स्मृति ने कहा- एयरपोर्ट पर रोक कर मुझसे पूछा जाता है कौन सा ईरानी, जवाब देती हूं हिदुस्तान वाली
नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी शनिवार को 'हिन्दुस्तान शिखर समागम' में शामिल हुईं। यहां उन्होंने हर मुद्दों पर खुलकर चर्चा की। स्मृति ने राजनीति से लेकर रसोई तक हर चीज पर राय रखी। स्मृति ईरानी ने इस समागम में खुद को एयरपोर्ट पर रोके जाने की एक बात शेयर की। उन्होंने कहा मेरे नाम के साथ ईरानी जुड़ा है, इस कारण मुई कई एयरपोर्ट पर रोका गया और मुझसे पूछा जाता है कौन सा ईरानी? मैं जवाब देती हूं हिन्दुस्तान वाला ईरानी! अगर देश से प्रेम करने को भगवा कहते हैं, तो मुझे गर्व है कि मेरा रंग भगवा है। जिसकी जैसी नजर उसकी वैसी खबर।
शाहीन बाग पर बोलीं स्मृति ईरानी
स्मृति ईरानी ने शाहीन बाग पर भी अपनी राय रखी। शाहीन बाग विरोध-प्रदर्शन पर केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा- जब गोद में खेलते बच्चों से कहा जाता है कि कहो प्रधानमंत्री का कत्ल कर देंगे, देश के संविधान को नहीं मांनेगे, तो यह ममता नहीं है, गोद लिए बच्चे की मौत हो जाए तो यह जिहाद नहीं है। नागरिकता कानून पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश के अल्पसंख्यकों के लिए है, देश की औरतों के लिए है ही नहीं।
मोदी का कत्ल होगा, वहां ऐसा बुलवाया जा रहा है
स्मृति ईरानी का कहना है कि, हिंदुस्तान में बेटियों का बलात्कार किया जाता है, तो मेरा यह गौरव है कि मैं मोदी के नेतृत्व में उनको और उनके परिवार को शरण दूं। एक हिन्दुस्तान होने के नाते यह मेरा गौरव है जो पाकिस्तान, बांग्लादेश की अल्पसंख्य महिला को शरण दे। इस दौरान ईरानी ने वारिस पठान द्वारा दिये गये विवादित बयान पर भी अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा- "मैं उन्हें क्या समझाऊं... जो PM मोदी की हत्या की बात करते हैं। क्या समझाऊं उन्हें, जो कहते हैं कि 15 करोड़ 100 करोड़ पर भारी हैं। मोदी का कत्ल होगा, वहां ऐसा बुलवाया जा रहा है, देश की आहूति देने की योजना बना रहें लेकिन आप स्वाहा होंगे। हिन्दुस्तान सबका है, माइनॉरिटी, मेजोरिटी कुछ नहीं।"
अर्थव्यवस्था पर भी बोलीं स्मृति ईरानी
अर्थव्यवस्था पर विपक्ष के सवाल पर स्मृति ईरानी का यह कहना है, प्रधानमंत्री बार-बार कहते हैं कि सदन में चर्चा करते हैं, पर विपक्ष नहीं करता है, क्योंकि उन्हें जवाब देना होगा। नीति पर कटाक्ष करना विपक्ष का अधिकार है, लेकिन संसद में बहस तो करिए। उन्होंने कहा '5 ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी सिर्फ मोदी का सपना नहीं है। देश का सपना है। बुलंद सपना नहीं देखेंगे तो आगे कैसे बढ़ेंगे।'