जानिए, CBI के उस अफसर को जिसने दीवार फांदकर चिदंबरम को किया गिरफ्तार
जानिए, CBI के उस अफसर को जिसने दीवार फांदकर चिंदबरम को किया गिरफ्तार
नई दिल्ली। बुधवार की रात को बाकी दिनों की तरह दिल्ली पुलिस के जवान पूर्व वित्त मंत्री और कांग्रेस के दिग्गज नेता पी. चिंदबरम के दिल्ली में जोरबाग स्थित आवास के बाहर सुरक्षा में तैनात थे। मेन गेट अंदर से बंद था और पूरा घर एक किले में तब्दील हो चुका था। अचानक सीबीआई की दो टीमें एक अफसर के साथ चुपचाप घर की दीवार फांदकर अंदर घुसीं और आगे जाने का रास्ता बनाया। कुछ शोर हुआ और करीब आधे घंटे बाद सीबीआई का ये अफसर पी. चिदंबरम को अपने साथ लेकर घर से बाहर निकला। इसके बाद यही अफसर चिदंबरम को अपने साथ लेकर सीबीआई हेड क्वार्टर के लिए रवाना हो गया। सीबीआई के इस अफसर का नाम है 'आर. पार्थसारथी', जो आईएनएक्स मीडिया केस की जांच कर रहे हैं।
डिप्टी एसपी के पद पर तैनात हैं आर. पार्थसारथी
लाइवमिंट की खबर के मुताबिक, करीब दो साल पहले 2017 में सीबीआई ने आईएनएक्स मीडिया के इस मामले में जब पी. चिदंबरम और उनके बेटे कार्ति चिदंबरम के खिलाफ पहली एफआईआर दर्ज की तो केस की जांच सीबीआई में डिप्टी एसपी के पद पर तैनात आर. पार्थसारथी को सौंपी गई। इसके ठीक एक साल बाद अप्रैल 2018 में पार्थसारथी दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट कॉम्पलैक्स में कार्ति चिदंबरम के साथ बैठे थे, जहां से सीबीआई की स्पेशल कोर्ट ने कार्ति को पहले सीबीआई की कस्टडी और फिर न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
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पार्थसारथी के बारे में क्या कहते हैं पूर्व अधिकारी
आर. पार्थसारथी ने आईएनएक्स मीडिया के इस हाई प्रोफाइल केस में चिदंबरम और उनके बेटे कार्ति के खिलाफ लगातार अपनी जांच जारी रखी। सीबीआई में काम कर चुके पूर्व अधिकारियों का कहना है कि पार्थसारथी एक ऐसे अफसर हैं, जो शांत रहते हुए मजबूत इच्छाशक्ति के साथ अपने काम को अंजाम देते हैं। आपको बता दें कि पी चिदंबरम को गिरफ्तार करने के बाद सीबीआई मुख्यालय लाया गया था, जहां उन्हें लॉकअप नंबर 5 में रखा गया। इस लॉकअप पर सीबीआई के दो अधिकारियों द्वारा 24 घंटे निगरानी रखी जाती है। इसके अलावा यह लॉकअप सीसीटीवी कैमरे की निगरानी में भी है। इस सीसीटीवी कैमरे की फीड को सीबीआई मुख्यालय के ग्राउंड फ्लोर पर बने कंट्रोल रुम में बैठकर देखा जाता है।
सीबीआई मुख्यालय में बेहद शांत रहे चिदंबरम
'इंडिया टुडे' की खबर के मुताबिक, सीबीआई मुख्यालय लाए जाने के बाद पी. चिदंबरम चुप रहे और उन्होंने सीबीआई के अधिकारियों व मेडिकल करने वाले डॉक्टरों से भी मुश्किल से बात की। चिदंबरम का मेडिकल कराने के लिए उनसे डॉ. राम मनोहर लोहिया हॉस्पिटल चलने को कहा गया, लेकिन उन्होंने जाने से मना कर दिया। इसके बाद डॉक्टरों की एक टीम ने सीबीआई मुख्यालय पहुंचकर ही उनका मेडिकल चेकअप किया। डॉक्टरों ने उनसे पूछा कि क्या उन्हें कोई बीमारी है या वो कोई दवा ले रहे हैं। इसके बाद डॉक्टरों ने उनके ब्लड प्रेशर और नब्ज वगैरह चेक की। इस दौरान भी चिदंबरम चुप ही रहे और बहुत कम बोले।
अग्रिम जमानत की अर्जी खारिज
गौरतलब है कि दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को आईएनएक्स मीडिया केस में चिदंबरम की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी। दिल्ली हाईकोर्ट के जज ने उनकी अग्रिम जमानत की अर्जी खारिज करते हुए कहा कि इस मामले में तथ्यों से प्रथम दृष्टया पता चलता है कि याचिकाकर्ता ही इस केस में मुख्य साजिशकर्ता है। चिदबंरम की याचिका खारिज करने वाले जस्टिस सुनील गौड़ ने इस मामले को 'मनी लॉन्ड्रिंग का क्लासिक केस' बताते हुए कहा कि अगर आरोपी को जमानत दी गई तो समाज में एक गलत संदेश जाएगा। इसके बाद सीबीआई की टीम मंगलवार रात से लेकर बुधवार रात तक कई बार उनके घर पहुंची, लेकिन चिदंबरम नहीं मिले।
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