जानिए राहुल-अखिलेश ने साझा प्रेस कांफ्रेंस में क्या कहा?
अखिलेश यादव और राहुल गांधी ने साझा प्रेस कांफ्रेंस की, इस दौरान राहुल गांधी ने कहा कि दोनों ही पार्टियों को कुछ हद तक समझौता करना पड़ेगा, यह साथ प्रदेश के विकास को रफ्तार देने के लिए है।
लखनऊ। कांग्रेस-समाजवादी पार्टी से गठबंधन के बाद पहली बार अखिलेश यादव और राहुल गांधी ने साझा प्रेस कांफ्रेंस को लखनऊ के ताज होटल में संबोधित किया। इस मौके पर राहुल गांधी ने कहा कि उत्तर प्रदेश शब्द में पहला शब्द उत्तर है, यह जो हमारी पार्टनरशिप बनी है यह एक जवाब है। इतिहास में यूपी ने अलग-अलग समय में देश और दुनिया को जबाव दिया है। 1857 में यूपी ने कंपनी राज का जवाब दिया है। उसी तरह हम देश को बांटने वाली शक्तियों को जवाब दे रहे हैं। राहुल गांधी ने कहा कि इस गठबंधन से यूपी की जनता को प्रगति मिलेगी, मुझे खुशी है कि सपा और कांग्रेस के बीच गठबधन हुआ है, अखिलेश और मेरे बीच व्यक्तिगत दोस्ती है। पहले गठबंधन गलत था तो आज भी गलत होगा यह कहना गलत है। इस समय प्रदेश, देश कांग्रेस और सपा के लिए यह गठबंधन ठीक है।
फासिस्ट ताकतों को हराएंगे- राहुल गांधी
राहुल गांधी ने कहा कि हमारा लक्ष्य है कि आरएसएस और फासिस्ट ताकतों को हराए। हम जब भी लोकसभा चुनाव के लिए सपा के साथ गठबंधन करेंगे तो आपको जरूर बताएंगे और खुलकर इस बारे में अपनी बात रखेंगे। इस गठबंधन के जरिए हम उत्तर प्रदेश को बदलने जा रहे हैं और भाजपा की झूठ की राजनीति को खत्म करना चाहते हैं। प्रियंका गांधी के प्रचार मैदान में उतरने के बारे मे राहुल ने कहा कि प्रियंका मेरी बहन है और वह हमेशा मेरी मदद करती है, वह पार्टी के लिए काफी अहम है और यह उनपर पूरी तरह से निर्भर करता है कि वह प्रचार करना चाहती है।
मायावती का सम्मान करता हूं- राहुल गांधी
राहुल गांधी ने कहा कि मैं मायावती की व्यक्तिगत रूप से सम्मान करता हूं, उन्होंने यूपी में सरकार चलाई और कुछ गलतियां की। मायावती व भाजपा में बहुत बड़ा फर्क है। भाजपा क्रोध, गुस्सा फैलाती है, एक हिंदुस्तानी को दूसरे हिंदुस्तानी से लड़ाती है और उसकी विचारधारा से हिंदुस्तान को खतरा है, जबकि मायावती की विचारधारा से देश को खतरा नहीं है। अगर हिंदुस्तान को लड़ना है तो हर धर्म के लोगों को एक साथ खड़ा होना पड़ेगा, जोड़कर आगे बढ़ना है, तोड़कर देश को आगे नहीं ले जाया जा सकता है, मायावती और भाजपा की तुलना नहीं की जा सकती है।
लोग मन बना चुके हैं किसे वोट देना है- अखिलेश
वहीं अखिलेश यादव ने कहा कि हम लोकसभा में साथ रहे, कई बार कार्यक्रमों में मिले, लेकिन खुशी की बात यह है कि साथ काम करने का मौका मिला है। यूपी देश का बड़ा राज्य है और यह देश को दिशा दिखाता है। यह प्रोगरेस का गठबंधन है और यह जनता का गठबंधन है। लोग चाहते हैं कि यह गठबंधन सफल हो उत्तर प्रदेश में, मैं भरोसा दिला सकता हूं कि जिस रफ्तार से यूपी में विकास का का हुआ है वह कांग्रेस के साथ आने से और तेजी से होगा।
अखिलेश ने कहा कि किसी को भी यह शक नहीं हैं कि यह गठबंधन 300 से अधिक सीटें लेकर आएगा। साइकिल के साथ हाथ हो और हाथ के साथ साइकिल हो तो सोचो कितना तेज विकास होगा। हम मिलकर विकास को तेजी से आगे बढ़ाएंगे। यह पहला चुनाव है जब लोग मन बनाकर बैठे हैं कि किसे वोट देना है। लोगों को मौका मिलेगा उन लोगों को जवाब देने का जिन्होंने लोगों को लाइन में खड़ा कर दिया। यह प्रदेश सबसे बड़ा प्रदेश है और देश को भी यहां से संदेश जा रहा है। मैं प्रदेश की जनता को धन्यवाद दुंगा, मैं यह कह सकता हूं कि आने वाले समय में हम देश को और आगे ले जाने का प्रयास करेंगे।
