CAA Protest: प्रदर्शनकारियों ने दिल्ली के शाहीन बाग में राष्ट्रीय गान गाकर किया 2020 का स्वागत
नई दिल्ली। नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ नए साल पर भी विरोध प्रदर्शन जारी रहा। दिल्ली के शाहीन बाग इलाके में युवाओं ने नए साल के स्वागत के लिए पार्टी में जाने की बजाय राष्ट्रीय गान को चुना। यहां युवाओं सहित लगभग हर उम्र के लोगों ने सीएए का विरोध करते हुए राष्ट्रीय गान गाकर नया साल मनाया। ठंड से बचने के लिए कुछ लोग चाय पीते हुए भी दिखे।
प्रदर्शनकारियों में कुछ तिरपान तो कुछ खुले आसमान के नीचे खड़े रहे। कुछ के हाथ में तिरंगा भी देखा गया। तो कुछ ने सीएए का विरोध करने वाले पोस्टर्स पकड़े हुए थे और 'आजादी, आजादी' के नारे लगा रहे थे। 31 दिसंबर को जैसे ही रात के 12 बजे सब एक दूसरे को नए साल की बधाई देने लगे और फिर सबने राष्ट्रीय गान गाया। इसके बाद सबने 'इंकलाब जिंदाबाद' के नारे लगाए।
यहां राजधानी के विभिन्न इलाकों से हजारों कामकाजी लोग एकत्रित हुए थे। एक निजी कंपनी में काम करने वाले 30 साल के व्यक्ति ने पीटीआई से बातचीत में कहा, 'बेशक, अगर स्थिति सामान्य होती तो मैं भी नए साल का जश्न मना रहा होता।' पहचान ना बताने की शर्त पर इस शख्स ने कहा, 'मैं नहीं चाहता कि यहां कोई मुझे मेरे धर्म के आधार पर जाने। इसके पीछे एक बड़ा कारण है, ये एनआरसी और सीएए का विरोध है।' 'फूल कुमारी' के नाम से जानी जाने वाली एक कलाकार ने अपनी कला के जरिए उन कलाकारों की गिरफ्तारी का विरोध किया, जिन्हें दक्षिण भारत में सीएए का विरोध करने पर गिरफ्तार किया गया था।
इन प्रदर्शनों में स्थानीय पुरुष और महिलाओं ने भी एकजुटता के लिए हिस्सा लिया। इनका कहना है कि ये जरूरी था नहीं तो घर पर टीवी देख रहे होते। बता दें ये इलाका जामिया मिलिया इस्लामिया के पास ही स्थित है। जहां 15 दिसंबर के बाद से सीएए और एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किए जा रहे हैं। इस कानून के पास होने के बाद से ना केवल दिल्ली बल्कि देश के अन्य हिस्सों में भी विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं।
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