सागर और बरेली की फॉरेंसिक लैब खोलेंगी टाइगर की मौत का राज, बिसरा के सैंपल भेजे गए
टाइगर को फांसी पर लटकाकर शिकार के मामले में उच्च स्तरीय जांच आगामी 7 दिन में पूरी करने के आदेश दिए गए हैं। उपवन मंडल अधिकारी को जांच सौंपी गई है। पोस्टमार्टम में लिए गए सैंपल सागर और बरेली जांच के लिए भेजे गए हैं।
पन्ना टाइगर रिजर्व में चार दिन पहले पेड़ से लगे फंदे में फंसने पर युवा टाइगर की मौत के मामले में सागर की स्टेट फॉरेंसिक लैब (FSL) और बरेली स्थित भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (IVRI) में जांच की जाएगी। टाइगर रिजर्व द्वारा बाघ के पोस्टमार्टम के दौरान लिए गए बिसरा सैंपल इन लैबों में जांच के लिए भेजे गए हैं।
पन्ना टाइगर रिजर्व में विक्रमपुर नर्सरी के पास करीब दो साल उम्र का युवा बाघ फंदे पर झूलता मिला था। फांसी पर फंदे पर झूलकर टाइगर की मौत का मामला सामने आने के पीटीआर, वन विभाग से लेकर राजधानी तक हड़कंप मचा हुआ है। मामले में सीएम शिवराज सिंह चौहान ने उसी दिन आपात बैठकबुलाकर अधिकारियों को फटकार लगाते हुए जांच के निर्देश दिए थे। इधर वन्य प्राणी संस्थान, पीटीआर और शिवपुरी से विशेषज्ञों की टीम ने मृत टाइगर का पीएम कर बिसरा को प्रिजर्व कर सागर स्थित स्टेट फॉरेसिक लैब (एफएसएल) और यूपी के बरेली में स्थित भारतीय पशु चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (Indian Veterinary Research Institute) को भेजे गए हैं। इनकी जांच में टाइगर की मौत का खुलासा हो सकता है।
बाघ की दहाड़ से थर्राता था जो जंगल, वहीं पांच दिन फांसी पर लटका रहा 'टाइगर'
7
दिन
में
जांच
रिपोर्ट
सबमिट
होगी
पीटीआर
प्रबंधन
के
अनुसार
7
दिसंबर
को
विक्रमपुर
तिलगुंवा
बीट
में
टाइगर
की
फंदे
में
फंसकर
मौत
के
बाद
मामले
उच्च
स्तर
से
जांच
कराई
जा
रही
है।
इसमें
उप
वनमंडल
अधिकारी
स्तर
के
अधिकारी
को
जांच
का
जिम्मा
सौंपा
गया
है।
इन्हें
सात
दिन
के
अंदर
जांच
पूरी
कर
शासन
को
रिपोर्ट
सबमिट
करना
है।
बात
दें
कि
मामले
में
डिप्टी
रेंजर
और
बीट
गार्ड
को
निलंबित
कर
दिया
गया
है।
वहीं
घटना
स्थल
से
दो
किलोमीटर
दूर
स्थित
गांव
में
डॉग
स्कॉड
की
निशानदेही
पर
दो
लोगों
को
गिरफ्तार
कर
कोर्ट
में
पेश
किया
गया
था।
इन
दोनों
को
14
दिन
की
न्यायायिक
हिरासत
में
भेज
दिया
गया
है।
इन्होंने
एक
तीसरे
व्यक्ति
के
संलिप्त
होने
की
जानकारी
दी
थी,
जिसकी
पुलिस
की
मदद
से
तलाश
की
जा
रही
है।