Coronavirus In India: भारत में क्यों अचानक इतनी तेजी से बढ़ रहे हैं कोरोना वायरस के मामले
Coronavirus In India: देश में गुरुवार को कोरोना वायरस के बीते 24 घंटों में 3,016 नए कोरोना वायरस मामले दर्ज किए गए हैं। ये दर्ज कोविड-19 केस छह महीने में सबसे अधिक है। देश में कोरोना एक्टिव केसों की संख्या 13,509 हो गई
Why Coronavirus Cases are Increasing: भारत में कोरोना वायरस के मामलों में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। देश में गुरुवार 30 मार्च को 3 हजार से ज्यादा कोविड-19 के मामले सामने आए हैं। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के गुरुवार को अपडेट किए गए आंकड़ों के मुताबिक भारत में बीते 24 घंटों में 3,016 नए कोरोना केस दर्ज किए हैं। जो कल की तुलना में 40 फीसदी ज्यादा है।
देश में एक्टिव केसों की संख्या बढ़कर 13,509 हो गई है। एक दिन में 14 नए लोगों की कोरोना से मौत हुई है। रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली में एक दिन में 300 केस सामने आए हैं। पिछले 10 दिनों में उत्तर प्रदेश में एक्टिव कोविड केसों की संख्या में तीन गुना वृद्धि हुई है। आखिर देश में अचानक कोरोना के मामले क्यों बढ़ रहे हैं।
-एक्सपर्ट के मुताबिक कोरोना वायरस के मामले भारत में इसलिए बढ़ जाते हैं क्योंकि कोविड के वायरल देश में फिलहाल endemic स्टेज में है। जिसका मतलब है कि कोरोना वायरस खत्म नहीं हुआ है, ये लगातार मौजूद है।
-एक्सपर्ट के मुताबिक देश में कोरोना वायरस के मामलों में सबसे ज्यादा उछाल कोविड के नए वैरिएंट XBB.1.16 की वजह हो रही है। इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स के पूर्व संयोजक डॉक्टर डॉ. विपिन एम वशिष्ठ ने बताया कि XBB.1.16 वैरिएंट में XBB.1.5 वैरिएंट से 140 फीसदी वायरस फैलाने की ज्यादा क्षमता है। XBB.1.16 वैरिएंट अन्य वैरिएंट से ज्यादा खतरनाक है।
-एक्सपर्ट के मुताबिक कोविड का न्यू वैरिएंट XBB.1.16 में ज्यादा स्पाइक म्यूटेशन E180V, K478R, और S486P है।
-इसके अलावा कोरोना के बढ़ते मामलों में सबसे बड़ी वजह, इसका सामान्य लक्षण होना है। डॉक्टरों के मुताबिक पिछले साल जनवरी और मार्च के बीच भारत में कोरोना महामारी की तीसरी लहर के दौरान कोविड मरीजों में लक्षण समान दिखाई दे रहे थे। आम बामीरियों की तरह की कोरोना के दौरान भी बुखार, गले में खराश, सर्दी, सिरदर्द, शरीर में दर्द और थकान महसूस होता है। ऐसे में मरीज को कई बार ये देरी से पता चलता है कि वह कोविड संक्रमित है।
-देश में कोरोना के बढ़ते मामलों के बावजूद, देश भर के अस्पतालों में कोरोना मरीजों की भीड़ नहीं हो रही है। कुल मिलाकर अस्पताल में भर्ती होने की संख्या कम ही है। रिसर्च के मुताबिक अस्पतालों को पहले की तरह ही अब कोरोना मरीजों को लेकर एहतियात बरतने होंगे।
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