भागवत-तोगड़िया जी होते रहे दुष्कर्म और नहीं हुआ विकास तो क्या करेंगे हिंदू राष्ट्र का?
नई दिल्ली। विश्व हिंदू परिष्द के एक सम्मेलन में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने अपनी बात पर जोर देते हुए कहा कि भारत एक हिंदू राष्ट्र है और हर हिंदुस्तानी हिंदू होना चाहिये। इस नमक-मिर्च वाली दाल में काली मिर्च का तड़का तब लगा जब विहिप नेता प्रवीण तोगड़िया ने कहा कि वो अयोध्या में राम मंदिर बनाने के लिये संकल्पबद्ध हैं और अब मंदिर बनाने का समय आ गया है। जिस दाल को आपने परोसा है, उसे प्रत्येक भारतवासी खाने को तैयार है, लेकिन उससे पहले दो सवालों के जवाब देने होंगे-
- देश में बलात्कार की वारदातें कब रुकेंगी?
- क्या इस वक्त देश की जरूरत विकास नहीं है क्या?
मोहन भागवत एवं प्रवीण तोगड़िया को यह समझना होगा कि देश के लिए इस वक्त चौतरफा विकास बेहद अहम है। संघ प्रमुख का बार-बार यह कहना है भारत एक हिन्दू राष्ट्र है? प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के देश में विकास के इरादों पर रुकावटों के समान है। एक तरफ मोदी देश के हर नागरिक को एक डोर में पिरोना चाहते हैं और दूसरी तरफ आरएसएस-विहिप जैसे संगठन उसी डोर को नीचे की ओर खींच रहे हैं।
देश के लिए जरूरी क्या है-विकास या कुछ और?
सवाल का जवाब दिया विहिप की पत्रिका पंचजन्य के संपादक हितेश शंकर ने और कहा, "संघ प्रमुख मोहन भागवत गलत क्या कह रहे हैं। वे तो देश को याद दिला रहे हैं कि भारत की संस्कृति हिन्दुत्व की संस्कृति है। वे विकास का विरोध तो नहीं कर रहे। इस लिहाज से वे मोदी सरकार से अलग कहां है। हितेश शंकर मानते हैं कि हिन्दुत्व और विकास एक दूसरे के पर्याय है। हिन्दुत्व सबका विकास और कल्याण चाहता है। मोदी सरकार भी सबका साथ,सबका विकास की बात कर रही है। इसमें विरोधाभास कहां है।"
इसी सवाल का जवाब इंदिरा गांधी मुक्त विश्वविद्यालय के काउंसिलर व अखिल भारतीय अधिकार संगठन के अध्यक्ष डा. आलोक चांटिया ने कहा कि इस वक्त देश में सबसे ज्यादा जरूरी है मासूम बच्चियों के साथ हो रहीं घिनौनी वारदातों को रोकना। इस वक्त देश की जरूरत कानून को सख्त बनाना है, इस वक्त देश की जरूरत सरहद पर आये दिन हो रही गोलीबारी को रोकना, इस वक्त देश की जरूरत है बेरोजगारी को दूर करना, इस वक्त देश की जरूरत है उत्तर प्रदेश के सूरत-ए-हाल को दुरुस्त करना, न कि मंदिर-मस्जिद के चक्कर में पड़कर पुन: बर्बादी की कगार में पहुंचाना।
क्या कहा था भागवत ने
रविवार को संघ प्रमुख मोहन भागवत ने एक बयान कहा था कि भारत एक हिन्दू राष्ट्र है और हिन्दुत्व उसकी पहचान है। वहीं, इससे पहले कटक में भागवत ने कहा था कि सभी भारतीयों की सांस्कृतिक पहचान हिन्दुत्व है और देशवासी इस महान संस्कृति के वंशज हैं। भागवत ने कहा था कि जब इंग्लैंड के निवासी को इंग्लिश, जर्मनी को जर्मन और अमेरिका को अमेरिकी कहा जाता है तो फिर हिन्दुस्तान के निवासियों को हिन्दू क्यों नहीं कहा जा सकता?
उधर, कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने अपने ट्वीट में भागवत से पूछा है कि जब हिन्दुत्व एक धार्मिक पहचान है, तो सनातन धर्म क्या है?
Is
a
person
who
believes
in
Islam
Christianity
Sikh
Budhism
Jainism
or
any
other
religion
also
a
Hindu
?
Would
Mohan
Bhagwatji
pl
clarify
?
—
digvijaya
singh
(@digvijaya_28)
August
18,
2014