क्या बोलें मायावती पर
वहीं जब अखिलेश यादव से पूछा गया कि आप उन्हे बुआ कहते थे तो उन्हें अगर गठबंधन में लाते तो भाजपा को हराने में और मदद मिलती तो अखिलेश ने कहा कि अब उन्हें बुआ नहीं कहता, मायावती जी बहुत ज्यादा जगह लेती हैं, उनका चुनाव चिन्ह हाथी है, हम दोनों मायावती को उनकी जगह नहीं दे पाते।
27
साल
पर
यह
बोलें
राहुल
राहुल
गांधी
ने
कहा
कि
कांग्रेस
पार्टी
का
लखनऊ
में
वर्कर्स
का
एक
सम्मेलन
हुआ
था
और
उस
सम्मेलन
में
मैंने
कहा
था
कि
अखिलेश
अच्छा
काम
कर
रहा
है
और
उसे
काम
करने
नहीं
दिया
जा
रहा
है,
अखिलेश
ने
पूरी
कोशिश
की
और
हम
चाहते
हैं
कि
अखिलेश
के
नेतृत्व
में
यूपी
तेजी
से
आगे
बढ़े
और
उसी
लिए
हमने
यह
गठबंधन
किया
है।
हमारी
लक्ष्य
हैं
यूपी
को
आगे
बढ़ाना
और
देश
में
क्रोध
और
गुस्से
की
राजनीति
को
रोकना
चाहते
हैं,
इसीलिए
हमने
यह
गठबंधन
किया
है।
राहुल
गांधी
ने
कहा
कि
हम
यूपी
के
युवाओं
को
एक
विकल्प
देना
चाहते
हैं,
कांग्रेस
और
सपा
की
सोच
में
समानता
और
विरोध
हैं,
लेकिन
हम
चाहते
हैं
कि
समानता
पर
चुनाव
लड़े।
थोड़ा
समझौता
हम
दोनों
को
करना
पड़ेगा।
राहुल ने कहा कि जब गंगा और यमुना एक साथ आते हैं तो सब के सब सवाल खत्म हो जाते हैं, हमने यूपी के युवा को मौका दिया है, गंगा और यमुना एक साथ आ गए हैं और प्रगति की सरस्वती बहेगी। अब एक सारे सवाल खत्म हो गए हैं एक ही जवाब मिला है 300 से अधिक सीटें मिलेगी। हम मोदीजी को समझाएंगे कि देश एक है धर्म के आधार पर हमें बांटा नहीं जा सकता है और इस बात को लेकर हम समझौता नहीं करेंगे।
जब काम बोलता है तो क्यों गठबंधन
अखिलेश यादव ने कहा कि अगर काम बोलता है और यूपी को यह साथ पसंद हो साथ हो जाए तो सोचो क्या होगा। कभी-कभी यह सुनिश्चित किया जाता है कि कोई चूक ना रह जाए तो जब हम शत प्रतिशत सरकार में आ ही रहे हैं तो यह साथ लोगों को पसंद है। अच्छे दिन वाले तो दिख ही नहीं रहे हैं, अच्छे दिन वालों का घोषणा पत्र आपने देख लिया उसमें क्या है। हमारा घोषणा पत्र दिल का है जबकि उनका घोषणा पत्र दिमाग का है। गरीब व जनता ने मन बना लिया है कि किसकी सरकार बनेगी।
अखिलेश
के
काम
पर
क्या
बोलें
राहुल
अखिलेश
की
नियति
सही
थी
और
उन्होंने
पूरी
कोशिश
की,
हम
उसी
नियती
को
समर्थन
देना
चाहते
हैं।
अखिलेश
यूपी
को
बदलना
चाहते
हैं
और
हम
उन्हें
इसमें
मदद
कर
सकते
हैं।
राजनीति
नियत
से
होती
है।
आरएसएस
और
मोदी
जी
की
नियत
साफ
नहीं
है,
मोदी
जी
कहते
हैं
कि
मैं
डिजिटल
इंडिया
करना
चाहता
हूं,
स्टार्ट
अप
इंडिया
करना
चाहता
हूं,
सब
वायदे
खोखले
हैं,
लेकिन
नियत
सही
नहीं
है।
अखिलेश
ने
जो
पिछले
पांच
सालों
में
जो
किया
वह
हो
गया
है
और
अब
हम
नए
तरीके
से
यूपी
के
युवाओं
के
लिए
प्लेटफॉर्म
खड़ा
करना
चाहते
हैं।
2019
के
गठबंधन
पर
क्या
बोले
अखिलेश
आने
वाले
समय
पर
अगर
कुछ
करना
भी
हो
तो
मैं
कर
दुंगा
,
हमने
अभी
2017
के
लिए
गठबंधन
किया
है
और
2019
में
हमारी
क्या
योजना
होगी
इस
बारे
में
हम
आपको
बाद
में
बताएंगे।
आने
वाले
समय
में
क्या
फैसले
होंगे
उसपर
हम
बैठकर
बात
करेंगे।
हर
कोई
जानता
है
कि
हमने
काम
किया
है,
सड़क
अगर
कहीं
बनी
है
तो
वह
समाजवादियों
ने
बनाई
है,
इतने
कम
समय
में
देश
में
कहीं
मेट्रो
नहीं
बनी।
आने
वाले
समय
में
जो
होने
जा
रहा
है
उसे
आप
देखेंगे।
आप
पहले
कहते
थे
कि
साढ़े
चार
मुख्यमंत्री
हैं
लेकिन
अब
ऐसा
नहीं
है।