अब किताबों में छिपा कर नहीं पढ़ना पड़ेगा कॉमिक बुक, जानें क्यों?
एक समय था जब बच्चे किताबों में छिपाकर कॉमिक बुक पढ़ते थे, लेकिन अब ऐसा नहीं करना पड़ेगा। इसके लिए ICSE बोर्ड ने इंतजाम किया है।
नई दिल्ली। अब पढ़ाई करने वाले छात्रों को अपनी कॉमिक बुक, किताबों के भीतर छिपा कर नहीं पढ़ना पड़ेगा। ना ही लेक्चर्स के दौरान डेस्क के नीचे रख कर पढ़ना होगा, ना ही उसके बारें में ज्यादा पढ़ने के लिए स्कूल में साहित्य को खंगालना पड़ेगा।
काउन्सिल ऑफ स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशंस (ICSE) ने फैसला किया है कि अब जूनियर और मिडिल स्कूल के बच्चों के इंग्लिश लिट्रेचर के सिलेबस में जे. के. रोलिंग की हैरी पॉटर भी शामिल होगी।
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सिर्फ हैरी पॉटर नहीं
अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार सिर्फ हैरी पॉटर ही नहीं बल्कि कई अन्य साहित्य बच्चों के सिलेबस में 2017-18 के सत्र से जोड़ा जाएगा।
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बकौल अखबार सिलेबस में तीसरी क्लास से आठवीं क्लास तक के छात्रों के सिलेबस में अमर चित्र कथा से लेकर टिनटिन और एस्टरिक्स के साथ-साथ अमेरिकन कार्टूनिस्ट आर्ट स्पिगलमेन होलोकॉस्ट की कहनी 'मौस' भी शामिल होगा।
हैरी पॉटर के साथ-साथ छात्रों को फेलुडा, प्याओरोट और होम्स भी छात्रों के सिलेबस में शामलि होगा।
बहुत बड़ा बदलाव
गौरतलब है कि ICSE बोर्ड के छात्रों के जीवन में यह बहुत बड़ा बदलाव है, जहां शिक्षक उनकी कॉमिक बुक्स जब्त कर लेते थे।
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बोर्ड के इस फैसले के बाद इस पर प्रतिक्रियाएं भी आ रही हैं। बारनगर स्थित सेंट्रल मॉडल स्कूल के प्रधानाचार्य नबारुन डे ने कहा कि हम इस फैसले का स्वागत करते हैं। बच्चे अपनी पढ़ाई का आनंद ले सकेंगे।