पशुपतिनाथ मंदिर विवाद के बाद अब सेना से उलझे माओवादी
काठमांडू, 5 जनवरी (आईएएनएस)। नेपाल में पशुपतिनाथ मंदिर विवाद के बाद अब माओवादी सरकार सेना के साथ नए संघर्ष में उलझ गई है। रक्षा मंत्री रामबहादुर थापा 'बादल' ने सोमवार को चेतावनी दी कि सरकार सेना प्रमुख जनरल रूकमांगद कटवाल के खिलाफ कार्रवाई कर सकती है।
दक्षिणी नेपाल के चितवन जिले में बादल ने माओवादी मीडिया से कहा कि सेना सरकार को नियंत्रित नहीं करती, सरकार सेना पर नियंत्रण रखती है। यदि सेना प्रमुख संविधान के खिलाफ गए तो सरकार उनके खिलाफ कदम उठाएगी।
बादल की चेतावनी रविवार को कटवाल के नई भर्ती प्रक्रिया आगे बढ़ाने के बयान के बाद आई है। सेना प्रमुख ने माओवादियों का नाम लिए बगैर भर्ती प्रक्रिया को राजनीतिक विवाद में घसीटने के लिए उनकी आलोचना की थी।
इस विवाद के बीज पिछले साल ही पड़ गए थे, जब सेना ने 2,400 नई भर्तियों के लिए विज्ञापन निकाला था। सेना का कहना है कि यह सामान्य प्रक्रिया है और सिविल सर्विस कानून और संविधान के अनुरूप है।
माओवादियों का कहना है कि यह दो वर्ष पहले सरकार के साथ हुए शांति समझौते का उल्लंघन है। इसके बाद ही गृहयुद्ध का अंत हुआ था। माओवादी पार्टी का कहना है कि यदि सेना ने भर्ती आरंभ की तो वे भी अपनी पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) में नई भर्ती आरंभ करेंगे।
इस मामले में हस्तक्षेप करते हुए नेपाल में संयुक्त राष्ट्र मिशन ने पिछले महीने एक बयान जारी करके कहा है कि नेपाली सेना या पीएलए का नई भर्ती करना शांति समझौते का उल्लंघन है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।