अमेरिका ने शक चीन का कर्ज उतारने के लिए पाकिस्तान को आईएमएफ से चाहिए बेलआउट
वॉशिंगटन। अमेरिका ने एक बार फिर अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष (आईएमएफ) से पाकिस्तान की ओर से की गई कर्ज की मांग पर सवाल उठाए हैं। अमेरिका ने सीधे-सीधे शब्दों में कहा है कि पाक को आईएमएफ से आर्थिक मदद इसलिए चाहिए क्योंकि उसे चीन का कर्ज उतारना है। इसके साथ ही अमेरिका ने पाक को दो टूक कह दिया है कि उसे चीन की ओर से हासिल कर्ज में पारदर्शिता लानी होगी। आपको बता दें कि सात अक्टूबर को आईएमएफ की टीम पाकिस्तान पहुंची थी। पाकिस्तान ने अरबों डॉलर के बेल आउट के लिए आईएमएफ से संपर्क की है। अमेरिका को शक है कि पाकिस्तान आईएमएफ से यह सहायता चीन का कर्ज उतारने के लिए मांग रहा है।
आईएमएफ की टीम असंतुष्ट
अमेरिका के अंतरराष्ट्रीय मामलों के उप वित्त मंत्री डेविड मालपास ने कांग्रेस से जुड़ी एक कमेटी की सुनवाई के दौरान सांसदों को बताया, 'आईएमएफ की टीम अभी पाकिस्तान से लौटी है। हम इस बात पर जोर दे रहे हैं कि कर्ज में पूरी पारदर्शिता हो।' मालपास ने यह जानकारी सांसद जेफ मर्कली के सवाल के जवाब में दी। मर्कली ने पूछा था कि क्या आईएमएफ के फंड का प्रयोग चीन का कर्ज उतारने के लिए किया जा रहा है। मर्कली का कहना है कि एक चुनौती यह है कि पाकिस्तान ने ज्यादातर मामलों में अपनी कर्ज की शर्तों का खुलासा नहीं किया है, जिसमें ब्याज दर, उसकी अवधि शामिल है। पाकिस्तान पर चीन का करीब 62 अरब डॉलर का कर्ज है। हाल ही में उसने अपने आर्थिक संकट को दूर करने के लिए अंतराष्ट्रीय मुद्रा कोष से 12 अबर डॉलर की बेलआउट पैकेज की मांग की है। आईएमएफ की टेक्निकल टीम भी पाकिस्तान के हालातों से खुश नहीं थी। आईएमएफ की टीम ने पाकिस्तान की तरक्की पर असंतोष जाहिर किया था। आईएमएफ ने सरकार से कहा है कि वह अपने फाइनेंशियल सेक्टर से और ज्यादा रिटर्न हासिल करने की कोशिशें करे।