स्वीडन के वैज्ञानिक स्वांते पाबो को चिकित्सा का नोबेल, निएंडरथल आदिमानव को लेकर की थी अहम रिसर्च
नई दिल्ली, 3 अक्टूबर: नोबेल पुरस्कारों का ऐलान हो गया है, जिसके तहत स्वीडन के वैज्ञानिक स्वांते पाबो को चिकित्सा के नोबेल के लिए चुना गया। उन्होंने विलुप्त होमिनिन और मानव विकास के जीनोम से संबंधित खोजों के लिए शरीर विज्ञान/चिकित्सा में 2022 का नोबेल पुरस्कार जीता। पाबो और उनके परिवार ने पुरस्कार के ऐलान के बाद खुशी जाहिर करते हुए पैनल को धन्यवाद दिया।
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स्टॉकहोम में स्थित करोलिंस्का संस्थान के पैनल द्वारा इस पुरस्कार की घोषणा की गई है। संस्था के मुताबिक पाबो एक जेनेटिस्ट हैं, जो विकासवादी आनुवंशिकी के क्षेत्र के एक्सपर्ट हैं। उन्होंने निएंडरथल जीनोम पर काफी काम किया। निएंडरथल आदिमानवों की जीनोम सिक्वेंसिंग असंभव सी लगती थी, जिसे उन्होंने संभव बना दिया। निएंडरथल मानव होमो वंश के एक विलुप्त सदस्य हैं। जर्मनी में निअंडर नाम की घाटी में इन आदिमानवों के अवशेष मिले थे, इसी वजह से उनका नाम निएंडरथल रख दिया गया।
चिकित्सा के बाद अब मंगलवार को भौतिकी के नोबेल पुरस्कार की घोषणा की जाएगी। इसके बाद बुधवार को रसायन और फिर गुरुवार को साहित्य का नोबेल दिया जाएगा। वहीं नोबेल शांति पुरस्कार की घोषणा शुक्रवार और अर्थशास्त्र की 10 अक्टूबर को होगी।
ऐसे
हुई
इस
पुरस्कार
की
शुरुआत
नोबेल
पुरस्कार
स्वीडन
के
मशहूर
उद्योगपति
अल्फ्रेड
नोबेल
के
नाम
पर
दिया
जाता
है।
उन्होंने
डायनामाइट
की
खोज
की
थी।
ये
पुरस्कार
भौतिक
विज्ञान,
रसायन
विज्ञान,
फिजियोलॉजी
और
मेडिकल,
अर्थशास्त्र,
साहित्य
और
शांति
की
कैटगरी
में
दिया
जाता
है।
इस
पुरस्कार
को
पाने
वालों
को
मेडल,
सर्टिफिकेट
के
साथ
9
लाख
डॉलर
की
राशि
भी
मिलती
है।
दुनिया की सबसे 'दुर्लभ' नीलामी, रूसी पत्रकार ने नोबेल पुरस्कार बेचा, जानिए क्यों उठाया ऐसा कदम ?
कौन
कर
सकता
है
आवेदन?
दुनिया
भर
के
लाखों
लोग
नोबेल
पुरस्कार
के
लिए
नॉमिनेशन
के
योग्य
हैं।
इसके
लिए
विश्वविद्यालय
के
प्रोफेसर,
कानूनविद,
पूर्व
नोबेल
पुरस्कार
विजेता
और
स्वयं
समिति
के
सदस्य
भी
आवेदन
कर
सकते
हैं।
हालांकि,
नामांकन
को
50
वर्षों
तक
गुप्त
रखा
जाता
है,
लेकिन
जो
लोग
नामांकन
जमा
करते
हैं,
वे
कभी-कभी
सार्वजनिक
रूप
से
अपने
सुझावों
की
घोषणा
करते
हैं।