IAS नियम में संशोधन के प्रस्ताव के खिलाफ तमिलनाडु और केरल भी, मुख्यमंत्रियों ने PM मोदी को लिखा खत
नई दिल्ली, जनवरी 23। आईएएस (कैडर) नियम 1954 में संशोधन के केंद्र के प्रस्ताव के खिलाफ अब राज्य सरकारों का विरोध बढ़ता ही जा रहा है। सबसे पहले पश्चिम बंगाल सरकार ने इस प्रस्ताव का विरोध किया था। बंगाल के बाद से राजस्थान, झारखंड और छत्तीसगढ़ की सरकारें भी इस प्रस्ताव का विरोध कर चुकी हैं। इस बीच रविवार को केरल और तमिलनाडु की सरकार ने भी इस प्रस्ताव के खिलाफ अपनी असहमति दर्ज करा दी।
तमिलनाडु और केरल सरकार भी आई प्रस्ताव के विरोध में
रविवार को केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन और तमिलाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खत लिखकर केंद्र के प्रस्ताव का विरोध किया। केरल के मुख्यमंत्री ने अपने पत्र में कहा है कि वर्तमान में जो आईएएस (कैडर) नियम 1954 है, वो पहले से ही केंद्र के पक्ष में है, इसलिए नियम में संशोधन करने का प्रस्ताव समझ से बाहर है।
केरल के मुख्यमंत्री का पीएम मोदी को खत
पिनाराई विजयन ने पीएम मोदी को लिखे खत में कहा है, "वर्तमान प्रतिनियुक्ति नियम स्वयं केंद्र के पक्ष में है। ऐसे में इस नियम में और सख्ती करना सहकारी संघवाद की जड़ पर प्रहार करने के बराबर है। केंद्र जो प्रस्ताव लेकर आया है, अगर वो पास होता है तो इससे संघवाद की जड़ कमजोर हो जाएगी"
तमिलनाडु के सीएम का पीएम मोदी को लिखा खत
एमके स्टालिन ने पीएम मोदी को लिखे खत में कहा है कि केंद्र सरकार जो IAS कैडर नियम 1954 में संशोधन का प्रस्ताव लाई है, उसे ड्रॉप कर दे। उन्होंने कहा कि इसके बजाए राष्ट्र की संघीय भावना को और मजबूत करने के लिए राज्य सरकार के साथ जुड़ना चाहिए। एमके स्टालिन ने कहा है कि केंद्र का ये संशोधन प्रस्ताव देश की संघीय राजनीति और राज्य की स्वायत्तता को खत्म करने का काम करेगा।