पीएम मोदी को 8 पूर्व जजों समेत 197 हस्तियों का समर्थन, कहा- घिनौनी राजनीति वाले होंगे बेनकाब
नई दिल्ली, 30 अप्रैल। केंद्र सरकार की नीतियों की आलोचना करने वाले पीएम मोदी को लिखे खुले पत्र की निंदा की गई है। पत्र में तथ्यों को जोड़ तोड़ के साथ प्रस्तुत करने की बात कही गई है। यह पत्र स्वयंभू कांस्टीट्यूशनल कंडक्ट ग्रुप (CCG) की ओर केंद्र सरकार पर 'घृणा की राजनीति खत्म' करने के लिए पीएम मोदी (PM Modi) के लिखे पत्र के जवाब में लिखा गया है।
स्वयंभू कांस्टीट्यूशनल कंडक्ट ग्रुप के 108 पूर्व नौकरशाहों ने केंद्र को चिट्ठी लिखकर नफरत की राजनीति खत्म करने का आह्वान किया गया। इसके जवाब में अब 8 सेवानिवृत्त न्यायधीशों, 97 सेवानिवृत्त नौकरशाहों और 92 रिटायर्ड सशस्त्र बलों के अधिकारियों ने एक खुला पत्र लिखा है। जिसमें कहा गया है कि सीसीजी की ओर खुला पत्र लिखने वाले पूर्व अधिकारियों, जजों और सशस्त्र बलों के अधिकारियों पर सवाल उठाए गए हैं।
"We, the Concerned Citizens, condemn the sordid manipulations of the vested interests and urge all right-thinking citizens to expose them to preserve the
— ANI (@ANI) April 30, 2022
unity&integrity of our great nation,"states the open letter to PM from former judges, public servants &Armed Forces Officers
पत्र में कहा गया कि सीसीजी ने पश्चिम बंगाल में चुनाव के बाद हुई अभूतपूर्व हिंसा पर तथाकथित चुप्पी साथ ली थी। यह मुद्दों के प्रति उनके गैर-सैद्धांतिक दृष्टिकोण को उजागर करता है। पत्र में रिटायर्ड अधिकारियों ने कहा कि हम, चिंतित नागरिक, निहित स्वार्थों के घिनौने जोड़-तोड़ की निंदा करते हैं।
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पूर्व ब्यूरोक्रेट्स और रिटायर्ड जजों ने अपने पत्र में लिखा कि वे सही सोच वाले नागरिकों से आग्रह करते हैं कि वे इसे संरक्षित करने के लिए उन्हें बेनकाब करें। हमारे महान राष्ट्र की एकता और अखंडता, "पूर्व न्यायाधीशों, लोक सेवकों और सशस्त्र बलों के अधिकारियों से पीएम को खुला पत्र कहता है।