क्विक अलर्ट के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
For Daily Alerts
Oneindia App Download

इस शख्‍स ने नीतीश कुमार से 1 महीने में कीं 2 सीक्रेट मीटिंग, पलट सकता है 2019 की बाजी

Google Oneindia News

पटनाः उपचुनावों में कैराना समेत कई सीटों पर बीजेपी की हार के बाद एनडीए के सहयोगी दलों को 2019 की चिंता सताने लगी है। एक ओर एनडीए के कुछ सहयोगी तालमेल-रणनीति बनाने के लिए बैठक की मांग कर रहे हैं तो वहीं, नीतीश कुमार ने 'बिहार फतह' करने के लिए खुद की कवायद शुरू कर दी है। इधर, जनता दल-यूनाइटेड के नेता बीजेपी शीर्ष नेतृत्‍व के साथ सीटों के बंटवारे को लेकर चर्चा कर रहे हैं और उधर नीतीश कुमार ने चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर के साथ एक नहीं बल्कि दो-दो मुलाकात कर डाली हैं। ये वही प्रशांत किशोर हैं, जिन्‍होंने जदयू-आरजेडी और कांग्रेस को साथ लाकर 2015 विधानसभा चुनाव में बीजेपी का विजयरथ बिहार में रोक दिया था।

2019 लोकसभा चुनाव में जदयू की कमान संभाल सकते हैं प्रशांत किशोर

2019 लोकसभा चुनाव में जदयू की कमान संभाल सकते हैं प्रशांत किशोर

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर 2019 लोकसभा चुनाव में जदयू की कमान संभाल सकते हैं। खबर है कि पिछले एक महीने में वह दो बार जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात कर चुके हैं। सूत्रों के मुताबिक, रविवार को जदयू की बैठक हुई थी, जिसमें प्रशांत किशोर भी मौजूद रहे।

2019 लोकसभा के लिए बिहार में नीतीश को कमान देना चाहती है जदयू

2019 लोकसभा के लिए बिहार में नीतीश को कमान देना चाहती है जदयू

वैसे नीतीश कुमार के लिए प्रशांत किशोर का दोबारा काम करना कोई हैरानी की बात नहीं है, लेकिन अटकलें इस बात की लगाई जा रही हैं कि क्‍या वह 2019 में वापस बीजेपी के लिए चुनावी मोर्चा तैयार करेंगे या नहीं? प्रशांत किशोर का नाम पहली बार 2014 लोकसभा चुनाव में ही सामने आया था। उस वक्‍त उन्‍होंने मोदी-शाह के लिए काम किया था और बीजेपी को 2014 लोकसभा चुनाव में अपार सफलता दिलाई थी। खबर यह भी है कि प्रशांत किशोर अगर 2019 लोकसभा चुनाव में जदयू के लिए काम करते हैं तो वह कांग्रेस को खासा नुकसान पहुंचा सकते हैं। ऐसा इसलिए क्‍योंकि प्रशांत किशोर यूपी और पंजाब विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के लिए काम कर चुके हैं, लेकिन इन दोनों चुनावों में प्रशांत किशोर को कांग्रेसियों ने काम ही नहीं करने दिया। ऐसे में अगर प्रशांत किशोर बिहार में जदयू के लिए काम करते हैं तो खासतौर से कांग्रेस को नुकसान पहुंचा सकते हैं।

अमित शाह और मोदी को मिला 2014 की जीत का क्रेडिट, इसलिए हो गए थे अलग

अमित शाह और मोदी को मिला 2014 की जीत का क्रेडिट, इसलिए हो गए थे अलग

प्रशांत किशोर ने 2014 लोकसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी के लिए 'चाय पे चर्चा', युवाओं के बीच 'मंथन', 3डी रैली और भारत विजय रैली जैसे कार्यक्रमों कराए थे। इन सभी कार्यक्रमों को अपार सफलता मिली थी, लेकिन 2014 लोकसभा चुनाव की जीत का पूरा श्रेय नरेंद्र मोदी और अमित शाह के खाते में चला गया। नरेंद्र मोदी तो बीजेपी का चुनावी चेहरा थे, ऐसे में उनके खाते में क्रेडिट जाना प्रशांत किशोर को ज्‍यादा नहीं खला, लेकिन रणनीति पर काम करने के बाद भी प्रशांत किशोर को कुछ नहीं मिला और पूरा का पूरा श्रेय अमित शाह लूट गए।

मंत्रालय की आस में 20 से ज्यादा कर्नाटक कांग्रेस नेताओं का दिल्ली में डेरा, राहुल गांधी लेंगे फैसला मंत्रालय की आस में 20 से ज्यादा कर्नाटक कांग्रेस नेताओं का दिल्ली में डेरा, राहुल गांधी लेंगे फैसला

Comments
English summary
Nitish Kumar prashant kishor one month two meeting 2019 loksabha election
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X