चुनाव आय़ोग की बिहार के राजनीतिक दलों के साथ बैठक, चुनाव पर हुई चर्चा
नई दिल्ली। बिहार में इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर चुनाव आयोग ने आज बिहार के राजनीतिक दलों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बातचीत की। बैठक में राजद, जेडीयू, बीजेपी, और कांग्रेस समेत कई दलों ने हिस्सा लिया। इस दौरान नौ विपक्षी राजनीतिक दलों ने चुनाव आयोग को पत्र लिखकर कोविड-19 के समय बिहार विधानसभा चुनाव में जनता के स्वास्थ्य की सुरक्षा का ख्याल रखने तथा सभी विपक्षी दलों को समान अवसर देने की अपील की है। इस साल अक्टूबर-नवंबर के महीने में बिहार विधानसभा के चुनाव होने हैं।
इससे पहले शुक्रवार को ही बिहार के तमाम विपक्षी दलों ने चुनाव आयोग को पत्र लिखा। कांग्रेस, आरजेडी समेत कई दलों ने बिहार चुनाव को लेकर चुनाव आयोग से कहा है कि वह यह समीक्षा करने कि क्या इस महामारी के दौरान निष्पक्ष और स्वतंत्र चुनाव हो सकते हैं? पत्र के जरिए मतदाताओं और पार्टियों के बीच डर का जिक्र करते हुए कहा गया है कि चुनाव एक सुपर स्प्रेडर इवेंट नहीं बनना चाहिए।
पार्टियों ने कहा है कि कोरोना वायरस संक्रमण ने राज्य को बुरी तरह से प्रभावित किया है और मामलों की वास्तविक संख्या मौजूदा संख्या से कहीं अधिक हो सकती है। दलों ने सरकार पर सही संख्या में कोरोना की टेस्टिंग नहीं कराने का आरोप लगाया है। चुनाव आयोग को लिखे पत्र में राजनीतिक पार्टियों ने कहा कि, 'यह मान लेना चाहिए कि अभी भी कई ऐसे लोग संक्रमित हो सकते हैं, जिनमें लक्षण नहीं दिखाई दे रहे होंगे।
दलों ने कहा कि, कई संक्रमित लोगों की टेस्टिंग नहीं हुई होगी। ऐसे में ये लोग एक जगह से दूसरी जगह आते-जाते हैं, जिससे कोरोना का प्रसार होने की आशंका है। आशंका जताई जा रही है कि अक्टूबर-नवंबर में होने वाले बिहार चुनाव के समय बिहार में कोरोना के लाखों मामले हो सकते हैं। पत्र में कहा गया कि, बिहार की आबादी 13 करोड़ है जबकि 7 करोड़ मतदाता है। चुनाव के समय आयोग कैसे सोशल डिस्टेंसिंग जैसे नियमों का पालन करवा पाएगा?
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