14 साल तक यूपी पुलिस में कांस्टेबल रहे श्याम बाबू बने SDM, पास की PCS परीक्षा, जानिए उनका सफर
लखनऊ। उप्र पुलिस में 14 साल बतौर सिपाही काम करने वाले श्यामबाबू अब डिप्टी कलेक्टर बन गए हैं। उन्होंने मार्च 2016 में पीसीएस प्री का टेस्ट दिया था। सितंबर में मुख्य परीक्षा हुई। रिजल्ट 2018 के नवंबर महीने में आया। इसके बाद 10 दिसंबर को उनका इंटरव्यू हुआ था। श्याम बाबू ने ने पीसीएस-2016 में अभ्यर्थी के रूप में 52वीं रैंक हासिल की है। 2005 में बलिया के रानीगंज स्थित श्री सुदिष्ट बाबा इंटर कॉलेज से श्याम बाबू ने इंटरमीडिएट किया था, जिसके बाद वह बतौर कॉन्स्टेबल उत्तर प्रदेश पुलिस में भर्ती हो गए थे। यूपी के बलिया जिले की बैरिया तहसील के अंतर्गत आने वाले इब्राहिमाबाद गांव के रहने वाले श्याम बाबू ने बताया कि पांचों बहनों की शादी हो चुकी है, बड़े भाई उमेश कुमार इनकम टैक्स में इन्स्पेक्टर पद पर कार्यरत हैं। आईए जानते हैं यहां तक के उनके पूरे सफर को
श्याम बाबू वर्तमान में प्रयागराज हेडक्वॉर्टर में तैनात हैं
श्याम बाबू वर्तमान में प्रयागराज हेडक्वॉर्टर में तैनात हैं। उनके परिवार में मां किशोरी देवी, पिता धर्मनाथ के अलावा पांच बहनें और एक बड़े भाई हैं। श्याम बाबू बताते हैं कि पांचों बहनों की शादी हो चुकी है, बड़े भाई उमेश कुमार इनकम टैक्स में इन्स्पेक्टर पद पर कार्यरत हैं। श्याम बाबू के मुताबिक, उन्होंने पीसीएस की तैयारी ग्रैजुएशन के बाद 2009-10 से शुरू कर दी थी लेकिन 2013 के बाद वह इसे लेकर गंभीर हुए।
दिन में ऑफिस का काम करता और रात में पढ़ाई
श्याम बाबू एक लंबे वक्त तक बतौर कॉन्स्टेबल यूपी पुलिस से जुड़े रहे हैं। महकमे से मिलने वाले सहयोग के बारे में वह कहते हैं, 'मैंने शुरू में थाने में नौकरी की लेकिन बाद में ऑफिस में आ गया। ऑफिस में आने से इस बात की सहूलियत हो गई कि दिन के वक्त दफ्तर का काम खत्म करता था और रात के वक्त में पढ़ाई भी हो जाती थी।' वह बताते हैं, 'पढ़ाई की वजह से तकरीबन सभी दोस्तों से नाता टूट गया था, शुक्रवार को जब इस बात की खबर मिली तो ढेरों दोस्तों ने बधाई देने के लिए फोन किया। कई ने तो सोशल मीडिया पर मुझे शुभकामनाएं दीं।
जनता के साथ मित्रवत व्यवहार जरूरी
श्याम बाबू ने 2016 मार्च महीने में पीसीएस प्री दिया था, सितंबर में मेन्स का एग्जाम हुआ, जिसका रिजल्ट 2018 के नवंबर महीने में आया। इसके बाद 10 दिसंबर को उनका इंटरव्यू हुआ था। पुलिस महकमे की कमियों के बारे में सवाल करने पर उन्होंने कहा, 'पुलिस विभाग में मूल रूप से फोर्स की कमी तो है ही साथ ही छोटे स्तर के कर्मचारियों के लिए मूलभूत सुविधाएं भी नहीं हैं। जनता और प्रशासन के बीच समन्वय की कमी है, जिसे दूर करके बेहतर किया जा सकता है। जनता के साथ मित्रवत व्यवहार होना चाहिए।
कानपुर की रहने वाली जयजीत कौर होरा ने पीसीएस में टॉप किया
बता दें कि कानपुर की रहने वाली जयजीत कौर होरा ने पीसीएस में टॉप किया है। जयजीत यहां कौशलपुरी गुमटी नंबर-5 की रहने वाली हैं। पीसीएस 2016 की प्रारंभिक परीक्षा 20 मार्च 2016 को हुई थी। जहां कुल 436413 आवेदकों में से 250696 परीक्षा में शामिल हुए थे। मुख्य परीक्षा के लिए 14615 अभ्यर्थियों को सफल किया गया था। लिखित परीक्षा के दो साल बाद 16 नवंबर 2018 को मुख्य परीक्षा का परिणाम घोषित किया गया था। मुख्य परीक्षा में सफल अभ्यर्थियों का साक्षात्कार 10 दिसंबर 2018 से 24 जनवरी 2019 के बीच संपन्न हुआ। 1993 अभ्यर्थियों में से 1935 साक्षात्कार में शामिल हुए थे।