भारत करता रहेगा पाकिस्तान में 'सर्जिकल स्ट्राइक', UNSC में आतंकवाद पर मोदी सरकार की दो टूक
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत ने पाकिस्तान को फौरन पीओके खाली करने के लिए कहा है और मोदी सरकार ने कहा है कि, पूरी दुनिया में पाकिस्तान की पोल खुल चुकी है।
न्यूयॉर्क, नवंबर 17: यूनाइटेड नेशंस सिक्योरिटी काउंसिल में भारत ने पाकिस्तान को जमकर लताड़ लगाई और फौरन पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) खाली करने को कहा है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत ने कहा कि, अब इस बात को पूरी दुनिया जानती और समझती है कि, पाकिस्तान वो देश है, जो खुलेआम आतंकियों को समर्थन देता है और वो संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के मंच को भारत के खिलाफ प्रोपेगेंडा फैलाने के लिए इस्तेमाल करता है।
पाकिस्तान को जमकर फटकार
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत ने जोर देते हुए कहा कि, पाकिस्तान ने हमेशा से भारत के खिलाफ दुर्भावनापूर्ण प्रचार के लिए संयुक्त राष्ट्र के मंचों का इस्तेमाल किया है। इसके साथ ही भारत ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में कश्मीर मुद्दे को उठाने के लिए इस्लामाबाद की जमकर खिंचाई की और पाकिस्तान से जम्मू और कश्मीर के सभी क्षेत्रों को तुरंत खाली करने को कहा है। संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन की काउंसलर डॉ. काजल भट्ट ने कहा कि, ''मैं भारत की स्थिति के बारे में स्पष्ट करना चाहूंगी कि, केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर और लद्दाख हमेशा भारत का एक अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा थे। इसमें वे क्षेत्र शामिल हैं जो पाकिस्तान के अवैध कब्जे में हैं। हम मांग करते हैं कि, जिन क्षेत्रों पर पाकिस्तान ने अवैध कब्जा कर रखा है, उसे फौरन खाली करे।''
''पाकिस्तान करता है प्रोपेगेंडा''
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन की काउंसलर डॉ. काजल भट्ट ने कहा कि, पाकिस्तान हमेशा से संयुक्त राष्ट्र के इस मंच का इस्तेमाल प्रोपेगेंडा फैलाने के लिए करता है और इसीलिए एक बार फिर से भारत को उसका जवाब देने के लिए इस मंच पर आने के लिए मजबूर होना पड़ा है। भारत ने कहा कि, पाकिस्तान के प्रतिनिधि ने यूएनएसी के मंच पर ''तुच्छ टिप्पणियां'' की हैं। भारतीय प्रतिनिधि ने कहा कि, ''यह पहली बार नहीं है कि, पाकिस्तान के प्रतिनिधि ने भारत के खिलाफ गिरा हुआ और दुर्भावनापूर्ण प्रचार के लिए संयुक्त राष्ट्र द्वारा प्रदान किए गए प्लेटफार्मों का दुरुपयोग किया है''। काजल भट ने कहा कि, पाकिस्तान के प्रतिनिधियों ने "अपने देश की दुखद स्थिति से दुनिया का ध्यान हटाने के लिए व्यर्थ प्रयास किया है, जहां आतंकवादी आम लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ करते हैं, खासकर जहां अल्पसंख्यकों के साथ काफी खराब सलूक किया जाता है''।
''आतंकियों का साथ देने का इतिहास''
भारतीय प्रतिनिधि ने यूनाइटेड नेशंस सिक्योरिटी काउंसिल के मंच पर पाकिस्तान को बेनकाब करते हुए कहा कि, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के सभी सदस्य देश इस बात से अवगत हैं कि पाकिस्तान का एक स्थापित इतिहास और आतंकवादियों को पनाह देने, सहायता करने और सक्रिय रूप से समर्थन करने की नीति है।'' काजल भट ने कहा कि, "यह वह देश है जिसे राज्य की नीति के तहत आतंकवादियों को खुले तौर पर समर्थन, प्रशिक्षण, वित्तपोषण और हथियारों से लैस करने वाले देश के रूप में मान्यता दी गई है।" भारत के काउंसलर ने यह भी रेखांकित किया कि, पाकिस्तान "यूएनएससी द्वारा प्रतिबंधित आतंकवादियों की सबसे बड़ी संख्या की मेजबानी करने का अपमानजनक रिकॉर्ड रखता है"।
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''आतंकवादियों पर हो कार्रवाई''
भारतीय प्रतिनिधि ने यूएनएससी के मंच पर पाकिस्तान को लताड़ लगाते हुए कहा कि, ''भारत पाकिस्तान समेत अपने सभी पड़ोसी देशों से सामान्य संबंध चाहता है, और भारत ''शिमला समझौता और लाहौर घोषणा'' के अनुसार द्विपक्षीय और शांति के साथ वार्ता के लिए प्रतिबद्ध है, लेकिन कोई भी सार्थक बातचीत तभी हो पाएगी, जब 'माहौल आतंक और हिंसा से मुक्त हो'। भारतीय प्रतिनिधि ने जोर देते हुए कहा कि, ''इस तरह के अनुकूल माहौल बनाने की जिम्मेदारी पाकिस्तान पर है''। उन्होंने कहा कि, ''जब तक पाकिस्तान सीमा पार से आतंकवाद को बढ़ावा देता रहेगा, तब तक भारत सीमा पार आतंकवाद का जवाब देने के लिए दृढ़ और निर्णायक कदम उठाता रहेगा।''
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