क्विक अलर्ट के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
For Daily Alerts
Oneindia App Download

पांच साल में नौ गुनी हो गई सोनिया गांधी की संपत्ति

|
Google Oneindia News

नई दिल्‍ली। यूपीए की चेयरपर्सन और कांग्रेस की अध्‍यक्ष सोनिया गांधी रायबरेली से चौथी बार चुनाव जीतने की उम्‍मीद के साथ ही एक बार फिर से चुनाव मैदान में हैं। बुधवार को जब सोनिया गांधी ने अपना नामांकन दाखिल किया तो उन्‍होंने अपनी संपत्ति की भी घोषणा की। सोनिया की ओर से जो शपथ पत्र दाखिल किया गया है उसके मुताबिक उनकी संपत्ति वर्तमान समय में नौ करोड़ 28 लाख रुपए की है।

खास बात है कि वर्ष 2009 में उनकी ओर से दाखिल किए गए शपथ पत्र के मुताबिक उनकी संपत्ति एक करोड़ 37 लाख की थी। साफ है कि पांच वर्ष में सोनिया की संपत्ति में नौ गुना इजाफा हुआ है।

बेटे राहुल को दिया लोन
सोनिया गांधी की ओर से मुहैया कराई गई जानकारी के मुताबिक उनकी संपत्ति में नौ लाख रुपए की वह राशि भी शामिल है जो उन्‍होंने अपने बेटे राहुल को बतौर कर्ज दी हुर्इ। इस शपथ पत्र के मुताबिक उनके पास कोई भी कार नहीं है और कैश के नाम पर सिर्फ 85,000 रुपए ही हैं। इसके अलावा उनके पास इटली में 19.90 लाख रुपए संपत्ति भी है।

कभी सार्वजनिक तौर पर लोगों से बचने वाली सोनिया गांधी आज देश की सबसे ताकतवर महिला के तौर पर जानी जाती हैं। सोनिया गांधी कभी सक्रिय राजनीति में इस कदर सफलता हासिल करेंगी इस बात को लेकर विशेषज्ञों को थोड़ी आशंका थी। लेकिन आज सोनिया ने भारतीय राजनीति में वह स्‍थान बना लिया है जिनके बिना भारतीय राजनीति की कल्‍पना करना बेईमानी है।

एक घरेलू महिला से बनीं राजनीतिक महिला
राजीव गांधी से लंदन के एक रेस्‍टोरेंट में मुलाकात होने के बाद वह 60 के दशक में गांधी परिवार की बहू बनीं। सोनिया ने कभी भी राजनीतिक जीवन की ओर रुख नहीं किया था। वह हमेशा ही अपने परिवार और बाकी के कार्यों में व्‍यस्‍त रहीं लेकिन राजीव गांधी की मौत के बाद उन्‍होंने राजनीति में अपने कदम बढ़ाने शुरू किए। वर्ष 1999 में उन्‍होंने लोकसभा चुनावों के जरिए राजनीति में पूरी तरह से सक्रिय हो गईं।

इस वर्ष सोनिया ने कर्नाटक के बेल्‍लारी और उत्‍तर प्रदेश के अमेठी से पहला लोकसभा चुनाव लड़ा और जीत भी हासिल की। इसके बाद उन्‍होंने वर्ष 2004 में अमेठी की सीट बेटे राहुल के लिए छोड़ दी और अपना रुख रायबरेली की ओर कर लिया। सोनिया ने यहां भी जीत दर्ज की। वर्ष 2009 के चुनावों में सोनिया फिर रायबरेली से जीतकर संसद पहुंची। अब वह वर्ष 2014 के चुनावों में एक बार फिर रायबरेली की जनता के सामने हैं और उन्‍हें पूरी उम्‍मीद है कि इस बार भी जनता उन्‍हें निराश नहीं करेगी।

