अंकिता भंडारी हत्या मामले की जांच के लिए SIT का गठन, सीएम धामी बोले- दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा
अंकिता भंडारी हत्या मामले की जांच के लिए SIT का गठन, सीएम धामी बोले- दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा
ऋषिकेश, 24 सितंबर: पौड़ी गढ़वाल की रहने वाली 19 वर्षीय अंकिता भंडारी हत्या की हत्या को लेकर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी एसआईटी जांच के आदेश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने शनिवार (24 सितंबर) को ट्वीट कर कहा, ''आज प्रात काल बेटी अंकिता का पार्थिव शव बरामद कर लिया गया। इस हृदय विदारक घटना से मन अत्यंत व्यथित है। दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने हेतु पुलिस उपमहानिरीक्षक पी. रेणुका देवी जी के नेतृत्व में एसआईटी का गठन कर इस गंभीर मामले की गहराई से जांच के भी आदेश दे दिए हैं।
इस हत्या केस में तीनों लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिसमें एक वरिष्ठ भाजपा नेता और उत्तराखंड में पूर्व मंत्री विनोद आर्य के बेटे पुलकित आर्य को गिरफ्तार किया गया है, वहीं पुलकित आर्य के अलावा रिसॉर्ट मैनेजर 35 वर्षीय सौरभ भास्कर और 19 वर्षीय कर्मचारी अंकित गुप्ता को भी गिरफ्तार किया गया है। पुलकित आर्य इस रिसॉर्ट के मालिक थे।
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने एक अन्य ट्वीट में कहा, ''आरोपियों के गैर कानूनी रूप से बने रिजॉर्ट पर बुल्डोजर द्वारा कार्रवाई भी कल देर रात की गई है। हमारा संकल्प है कि इस जघन्य अपराध के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।''
आरोपियों के गैर कानूनी रूप से बने रिजॉर्ट पर बुल्डोजर द्वारा कार्रवाई भी कल देर रात की गई है।
हमारा संकल्प है कि इस जघन्य अपराध के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) September 24, 2022
अंकिता भंडारी की हत्या को लेकर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को जिलाधिकारियों को राज्य के सभी रिसॉर्ट्स की जांच करने के निर्देश दिए हैं। सभी डीएम को अवैध रूप से बनाए गए सभी रिसॉर्ट के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए। आरोपी के रिसॉर्ट के खिलाफ कार्रवाई की गई। वहां फोरेंसिक और अन्य परीक्षण होंगे, इसलिए सीलिंग की जा रही है। लेकिन कार्रवाई जारी रहेगी।
अंकिता भंडारी हत्याकांड को लेकर स्थानीय लोगों के खिलाफ गुस्सा है। अंकिता के आरोपियों को ले जा रहे पुलिस वाहन का महिलाओं ने घेराव किया। रिसॉर्ट में काम करने वाली 19 साल की रिसेप्शनिस्ट की हत्या की बात को आरोपी ने कबूल की और वह डूब गई।
उत्तराखंड के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) अशोक कुमार ने एएनआई को बताया कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है। पुलिस काम कर रही है, उन्होंने गिरफ्तारी के लिए अपना काम किया है। ऐसे जघन्य अपराधों के लिए कड़ी से कड़ी सजा दी जाएगी, चाहे अपराधी कोई भी हो।"