इस ट्रेन की छत है पारदर्शी, पहाड़ी के बीच से गुजरने पर स्विटजरलैंड जैसा होता है फील
मुंबई। बस कुछ ही समय बाद मुंबई के लोग भी इंडियन रेलव के शानदार विस्टाडोम कोच में बैठकर यूरोप की यात्रा कर सकेंगे। यह खास कोच चेन्नई की कोच फैक्ट्री में तैयार किए गए हैं। सेन्ट्रल रेलवे को इस कोच का तोहफा मिल गया है। रविवार को ये कोच मुंबई भी पहुंच चुके हैं। आइए जानते हैं इन कोच की क्या है खासियत?
180 डिग्री तक घूम जाती हैं सीटें
1-
हर
एसी
कोच
में
कुल
40
सीटें
हैं,
जिन्हें
180
डिग्री
तक
घुमाया
जा
सकता
है।
इससे
यात्रियों
को
एरियल
व्यू
का
मजा
मिलेगा।
2-
इस
कोच
की
छत
पारदर्शी
है,
जिससे
चारों
ओर
का
नजारा
देखा
जा
सकता
है।
3-
इस
कोच
में
12
एलसीडी
भी
लगी
हैं।
4-
हर
कोच
में
एक
फ्रिज,
फ्रीजर,
ओवन,
जूसर
ग्राइंडर
और
हॉट
केस
की
सुविधा
है।
पहाड़ी इलाकों से लिए बनाया गया
5-
हर
कोच
पर
3.38
करोड़
रुपए
का
खर्चा
किया
गया
है,
जिन्हें
चेन्नई
की
इंटीग्रल
कोच
फैक्ट्री
में
बनाया
गया
है।
6-
यह
कोच
खासतौर
पर
इसलिए
बनाए
गए
हैं
ताकि
पहाड़ी
इलाकों
से
गुजरते
समय
यात्री
कुदरती
नजारों
का
लुत्फ
उठा
सकें।
7-
विशाखापट्टनम
और
अराकू
वैली
हिल
स्टेशन
के
बीच
चलने
वाली
ट्रेनों
में
यह
कोच
लगे
हैं,
जो
अब
सेन्ट्रल
रेलवे
के
पास
भी
पहुंच
चुके
हैं।
स्विटरलैंड जैसा होता है अनुभव
8-
अब
इन
कोच
को
मुंबई
के
कर्जत-लोनावला
और
कसारा-इगतपुरी
रूट
पर
चलने
वाली
ट्रेनों
मे
लगाए
जाने
की
योजना
बनाई
जा
रही
है।
9-
इस
कोच
का
किराया
सामान्य
कोच
के
किराए
से
अधिक
होगा,
क्योंकि
इसमें
मिलने
वाली
सुविधाएं
भी
बेहद
खास
हैं।
10-
इस
कोच
में
बैठकर
यात्रियों
को
ऐसा
अनुभव
होगा,
जैसे
स्विटजरलैंड
की
रेलगाड़ियों
में
एल्प्स
पहाड़ियों
से
गुजरने
पर
होती
है।