नुकसान कम करने के लिए धीरे चलेगा पुंछ आपरेशन : सेना प्रमुख (लीड-1)
एक समारोह के दौरान थल सेनाध्यक्ष ने कहा कि कार्रवाई जारी है, हमारा प्रयास है कि हमारे जवानों को कोई नुकसान न हो।
उधर जम्मू-कश्मीर के सीमावर्ती पुंछ जिले में सुरक्षा बलों और आतंकवादियों के बीच भीषण मुठभेड़ सोमवार को लगातार पांचवें दिन भी जारी रही। इस मुठभेड़ में अब तक चार आतंकवादियों समेत सात लोग मारे जा चुके हैं।
पुंछ के मेंढर जिले के घने जंगलों में सुरक्षाकर्मियों और आतंकवादियों के बीच यह मुठभेड़ गुरुवार को शुरू हुई। सेना के जवानों ने पाती तार क्षेत्र में कुछ आतंकवादियों की मौजूदगी का सुराग मिलने पर इलाके की घेराबंदी की थी। समझा जाता है कि क्षेत्र में जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादी छुपे हुए हैं।
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार चार आतंकवादियों और तीन सुरक्षाकर्मियों समेत सात लोग मुठभेड़ शुरू होने के दो दिन के भीतर ही मारे गए। विशेष पुलिस अधिकारी नरेश कुमार शनिवार तड़के मारे गए।
सेना की उत्तरी कमान के प्रवक्ता कर्नल डी. के. कचारी ने बताया कि आतंकवादियों के शव अभी तक बरामद नहीं किए जा सके हैं हालांकि सेना के जवानों ने कुछ शव देखे हैं।
लेकिन मेंढर के स्थानीय नागरिक आतंकवादियों के मारे की खबर से इंकार कर रहे हैं। मोहम्मद इकबाल नाम के एक व्यक्ति ने आईएएनएस को फोन पर बताया, "कोई आतंकवादी नहीं मारा गया है। इतने घने जंगल में किसी को भी दूर तक दिख नहीं सकता।" सुरक्षा बलों ने इस पर कोई भी टिप्पणी करने से इंकार करते हुए कहा, "हमारी प्राथमिकता अभियान पूरा करने और आतंकवादियों का सफाया करने की है।"
सेना और पुलिस के अधिकारियों ने आतंकवादियों द्वारा इस क्षेत्र में बंकर या ठिकाने बनाने की खबरों से इंकार नहीं किया है। एक सुरक्षा विशेषज्ञ ने नाम उजागर नहीं करने की शर्त पर कहा है, "यदि क्षेत्र में कंकरीट से बने बंकर और हथियारों का जखीरा है तो यह पूरी तरह सुरक्षा की चूक है।"
सेना और पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी हालात पर नजर रखने के लिए क्षेत्र में डेरा डाले हैं।
एक अधिकारी ने शनिवार को कहा था, "हमें आतंकवादियों की संख्या का कोई अंदाजा नहीं है क्योंकि वे विभिन्न दिशाओं से गोलीबारी कर रहे हैं। इसका मतलब है कि वे या तो अपनी जगह बदल रहे हैं या फिर गुटों में बंट गए हैं।"
उन्होंने बताया कि आतंकवादियों के पास भारी मात्रा में गोला बारूद है। उन्होंने कहा, "वे लगातार पीका गनों से गोलीबारी कर रहे हैं। यह कार्रवाई कब तक चलेगी, इस बारे में हम कुछ कह नहीं सकते।"
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।