ईवीएम मशीनों पर उठ रहे सवालों के बाद केंद्र सरकार का बड़ा फैसला
केंद्र सरकार ने कैबिनेट की बैठक में वीवीपीएटी मशीन को दी मंजूरी, ईवीएम पर उठ रहे सवालों के बाद सरकार का बड़ा कदम
नई दिल्ली। हाल ही में पांच राज्यों में चुनाव के बाद कई राजनीतिक दलों ने इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े कर दिए हैं, तमाम राजनीतिक दलों ने ईवीएम मशीनों में गड़बड़ी का हवाला देते हुए इसकी जगह वैलेट पेपर के जरिए चुनाव कराने की मांग की थी। ऐसे में इस मुश्किल से निपटने के लिए केंद्र सरकार ने वीवीपीएटी को मंजूरी दे दी है।
मोदी सरकार ने दी मंजूरी
केंद्र सरकार ने कैबिनेट की बैठक में वीवीपीएटी को मंजूरी दे दी है, सरकार के इस फैसले के बाद अब ईवीएम के जरिए वोट देने के बाद एक पर्ची भी निकलेगी जिसपर मतदाता ने किसे वोट दिया है वह दर्ज होगा। इस फैसले के बाद ईवीएम की विश्वसनीयता पर खड़े हो रहे सवालों पर विराम लग सकता है। हालांकि अभी तक इस बात की पुष्टि नहीं हो सकी है कि क्या इसका इस्तेमाल दिल्ली के निकाय चुनावों में होगा या नहीं।
क्या है वीवीपीएटी मशीन
यह एक तरह का प्रिंटर होता है जिसे ईवीएम मशीन के साथ लगाया जाता है। ऐसे में जब मतदाता अपना वोट डालता है तो उसके वोट की जानकारी इस प्रिंटर के जरिए प्रिंट हो जाती है, जिसके जरिए इस बात की पुष्टि की जाती है कि मतदाता ने जिस उम्मीदवार को अपना वोट दिया है उसे उसका वोट मिला है या नहीं। यह मशीन मतदाता को अपना मत जांचने का अधिकार प्रदान करता है।
कैसे काम करती है यह मशीन
जब मतदाता अपना वोट डालने के लिए ईवीएम पर बटन दबाता है तो इसके बाद एक स्लिप छपकर निकलती है। इस पर्ची पर उम्मीदवार का चुनाव चिन्ह छपकर आता है, जिसके बाद मतदाता अपने वोट की पुष्टि कर सकता है। वोट देने के बाद वोटर मशीन के पास रखे वीवीपीएटी मशीन पर मतदाता अपने वोट की पर्ची को सात सेकेंड तक के लिए मशीन में देख सकता है। जिसके बाद यह पर्ची ड्रॉप बॉक्स में चली जाती है और बीप की आवाज सुनाई देती है। वीवीपीएटी मशीन को सिर्फ पोलिंग अधिकारी ही खोल सकता है।
क्या कहना है इसपर चुनाव आयोग का
जिस तरह से हाल ही में तमाम राजनीतिक दलों ने ईवीएम पर सवाल खड़े किए हैं उसके बाद चुनाव आयोग ने लोगों को खुली चुनौती दी है कि वह मशीन में टेंपरिंग करके दिखाए, इसके लिए आयोग ने राजनीतिक दलों से अपने एक्सपर्ट को लेकर आने को कहा है। मुक्य चुनाव आयुक्त नसीम जैदी ने केंद्रीय कानून मंत्री से वीवीपीएटी मशीन के लिए फंड जारी करने की अपील की थी ताकि सभी ईवीएम मशीन में इसे लगाया जा सके।