ब्रिटेन में पूर्व जासूस पर हमले में रूस का हाथ: टेरीज़ा मे
पूर्व रूसी जासूस सर्गेई स्क्रिपल और उनकी बेटी को ज़हर देने के मामले में ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरीज़ा मे ने सांसदों से कहा है कि जिस प्रकार का नर्व एजेंट हमले में इस्तेमाल किया गया था वो सैन्य-ग्रेड का और रूस द्वारा निर्मित था.
प्रधानमंत्री ने कहा है कि सरकार इस निष्कर्ष पर पहुंची है कि सेलिस्बरी हमले के लिए रूस के ज़िम्मेदार होने की बहुत अधिक संभावना है.
पूर्व रूसी जासूस सर्गेई स्क्रिपल और उनकी बेटी को ज़हर देने के मामले में ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरीज़ा मे ने सांसदों से कहा है कि जिस प्रकार का नर्व एजेंट हमले में इस्तेमाल किया गया था वो सैन्य-ग्रेड का और रूस द्वारा निर्मित था.
प्रधानमंत्री ने कहा है कि सरकार इस निष्कर्ष पर पहुंची है कि सेलिस्बरी हमले के लिए रूस के ज़िम्मेदार होने की बहुत अधिक संभावना है.
विदेश कार्यालय ने रूसी राजदूत से इस पर सफ़ाई मांगी है.
प्रधानमंत्री मे ने कहा है कि मंगलवार के अंत तक यदि 'विश्वसनीय प्रतिकिया' नहीं मिलती है तो ब्रिटेन इसको रूस द्वारा 'शक्ति के ग़ैर-क़ानूनी प्रयोग' के तौर पर मानेगा.
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नर्व एजेंट
उन्होंने आगे जानकारी दी कि इस हमले में जिस रसायन का इस्तेमाल किया गया है वह नर्व एजेंट का ही रूप है जिसे नोविचोक के नाम से जाना जाता है.
टेरीज़ा मे ने सीधे कहा, "या तो यह रूसी राष्ट्र द्वारा हमारे देश पर सीधा हमला है या फिर रूसी सरकार नर्व एजेंट पर नियंत्रण खो चुकी है और उसने उसे दूसरे लोगों के हाथों में जाने की अनुमति दी है."
उन्होंने कहा कि विदेश सचिव बोरिस जॉनसन ने रूस के राजदूत को नोविचोक कार्यक्रम की पूरी जानकारी रासायनिक शस्त्र निषेध संगठन को देने को कही है.
मे ने कहा कि ब्रिटेन को अधिक व्यापक उपायों के लिए तैयार रहना चाहिए.
66 साल के रिटायर्ड सैन्य ख़ुफ़िया अधिकारी स्क्रिपल और उनकी 33 वर्षीय बेटी सेलिस्बरी सिटी सेंटर में एक बेंच पर बेहोशी की हालत में मिले थे. अभी भी उनकी हालत गंभीर बनी हुई है.
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क्या है नोविचोक एजेंट?
नोविचोक को रूसी भाषा में 'नवागंतुक' कहा जाता है. यह उन नर्व एजेंटों के समूह का हिस्सा है जिसे सोवियत राष्ट्र ने 1970 से 1980 के बीच ख़ुफ़िया तरीके से विकसित किया था.
इसमें इस्तेमाल होने वाला एक रासायन ए-230 कहलाता है जो कथित तौर पर वीएक्स नर्व एजेंट से पांच से आठ गुना ज़हरीला है. इससे किसी शख़्स को चंद मिनटों में मारा जा सकता है.
इस रसायन के कई प्रकार बनाए जाते हैं और उसमें से कथित रूप से एक को रूसी सेना ने रासायनिक हथियारों के रूप में अनुमति दी है.
इसमें से कुछ नर्व एजेंट तरल पदार्थ में होते हैं. वहीं, कुछ का मानना है कि यह ठोस रूप में भी होते हैं.
कुछ नर्व एजेंट इतने ख़तरनाक़ होते हैं कि अगर उनको मिला दिया जाए तो वह और ज़हरीले एजेंटों को निर्मित कर देते हैं.
ब्रिटेन प्रधानमंत्री के इन आरोपों के बाद रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया ज़खारोवा ने कहा है कि मे का बयान 'ब्रितानी संसद में एक सर्कस के कार्यक्रम' की तरह है.
उन्होंने कहा कि उकसावे का यह एक राजनीतिक अभियान है.
रूसी विदेश मंत्रालय ने टेरीज़ा मे के बयान को एक तरह की परीकथा बताया है. लेकिन यूरोपीय संघ और अमरीका ने ब्रिटेन का पक्ष लिया है.
अमरीकी राष्ट्रपति के कार्यालय व्हाइट हाउस ने हमले की निंदा की है, जबकि यूरोपीय संघ के वाइस प्रेसिडेंट फ़्रांस टिमरमैन्स ने इस मौके पर ब्रिटेन के साथ पूरी एकजुटता दिखाई है.