IAS Shruti Sharma : UPSC Topper श्रुति शर्मा की ये 10 Viral Photo सोशल मीडिया पर जीत रहीं सबका दिल
नई दिल्ली, 28 सितम्बर। कहते हैं कि कामयाबी के बाद चेहरे की रौनक बदल जाती है। इस बात का एक उदाहरण यूपीएससी टॉपर आईएएस श्रुति शर्मा हैं। यूपीएससी टॉपर बनने से पहले की श्रुति शर्मा की कई ऐसी तस्वीरें सोशल मीडिया में वायरल हो रही हैं, जो हर किसी का दिल जीत रही हैं। किसी तस्वीर में ये बाल कटवाने के बाद 'बाबा' सी नजर आ रहीं तो किसी में यूपीएससी की तैयारी के दौरान फनी अंदाज में।
प्रशिक्षण पर हैं आईएएस श्रुति शर्मा
संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की सिविल सेवा परीक्ष (CSE) 2021 के फाइनल रिजल्ट में अखिल भारतीय स्तर पर (AIR-1) नंबर वन रैंक हासिल करने वाली श्रुति शर्मा फिलहाल मसूरी स्थित लाल बहादुर शास्त्री नेशनल एकेडमी ऑफ़ एडमिनिस्ट्रेशन (LBSNAA) में प्रशिक्षण पर हैं। आने वाले दिनों किसी स्टेट में प्रशासनिक जिम्मेदारियां संभालती नजर आएंगीं।
बिजनौर की रहने वाली हैं श्रुति शर्मा
बता दें कि श्रुति शर्मा मूलरूप से उत्तर प्रदेश के बिजनौर की रहने वाली हैं। वर्तमान में अपने परिवार के साथ श्रुति शर्मा दिल्ली के ईस्ट ऑफ कैलाश में रहती हैं। पिछले 4 साल से सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी कर रही थीं। जामिया मिलिया इस्लामिया की रेजिडेंशियल कोचिंग अकादमी की छात्रा भी रहीं।
श्रुति शर्मा ने दिल्ली से की पढ़ाई
यूपीएससी 2021 में प्रथम स्थान प्राप्त करने वालीं श्रुति शर्मा का जन्म यूपी के बिजनौर जिले में थाना चांदपुर इलाके के गांव बास्टा निवासी सुनील दत्त शर्मा व रचना शर्मा के घर हुआ। श्रुति ने अपनी पढाई दिल्ली में रहकर पूरी की। दिल्ली यूनिवर्सिटी के सेंट स्टीफंस कॉलेज से ग्रेजुएशन व जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी से समाजशास्त्र में पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री हासिल की।
इंजीनियर और डॉक्टरों वाले परिवार की सदस्य
बताया जाता है कि श्रुति के परदादा दयास्वरूप शर्मा जाने माने वैद्य हुआ करते थे। दादा डॉ. देवेंद्र दत्त शर्मा भी चिकित्सक थे। श्रुति के पापा सुनील दत्त शर्मा आर्किटेक्ट इंजीनियर हैं। मां रचना टीचर हैं। श्रुति परिवार की अकेली सदस्य हैं, जिन्होंने कला वर्ग को चुनकर इतिहास पढ़ा। जबकि परिवार में सभी विज्ञान संकाय से पढ़े हुए हैं। अधिकांश सदस्य इंजीनियर और डॉक्टर हैं।
दूसरे प्रयास में टॉप की यूपीएससी
श्रुति अपने स्कूल के दिनों में छात्र कार्यकारी की सदस्य रही थीं। इनको विभिन्न स्कूल कार्यक्रमों के आयोजन के लिए जिम्मेदार सांस्कृतिक मामलों के सचिव के रूप में नियुक्त किया गया था। इन्होंने अपने दूसरे प्रयास में यूपीएससी टॉप किया।
यूपीएससी टॉप करने का नहीं था भरोसा
यूपीएससी टॉप करने के बाद ओडिशा के भुवनेश्वर की यात्रा के दौरान श्रुति ने एक प्रोग्राम में कहा कि मैं अभी भी ये सोच नहीं पाती हूं कि मैंने पहली रैंक हासिल की है। यह एक अच्छा एहसास है। मुझे रैंक 1 की उम्मीद नहीं थी। मैं बहुत चिंतित थी। अब मैं बहुत खुश हूं, लेकिन मेरे लिए यह विश्वास करना कठिन है कि मैंने परीक्षा में टॉप किया है।
यूपीएससी पास करने की रणनीति
श्रुति का मानना है कि सबसे मुश्किल परीक्षाओं में से एक यूपीएससी की सिविल सेवा परीक्षा पास करने के लिए जरूर है कि भीतर स्ट्रांग विल पावर और उचित रणनीति हो। अपनी तैयारी में अपना 100 प्रतिशत ध्यान देना चाहिए। क्लियर गोल सेटिंग, पूर्ण संकल्प और स्ट्रांग विल पावर से आप इस परीक्षा में सफलता हासिल कर सकते हैं। यूपीएससी के सफर के लिए बहुत मेहनत और धैर्य की भी जरूरत है।
अंकिता अग्रवाल व गमिनी सिंगला ने भी मारी बाजी
उल्लेखनीय है कि यूपीएससी की सिविल सेवा परीक्षा 2021 के टॉपर्स की सूची 28 मई 2022 को जारी की गई थी। श्रुति शर्मा ने पूरे भारत में नंबर 1 रैंक हासिल की थी। श्रुति शर्मा के साथ-साथ अंकिता अग्रवाल ने दूसरा और गामिनी सिंगला ने तीसरा स्थान पाया था।
यूपीएससी 2022 का बैच फाउंडेशन कोर्स
बता दें कि यूपीएससी 2022 का यह बैच फाउंडेशन कोर्स पर अभी LBSNAA में हैं। गांव दर्शन कर रहे हैं। इसके बाद इनको भारत दर्शन करवाया जाएगा। उम्मीद है कि नवंबर अंत तक पूरे बैच को कैडर आवंटित कर दिया जाएगा। माना जा रहा है कि श्रुति शर्मा अपने होम कैडर यूपी को प्राथमिकता देगी।
बिजनौर में जोरदार स्वागत
यूपीएससी टॉपर बनने के बाद श्रुति शर्मा अपने जिले बिजनौर में पहुंची तो लोगों ने इनके स्वागत में पलक पांवड़े बिछा दिए। ढोल नगाड़ों से जोरदार स्वागत किया गया। महिलाओं ने मंगल आरती उतारी। बिजनौर कलक्ट्रेट में डीएम और अन्य अफसरों ने श्रुति शर्मा को बुके भेंट किए।
सफलता के लिए जुनून जरूरी
इस मौके पर श्रुति शर्मा वर्धमान कॉलेज भी पहुंची। वहां पर इन्होंने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्र-छात्राओं से संवाद किया। उन्हें सफलता का मूल मंत्र दिया और सफल होने तक तैयारी की बारीकियों से रूबरू कराया। कहा कि लक्ष्य को पाने के लिए जुनून जरूरी है।
IAS छोड़ Unacademy शुरू करने के बाद Roman Saini की जिंदगी कितनी बदली? VIDEO में कही दिल की बात