नौ गुना हुआ इजाफा

नौ गुना हुआ इजाफा

सोनिया गांधी की तरफ से दायर किए गए शपथ पत्र पर यकीन किया जाए तो उनकी संपत्ति में पिछले पांच वर्षों में नौ गुना इजाफा हुआ है। हालांकि लोगों को तब और भी ज्‍यादा हैरानी हुई जब उन्‍होंने यह बताया कि उनके पास कार नहीं है।

क्‍या कहा था फोर्ब्‍स ने सोनिया गांधी के लिए

क्‍या कहा था फोर्ब्‍स ने सोनिया गांधी के लिए

फोर्ब्‍स की ओर सोनिया गांधी के बारे मे लिखा गया था कि वह दुनिया के दूसरे सबसे ज्‍यादा आबादी वाले देश भारत की एक ऐसी राजनीतिक पार्टी की मुखिया हैं जो देश की अहम राजनीतिक पार्टी है। कई बार उन पर कई तरह के सवाल भी उठाए गए लेकिन इसके बावजूद वह आगे ही बढ़ती गईं।

रेस्‍टोरेंट में करती थीं वेटर का काम

रेस्‍टोरेंट में करती थीं वेटर का काम

सोनिया गांधी लंदन के वर्सिटी रेस्‍टोरेंट में वेट्रेस का काम करती थीं। यहीं पर वर्ष 1965 में उनकी मुलाकात राजीव गांधी से उस समय हुई जब वह कैंब्रिज यूनिवर्सिटी में अपनी पढ़ाई के लिए लंदन आए।

राजनीति में नहीं थी कभी दिलचस्‍पी

राजनीति में नहीं थी कभी दिलचस्‍पी

वर्ष 1968 में राजीव गांधी से शादी के बाद सोनिया भारत आ गईं। उन्‍होंने कभी भी राजनीति के लिए दिलचस्‍पी नहीं दिखाई। जहां राजीव गांधी एक एयरलाइन पायलट के तौर पर काम कर रहे थे तो वहीं वह अपना घर संभालने में व्‍यस्‍त हो गईं।

विपक्ष की नेता बन पहुंची संसद

विपक्ष की नेता बन पहुंची संसद

सोनिया गांधी वर्ष 1999 में लोकसभा का चुनाव जीतकर पहली बार संसद में पहुंची। केंद्र में पहली बार एक गैर कांग्रेस सरकार का गठन हुआ। इस दौरान सोनिया गांधी ने विपक्ष की नेता के तौर पर संसद में पहली बार अपनी मौजूदगी दर्ज कराई और विशेषज्ञ मानते हैं कि वह विपक्ष की एक मजबूत नेता के तौर पर उभरी थीं।

जब बीमारी पर उठे कई सवाल

जब बीमारी पर उठे कई सवाल

करीब तीन साल पहले सो‍निया गांधी को न्‍यूयॉर्क के केट्टरिंग कैंसर सेंटर में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। बताया जाता है कि उस समय उन्‍हें सर्वाइकल कैंसर डाइग्‍नोस हुआ था। हालांकि उनकी बीमारी को लेकर कई तरह के सवाल भी उठे। बताया जाता है कि सोनिया गांधी के इलाज पर 1880 करोड़ रुपए का खर्च आया था।

कांग्रेस अध्‍यक्ष के तौर पर नया रिकॉर्ड

कांग्रेस अध्‍यक्ष के तौर पर नया रिकॉर्ड

सोनिया गांधी वर्ष 1998 में पहली बार कांग्रेस की अध्‍यक्ष चुनी गई थीं और वह पहली ऐसी गैर-भारतीय बनीं जिसे 125 साल पुरानी इस राजनीतिक पार्टी का अध्‍यक्ष चुना गया। इसके अलावा उनके नाम पर लंबे समय तक कांग्रेस का अध्‍यक्ष बने रहने का रिकॉर्ड भी दर्ज है।


Comments
English summary
According to the affidavit filed by Sonia Gandhi, her property has increased by 9 folds in last five years .
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X