राहुल गांधी: कांग्रेस अध्यक्ष के तौर पर पहले ही राजनीतिक दंगल में मोदी को किया परेशान
राहुल गांधी: निजी जिंदगी से चुनाव प्रचार के अंदाज तक, लगातार रहे चर्चा में
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नई दिल्ली। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के पोते और पूर्व पीएम राजीव गांधी के बेटे राहुल गांधी के लिए साल 2017 मिला-जुला रहा। अमेठी से सांसद राहुल के खाते में इस साल कुछ कामयाबी आईं तो नाकामयाबियां भी दर्ज हुईं। दिसंबर में राहुल कांग्रेस के अध्यक्ष बनें तो दो दिन बाद ही गुजरात चुनाव में उन्हें हार मिली। खास बात ये है कि वजह सकारात्मक रहीं हों या नकारात्मक लेकिन राहुल पूरे साल सुर्खियों में जरूर बने रहे। राहुल गांधी निजी जीवन, सियासी सफर और कांग्रेस की हार-जीत के सवालों पर सालभर सुर्खियां बटोरते रहे। राहुल गांधी के सियासी सफर में इस साल एक अहम मोड़ आया, जब वो दुनिया की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टियों में शुमार कांग्रेस के अध्यक्ष बने। साथ ही राहुल ने लगातार कांग्रेस के चुनाव प्रचार की कमान भी संभाले रखी, जिससे वो लोगों की निगाह में भी रहे और अखबारों की सुर्खियों में भी।
निजी जीवन
राहुल गांधी पर निजी तौर पर 2013 के बाद से खासे हमले होते रहे हैं, खासतौर से सोशल मीडिया पर उनको निशाना बनाया जाता है। इस साल उनके निजी जीवन के कई काम सुर्खियों में रहे। एक कार्यक्रम में उन्होंने अपने कराटे के खिलाड़ी होने और शादी पर बात की तो इसपर खूब चर्चा हुई। दिल्ली के निर्भया गैंगरेप मामले में उनके चुपचाप पीड़िता के परिवार की मदद की बात सामने आई जिस पर उनकी काफी तारीफ हुई। इतना ही नहीं गुजरात चुनाव के दौारान उनके मंदिर जाने और धर्म को लेकर भाजपा ने सवाल उठाए, जो टीवी चैनलों पर छाए रहे। राहुल गांधी ट्विटर पर भी इस साल खास सक्रिय दिखे और जमकर केंद्र को घेरते रहे, उनके ट्वीट सोशल मीडिया पर ध्यान बटोरते रहे।
चुनाव प्रचार का अंदाज
राहुल गांधी ने इस साल उत्तर प्रदेश, पंजाब, गुजरात समेत कई राज्यों में कांग्रेस के स्टार प्रचारक के तौर पर प्रचार किया। पंजाब को छोड़ दिया जाए को पूरे साल उनके खाते में हार ही ज्यादा दर्ज हुईं लेकिन उनका चुनाव प्रचार का अंदाज ध्यान खींचता रहा। उत्तर प्रदेश मे राहुल की खाट सभाएं खूब चर्चित रहीं तो यूपी के विधानसभा में अखिलेश के साथ उनका 'यूपी के लड़के' स्टाइल में चुनाव प्रचार चर्चा में रहा। गुजरात में राहुल गांधी कभी सुरक्षा घेरा तोड़ पावभाजी खाने पहुंचे तो कभी छात्रा के साथ सेल्फी लेकर मीडिया में छाए रहे।
सियासी सफर
47 साल के राहुल गांधी दिसंबर में कांग्रेस के अध्यक्ष बनाए गए। राहुल से पहले 19 साल तक उनकी मां सोनिया गांधी पार्टी की अध्यक्ष रहीं। राहुल गांधी निर्विरोध पार्टी के अध्यक्ष चुने गए। एक तरफ जहां इस खबर पर कार्यकर्ताओं ने जश्न मनाया तो नहीं उनपर वंशवाद के आरोप भी लगे। पार्टी के एक छोटे नेता ने भी इस पर सवाल उठाया। ये सब लगातार राहुल को सुर्खियों में रखते रहे।
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