विजय माल्या को भारत लाने में अभी तक क्या हुई कार्रवाई, केंद्र से SC ने मांगा जवाब
नई दिल्ली। भगोड़ा कोरोबारी विजय माल्य को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने सख्ती दिखाई है। कोर्ट ने केंद्र सरकार से कहा है कि वह ब्रिटेन में माल्या को भारत लाए जाने संबंधी कार्यवाई पर 6 हफ्ते के भीतर रिपोर्ट पेश करे। न्यायमूर्ति यूयू ललित की अध्यक्षता वाली सुप्रीम कोर्ट की पीठ ने कहा कि विजय माल्या के प्रत्यर्पण के बाद मामले की सुनवाई यूनाइटेड किंगडम में उनके खिलाफ "गुप्त कार्यवाही" के कारण नहीं हो रही थी।
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31
अगस्त
को
पुनर्विचार
याचिका
खारिज
होने
और
सजा
की
पुष्टि
होने
के
बाद
माल्या
अपने
खिलाफ
सुप्रीम
कोर्ट
की
अवमानना
मामले
में
सुप्रीम
कोर्ट
में
पेश
होने
वाले
थे।
पीठ
ने
अवमानना
के
अपने
आदेश
में
कहा
था
कि
माल्या
के
खाते
में
25
फरवरी
2016
को
साढ़े
सात
करोड़
डॉलर
के
भुगतान
के
एक
हिस्से
के
रूप
में
चार
करोड़
डॉलर
आए
थे।
उसने कुछ ही दिनों के भीतर 26 फरवरी और 29 फरवरी 2016 को इस रकम को दूसरी जगह हस्तांतरित कर दिया। कोर्ट के बार-बार आदेश दिए जाने के बावजूद माल्या ने अपनी संपत्ति का स्पष्ट खुलासा नहीं किया था। न ही चार करोड़ डॉलर खाते में आने और फिर इससे निकलने के बारे में कोई जानकारी दी थी। माल्या की दलील थी कि शीर्ष अदालत के निर्देशानुसार उसे 31 मार्च 2016 की स्थिति के अनुसार अपनी संपत्ति का खुलासा करना था और इस तरह से न्यायालय के किसी निर्देश का उल्लंघन नहीं किया गया था।
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