधी का विवाह हुआ था। कहा जाता है कि इस विवाह से रॉबर्ट वाड्रा के पिता राजेन्द्र वाड्रा खुश नहीं थे। इसके चलते पिता-पुत्र में अनबन हो गयी थी। 2001 में वाड्रा ने खुद को अपने पिता से अलग बताया था। हालांकि 2016 में रॉबर्ट ने एक इंटरव्यू में कहा था कि उन्हें अपनी जिंदगी सुधारने के लिए प्रियंका गांधी की जरूरत नहीं थी क्यों कि पिता से विरासत में ढेर सारा पैसा मिला था। लेकिन 2014 में अमेरिकी अखबार 'द वाल स्ट्रीट जर्नल' ने वाड्रा की आर्थिक उन्नति पर बहुत बड़ा सवाल उठाया था। 'द वाल स्ट्रीट जर्नल' की खबर में कहा गया था, रॉबर्ट वाड्रा ने 2007 में एक लाख रुपये से बिजनेस शुरू किया था। लेकिन 2012 में उनकी सम्पत्ति 300 करोड़ रुपये से अधिक हो गयी। मंदी के दौर में ऐसी आर्थिक प्रगति आश्चर्यजनक है।
राहुल गांधी- वाड्रा में कैसी ट्यूनिंग ?
रॉबर्ट वाड्रा ने एक इंटरव्यू में बताया था, "मैं और राहुल गांधी खेल और फिटनेस को लेकर बहुत क्रेजी हैं। राहुल गांधी मेरी साइक्लिंग के पर्टनर हैं। हम लोग कभी-कभी पचास से सौ किलोमीटर तक एक साथ साइकिल चलाते हैं। एक साथ जिम में वर्कआउट करते हैं। (रॉबर्ट वाड्रा सचमुच बॉडी बिल्डर हैं और उन्होंने सलमान खान की तरह एट पैक एब्स बना रखा है।) इस दौरान हमारी अच्छी जमती है। लेकिन हम लोग एक दूसरे के प्रोफेशन में कोई दखल नहीं देते। राहुल मेरे बिजनेस को लेकर कोई सलाह नहीं देते और मैं उनकी राजनीति गतिविधियों के बारे में कोई राय नहीं जाहिर करता। 2004 में जब मदर इन लॉ (सोनिया गांधी) को प्रधानमंत्री बनाये जाने की बात चल रही थी तब मैंने कह दिया था कि मैं अपने सुखदेव बिहार के आफिस को चलाता रहूंगा। यहीं रहूंगा क्यों कि मैं अचनाक अपनी लाइफ स्टाइल नहीं बदल सकता।"
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क्या है वाड्रा परिवार की राजनीतिक संभावनाएं ?
रॉबर्ट वाड्रा मानते हैं कि जब उनकी शादी एक राजनीतिक घराने में हुई है तो वे राजनीति से बिल्कुल दूर नहीं रह सकते। वाड्रा के मुताबिक, खाने के टेबल पर अक्सर राजनीति की बातें होती हैं। मेरे बच्चे रोज टीवी पर मामू और नानी की राजनीतिक गतिविधियां देखते हैं। उनकी अपनी राय है। अगर वे राजनीति में जाना चाहें तो जा सकते हैं। वे करियर चुनने के लिए स्वतंत्र हैं। रॉबर्ट बाड्रा और प्रियंका गांधी के पुत्र रेहान की उम्र अब 20 साल की हो चुकी है। इस साल दिल्ली विधानसभा चुनाव में रेहान वाड्रा ने पहली बार वोट डाला था। तब उन्होंने मीडिया को राजनीति से जुड़े सवालों का समझदारी से जवाब दिया था। रेहान की बहन मिराया 18 साल की हैं और बास्केटबॉल प्लेयर हैं। क्या वाड्रा परिवार कांग्रेस की भावी राजनीति का अहम किरदार बनेगा ?