Nishan Sahib: सिखों के धार्मिक झंडे 'निशान साहिब' के बारे में जानिए ये बातें?
धार्मिक झंडे 'निशान साहिब' के बारे में जानिए ये बातें?
Read important facts about Nishan Sahib flag: दिल्ली हिंसा के लिए भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने पंजाबी एक्टर दीप सिद्धू (Deep Sidhu) को जिम्मेदार ठहाराया है, उन्होंने कहा कि लाल किले पर जाने का संयुक्त किसान मोर्चा का कोई भी कार्यक्रम नहीं था लेकिन दीप सिद्धू ने ऐसा करके आंदोलन को खराब करने का काम किया है। आपको बता दें कि मंगलवार को किसानों का एक दल लाल किले पर पहुंचा और उसने वहां पर सिखों के धार्मिक झंडे 'निशान साहिब' (Nishan Sahib) को फहराया, हालांकि इस दौरान काफी हिंसा और बवाल देखने को मिला।
Recommended Video
दीप सिद्धू ने 'निशान साहिब' को फहराने की बात स्वीकारी
गुरनाम सिंह चढ़ूनी के आरोप के बाद खुद दीप सिद्धू (Deep Sidhu)ने फेसबुक लाइव करके 'निशान साहिब' को फहराने की बात तो स्वीकार कर ली लेकिन इस बात से इंकार किया कि उन्होंने लोगों को भड़काया है। उन्होंने कहा कि ये लोकतंत्र है और यहां पर हर किसी को अपनी बात कहने का पूरा अधिकार है। मैंने कुछ गलत नहीं किया और ना ही लाल किले पर तिरंगे का अपमान किया है, उन्होंने वहां 'निशान साहिब' और किसान मजदूर एकता के दो झंडे लहराए है।
'निशान साहिब' को लेकर फैली अफवाएं
आपको बता दें कि जैसे ही कल 'निशान साहिब' का झंडा लाल किले पर फहराया गया वैसे ही सोशल मीडिया पर खबर फैल गई कि प्रदर्शनकारियों ने वहां प्रतिबंधित संगठन 'खालिस्तान' के झंडे को फहराया है, हालांकि बाद में ये सारी बातें अफवाएं निकलीं।
चलिए विस्तार से जानते हैं सिखों के धार्मिक झंडे 'निशान साहिब' (Nishan Sahib) के बारे में खास बातें
'निशान साहिब' खालसा का प्रतीक
- 'निशान साहिब' सिख धर्म के लोगों का एक पवित्र ध्वज है।
- यह त्रिकोणीय ध्वज कपास या रेशम के कपड़े का बना होता है।
- इसके सिरे पर एक रेशम की लटकन होती है।
- इस झंडे के केंद्र में एक खंडा चिह्न भी होता है।
- ये ध्वज गुरुद्वारे के बाहर लगा होता है।
- हर बैसाखी पर इसे नीचे उतार लिया जाता है और एक नए पर्चम से बदल दिया जाता है।
- पहले ये ध्वज लाल रंग का हुआ करता था, फिर ये सफेद रंग का हुआ और अब इसका रंग केसरिया है।
- साल 1601 में पहली बार गुरु हरगोबिन्दजी ने पहली बार अकाल तख्त पर 'निशान साहिब' फहराया था।
- 'निशान साहिब' खालसा का प्रतीक माना जाता है।
अभी तक मामले में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई
मालूम हो कि राजधानी में मंगलवार को हुई हिंसा के बाद अब दिल्ली पुलिस एक्शन में आ गई है। जिस वजह से बुधवार सुबह तक इस मामले में कम से कम 22 FIR दर्ज हुईं। जिसमें कई किसान नेताओं के नाम भी शामिल बताए जा रहे हैं। हालांकि अभी तक मामले में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है। वहीं सीसीटीवी फुटेज के जरिए हिंसा में शामिल अराजक तत्वों की पहचान की जा रही, साथ ही सुरक्षा के मद्देनजर दिल्ली में अर्धसैनिक बलों की 15 कंपनियों को तैनात किया गया है।
यह पढ़ें: Tractor Rally Row: कौन है गैंगस्टर लक्खा सिंह सिधाना,जिस पर लगा लोगों को भड़काने का आरोप?