सीमा विवाद को लेकर हुई हिंसा के बीच असम सरकार ने नागरिकों को दी मिजोरम की यात्रा न करने की सलाह
असम-मिजोरम बॉर्डर पर जारी तनाव को देखते हुए असम सरकार ने अपने नागरिकों को मिजोरम की यात्रा न करने को लेकर एडवाइजरी जारी की है।
दिसपुर, 29 जुलाई। सीमा विवाद को लेकर असम-मिजोरम बॉर्डर पर सोमवार को जमकर बवाल हुआ। दोनों राज्यों के लोगों और पुलिस के बीच हिंसा हुई। इस हिंसा में असम पुलिस के पांच जवान शहीद हो गए और कई आम नागरिक भी घायल हुए हैं। यह हिंसा असम के सीमावर्ती जिलों कछार, करीमगंज और हालियाकांडी में हुई। हिंसा के दो दिन बाद अब स्थिति शांतिपूर्ण और नियंत्रण में है। सीमा पर दोनों राज्यों की ओर से सीमा सुरक्षा बलों को तैनात किया गया है। हिंसा को देखते हुए असम सरकार ने नागरिकों के मिजोरम की यात्रा न करने को लेकर एडवाइजरी जारी की है।
सरकार ने कहा है कि वर्तमान स्थिति को देखते हुए असम के नागरिकों को सलाह दी जाती है कि वे मिजोरम की यात्रा न करें। क्योंकि इस समय उनकी जान को खतरा हो सकता है। वहीं असम सरकार ने आगे कहा है कि असम के जो नागरिक काम के सिलसिले में मिजोरम में हैं वो विशेष सावधानी बरतें।
असम सरकार ने कहा कि इस हिंसा के बाद मिजो सिविल सोसाइटी, वहां के छात्र और युवा संगठन लगातार असम के लोगों के खिलाफ भड़काऊ भाषण दे रहे हैं। सरकार ने कहा कि असम पुलिस के हाथ इसकी वीडियो फुटेज भी लगी है। असम-मिजोरम सीमा पर जारी तनाव को देखते हुए असम के लोगों को हम कहना चाहते हैं कि वो मिजोरम की यात्रा बिल्कुल न करें।
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बता दें कि सोमवार को मिजोरम पुलिस और आम लोगों द्वारा की गई गोलीबारी में असम के 5 पुलिसकर्मियों और एक आम नागरिक की मौत हो गई व 50 लोग घायल हो गए। घायल एक अन्य पुलिसकर्मी की मंगलवा को मौत हो गई। बता दें कि मिजोरम की सीमा से लगते असम के कछार और हैलाकांडी जिलों में अक्टूबर 2020 से तनाव की स्थिति बनी हुई है। वहां मकानों को जलाने एवं जमीन पर अतिक्रमण करने की घटनाएं होती रही हैं। दोनों राज्यों के बीच 164.6 किलोमीटर लंबी सीमा है।