मोदी सरकार के कड़े रुख के बाद ब्रिटेन ने अपने यात्रियों के लिए ट्रैवल एडवाइजरी को किया अपडेट
नई दिल्ली, 2 अक्टूबर: ब्रिटेन के नए यात्रा नियमों पर भारत सरकार ने भी सख्त रुख अख्तियार किया है। जिसके तहत अब जो भी यात्री ब्रिटेन से भारत आएगा, उसे 10 दिन के लिए क्वांरटीन किया जाएगा। इसके अलावा एयरपोर्ट पर ही RT-PCR टेस्ट होगा। जब टेस्ट को 8 दिन बीत जाएंगे, तो फिर से यात्री को RT-PCR टेस्ट करवाना होगा। इस फैसले के बाद ब्रिटेन ने अब भारत आने वाले अपने नागरिकों के लिए ट्रैवल एडवाइजरी को अपडेट किया है।
ब्रिटेन सरकार के प्रवक्ता ने कहा कि भारत के नए फैसले से वो अवगत हैं। अब उनके अधिकारी इस संबंध में भारतीय अधिकारियों से बातचीत कर रहे हैं। साथ ही सरकार ने अपने बयान में 10 दिन क्वारंटीन और दो बार RT-PCR टेस्ट का जिक्र किया, जिसका पैसा यात्रियों को ही देना होगा। प्रवक्ता ने आगे कहा कि जैसे ही इस संदर्भ में कोई हल निकलता है, वैसे ही इसे GOV.UK के FCDO ट्रैवल एडवाइजरी पर अपडेट कर दिया जाएगा।
वहीं दूसरी ओर ब्रिटेन सरकार के सूत्रों ने कहा कि अतिरिक्त देशों में वैक्सीन प्रमाणन के विस्तार की समीक्षा लगभग हर तीन सप्ताह में की जाएगी। साथ ही वहां की सरकार इस मुद्दे पर भारत के साथ बातचीत जारी रखेगी। अभी यूके चरणबद्ध तरीके से दुनियाभर के देशों और क्षेत्रों में नीति के विस्तार पर काम करना जारी रखे हुए है। सूत्रों ने ये भी बताया कि सार्वजनिक स्वास्थ्य कारकों को ध्यान में रखते हुए, टीके की मान्यता पर निर्णय मंत्रियों द्वारा किए जाते हैं।
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कहां
आ
रही
दिक्कत?
दरअसल
ब्रिटेन
को
कोविशील्ड
से
कोई
दिक्कत
नहीं
है,
क्योंकि
ये
ऑक्सफोर्ड
की
एस्ट्राजेनेका
वैक्सीन
का
ही
बदला
हुआ
नाम
है।
एस्ट्राजेनेका
वैक्सीन
का
इस्तेमाल
पूरे
ब्रिटेन
में
हो
रहा
है।
ब्रिटिश
अधिकारियों
के
मुताबिक
उनको
समस्या
कोविशील्ड
के
सर्टिफिकेट
से
है।
कुछ
दिनों
पहले
भारत
में
ब्रिटिश
राजदूत
ने
कहा
था
कि
वो
Cowin
के
निर्माताओं
से
बात
कर
रहे
हैं।
जल्द
ही
इस
समस्या
का
समाधान
हो
जाएगा।
वहीं
भारत
के
राष्ट्रीय
तकनीकी
सलाहकार
समूह
के
अध्यक्ष
डॉ.
एनके
अरोड़ा
का
कहना
है
कि
देश
की
प्रमाणन
प्रक्रिया
मजबूत
है।
ऐसे
में
ब्रिटिश
अधिकारी
जबरदस्ती
उस
पर
अंगुली
उठा
रहे
हैं।