महापरिनिर्वाण दिवस: डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर की पुण्यतिथि पर जानें उनके बारे में 10 अहम बातें
महापरिनिर्वाण दिवस: डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर की पुण्यतिथि पर जानें उनके बारे में 10 अहम बातें
नई दिल्ली, 06 दिसंबर: डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर की आज पुण्यतिथि है। हर साल भारत में 6 दिसंबर को डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर पुण्यतिथि मनाई जाती है, जिसे महापरिनिर्वाण दिवस भी कहते हैं। डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर एक अर्थशास्त्री, राजनीतिज्ञ और समाज सुधारक थे और उन्हें 'भारतीय संविधान का पिता' भी कहा जाता है। डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर ने दलितों, महिलाओं और मजदूरों के साथ हो रहे सामाजिक भेदभाव के खिलाफ कई अभियान चला थे। आज 6 दिसंबर 2021 को डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर की 65वीं पुण्यतिथि है। डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर का जन्म 14 अप्रैल 1891 में हुआ था। उनका निधन 6 दिसंबर 1956 को हुआ था। आइए उनकी इस 65वीं पुण्यतिथि पर जानें उनके बारे में 10 अहम बातें।
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अम्बेडकर अर्थशास्त्र में डॉक्टरेट करने वाले पहले भारतीय थे
1. डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर का जन्म 14 अप्रैल 1891 को हुआ था। वे अपने माता-पिता की 14वीं और आखिरी संतान थे। उनके पिता रामजी मालोजी सकपाल सूबेदार मेजर थे। वहीं उनकी माता भीमाबाई मुरबाडकर सकपाल थीं। सूबेदार मेजर ब्रिटिश शासन के तहत एक भारतीय के लिए सर्वोच्च पद था।
2. बीआर अंबेडकर का मूल नाम अंबावडेकर था। लेकिन उनके गुरु और शिक्षकों ने उन्हें प्यार से उपनाम 'अम्बेडकर' में बदल दिया।
3. 15 साल की उम्र में ही डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर की शादी नौ साल की रमाबाई से हुई थी।
4. अम्बेडकर मैट्रिक पास करने वाले पहले दलित थे। वहीं वह विदेश में अर्थशास्त्र में डॉक्टरेट करने वाले पहले भारतीय थे।
संविधान को जलाना चाहते थे बीआर अंबेडकर
5. बीआर अंबेडकर दो साल तक वह मुंबई के गवर्नमेंट लॉ कॉलेज में प्रिंसिपल के पद पर भी रहे थे।
6. भारतीय संविधान के जनक के रूप में लोकप्रिय अम्बेडकर अल्पसंख्यकों के कल्याण को ध्यान में न रखने पर संविधान को जलाना चाहते थे ।उन्होंने भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 का मसौदा तैयार करने से इनकार कर दिया था क्योंकि उन्हें लगा कि यह भेदभावपूर्ण और एकता और अखंडता के सिद्धांतों के खिलाफ है। अनुच्छेद 370 जम्मू और कश्मीर राज्य को विशेष दर्जा देता है।
7. डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर को 1947 में पहला कानून और न्याय मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया था। महिला अधिकार विधेयक खारिज होने के बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया था। मध्य प्रदेश और बिहार को विभाजित करने का विचार सबसे पहले बाबासाहेब अम्बेडकर ने प्रस्तावित किया था। जिसके बाद 1912 में राज्यों का गठन किया गया था।
भारत में काम के घंटों को 14 से 8 घंटे अम्बेडकर ने किए थे
8. 1942 में नई दिल्ली में भारतीय श्रम सम्मेलन के 7वें सत्र में अम्बेडकर ने भारत में काम के घंटों को 14 घंटे से बदलकर 8 घंटे कर दिया था।
9. डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर ने 1935-36 में 'वेटिंग फॉर ए वीजा' शीर्षक से एक 20 पन्नों की अपनी आत्मकथा लिखी। पुस्तक का उपयोग कोलंबिया विश्वविद्यालय द्वारा पाठ्यपुस्तक के रूप में किया जाता है।
10. अपनी मृत्यु से तीन दिन पहले डॉ बाबासाहेब अम्बेडकर ने अपनी पांडुलिपि बुद्ध और उनका धम्म पूरा किया। अम्बेडकर गंभीर मधुमेह (सुगर) से पीड़ित थे। 6 दिसंबर 1956 को दिल्ली में उनके आवास पर उनका निधन हुआ था।