The Kashmir Files फिल्म को अश्लील और प्रोपेगेंडा कहने वाले IFFI के ज्यूरी हेड के खिलाफ दर्ज हुई शिकायत
The Kashmir Files: इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया के ज्यूरी हेड नादव लैपिड ने जिस तरह से द कश्मीर फाइल्स फिल्म को प्रोपेगेंडा करार दिया उसके बाद ज्यूरी की काफी आलोचना हो रही है। इस पूरे मामले में अब सुप्रीम कोर्ट के वकील ने गोवा पुलिस से इस मामले में शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने आरोप लगाया कि इफ्फी के ज्यूरी हेड ने हिंदू समुदाय को अपशब्द कहे हैं, कश्मीर जिन हिंदुओं ने बलिदान दिया है, उसको इन्होंने गाली दी है। फिल्म को अश्लील और प्रोपेगेंडा कहकर उन्होंने कश्मीर के हिंदुओं का अपमान किया है।
इसे भी पढ़ें- महाराष्ट्र के गवर्नर भगत सिंह कोश्यारी के 'इस्तीफे पर विचार' का सच क्या है ?
एडवोकेट विनीत जिंदल ने नादव लैपिड के खिलाफ आईपीसी की धारा 121, 153ए, 153बी, 295, 298, 505 के तहत केस दर्ज कराया है। बता दें कि द कश्मीर फाइल्स फिल्म कश्मीर में कश्मीरी पंडितों के नरसंहार पर बनी है। इस फिल्म को लेकर एक पक्ष ने काफी आपत्ति जताई थी। लेकिन फिल्म के निर्माता विवेक अग्निहोत्री ने फिल्म को तथ्यात्मक रूप से सही बताया था।
फिल्म में कश्मीरी पंडितों के पलायन को दिखाया गया है। घाटी में 1990 में कश्मीरी पंडितों की सामूहिक हत्या और पलायन को फिल्म में काफी संवेदनशीलता के साथ दिखाया गया है। एडवोकेट विनीत जिंदल ने कहा कि यह फिल्म हिंदुओं के नरसंहार पर बनी सच्ची फिल्म है, ऐसे में इसे अश्लील और प्रोपेगेंडा कहना उनके बलिदान का अपमान है। लैपिड हिंदुओं के बलिदान का अपमान कर रहे हैं। इससे एक समुदाय विशेष की भावना को आहत करने की कोशिश की गई है।
एडवोकेट विनीत जिंदल ने जो शिकायत दर्ज कराई है वह डीजीपी को संबोधित करते हुए दर्ज कराई गई है। गोवा के डीजीपी से शिकायत में कहा गया है कि नादव लैपिड ने जो बयान दिया है वह साफ तौर पर एख समुदाय विशेष का अपमान करने का प्रयास है। उनके इस बयान से मेरी धार्मिक भावना बुरी तरह से आहत हुई है। उनका बयान पूरी तरह से गलत है और इसके पीछे गलत मंशा नजर आ रही है।