सूरत: लॉकडाउन के कारण लोग भूखे न सोएं, इसलिए ये 2 हजार से ज्यादा परिवारों को पहुंचा रहे खाना
सूरत। देश में कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने के लिए किए गए लॉकडाउन के कारण गरीबों और भिखारियों की जान पर आफत आ गई है। गुजरात में सूरत के वराछा क्षेत्र में 2 हजार से ज्यादा गरीब परिवारों को दो वक्त का खाना भी नहीं नसीब नहीं हो पा रहा। ये लोग भूखे न सोएं इसके लिए कॉर्पोरेटर नीलेश कुंभाणी उन्हें भोजन पहुंचाने में लगे हैं। नीलेश कुंभाणी का कहना है कि, हमने ऐसे लोगों के लिए टिफिन की व्यवस्था की है। सरदार फार्म स्थित कार्यालय पर भोजन तैयार कर टिफिन प्रभावित परिवारों तक पहुंचाएं जा रहे हैं। इसमें 'फ्रेंड ऑफ पुलिस' के जवान एवं कई अन्य मित्र सेवाएं दे रहे हैं। सिर्फ हम ही नहीं, काफी लोग इस नेक काम में लगे हैं।
सूरत
में
ये
लोग
भी
दे
रहे
भूखों
को
खाना
गोपीपुरा
निवासी
आसिफ
बाबुद्दीन
शेख
के
मुताबिक,
हम
और
हमारे
साथी
रविवार
से
दोपहर
और
रात
में
700
लोगों
के
लिए
फूड
पैकेट
बना
रहे
हैं,
जिन्हें
जरूरतमंद
लोगों
तक
पहुंचाया
जाता
है।
उन्होंने
कहा
कि,
गोपीपुरा
में
700
लोगों
को
दिन
में
दो
बार
खाना
पहुंचाया
जाता
है।
कुछ
इसी
तरह
धीरज
कोठारी
और
उनकी
टीम
कार
से
चौक
बाजार,
मजूरा
गेट,
अड़ाजन
जैसे
विस्तार
में
मास्क,
फूड
पैकेट
और
पानी
पहुंचा
रहे
हैं।
बोहरा
समाज
के
लोग
भी
इसी
तरह
शहर
के
अलग
अलग
विस्तार
में
भूखे
लोगों
को
खाना
पहुंचाने
का
काम
कर
रहे
हैं।
यहां
जेट
ने
4900
लोगों
को
भोजन
बांटा
वहीं,
अहमदाबाद
में
कोरोना
वायरस
को
लेकर
लॉक
डाउन
की
स्थिति
में
जरूरतमंदों
के
लिए
भोजन
पहुंचाने
के
लिए
भी
हाथ
बढ़े
हैं।
कुछ
संस्थाओं
की
मदद
से
बुधवार
को
महानगरपालिका
संचालित
जेट
(जॉइन्ट
इन्फॉर्समेंट
टीम)
ने
विभिन्न
इलाकों
में
4900
लोगों
को
भोजन
पहुंचाया
है।
महानगर
पालिका
प्रशासन
के
अनुसार,
पैकेट
वितरित
करते
सभी
सावधानियों
को
ध्यान
में
रखा
जा
रहा
है।
भोजन
का
लाभ
लेने
वालों
में
गरीब
वर्ग
के
अलावा
फुटपाथों
पर
रहने
वाले
भिखारी
भी
शामिल
हैं।
पुलिसकर्मी
खुद
कई
शहरों
में
पैदल
घर
लौटते
प्रवासी
यात्रियों
को
खाना
परोसते
देखे
गए
हैं।
गुजरात: एयरपोर्ट से 2 हजार लोगों को घर पहुंचाने के लिए पुलस ने भेजे वाहन, जेट ने 4900 को भोजन बांटा