टूरिज्म को बढ़ाने के लिए शुरू होगा 'Cow circuit', गुजरात समेत देशभर में बनेंगे 400 गौ-पर्यटन केंद्र
गांधीनगर। टूरिज्म को बढ़ाने देने की एक और कोशिश करते हुए केंद्र सरकार देश में गौ-प्रवासन (काउ सर्किट) शुरू कराएगी। नवगठित राष्ट्रीय कामधेनु आयोग की इस मुहिम में हरियाणा, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र, कर्नाटक, केरल और गोवा जैसे राज्यों को पसंद किया गया है। गाय पर आधारित पर्यटन के लिए एक ऐसा रूट बनेगा, जहां खासतौर पर देशी गाय की नस्ल पैदा होती हों। राष्ट्रीय कामधेनु बोर्ड के अध्यक्ष वल्लभ कथीरिया के मुताबिक, पर्यटकों, विशेष रूप से विदेशी छात्रों-शोधकर्ताओं को इस सर्किट के माध्यम से भारतीय गायों के बारे में बताया जाएगा, जो इस क्षेत्र में अनुसंधान करने में मदद मिलेगी। विदेशी छात्रों को गाय के सभी गुण भी बताए जा सकेंगे और गाय कितनी अमूल्य है, यह भी समझाया जा सकेगा।
गायों के महत्व के बारे में विदेशियों को दी जाएगी हर जानकारी
बकौल वल्लभ कथीरिया, "हमने अब तक धार्मिक, मनोरंजक और साहसिक पर्यटन पर ध्यान केंद्रित किया है, लेकिन अगर हम अपनी गाय को पर्यटन के लिये आकर्षित करते है तो विदेशों में गाय का महत्व पता चलेगा। गुजरात समेत विविध राज्यों में गाय की जो नस्ल है। उनको बढावा देने के लिये भी यह गाय आधारित प्रवासन बडा योगदान देगा।"
देशी गायों के महत्व का भी प्रचार किया जाएगा
उन्होंने आगे कहा कि गाय आधारित प्रवासन से गाय-घी, मूत्र और गोबर से बने उत्पादों के रूप में गौ-आधारित अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी, पर्यटन स्थलों पर यह सब चीजें बेची जाएगी। विदेशी शोधकर्ताओं को आकर्षित करने के लिए देशी गायों के महत्व का भी प्रचार किया जाएगा।
'400 से अधिक गौ-पर्यटन केंद्र स्थापित किए जाएंगे'
"हम हमारे पवित्र यात्राधाम जैसे कि, सोमनाथ, डाकोर, द्वारका, पालीताणा, अंबाजी, बेचराजी जैसे स्थानों पर, राज्य और देश की बडी जेलों में, केरल के आयुर्वेदिक उपचार केंद्रों में गाय आधारित प्रोडक्ट्स बेचने के लिये रख सकते हैं। हम देश भर में 400 से अधिक गौ पर्यटन केंद्र स्थापित करेंगे जो निजी भागीदारी के साथ चलेंगे। केंद्र सरकार प्रति केंद्र 2 करोड़ रुपये का निवेश करेगी। इस पहल में धार्मिक संगठनों, निजी फर्मों और गैर सरकारी संगठनों ने शामिल होने की इच्छा दिखाई है।"
कई साल गौचर विकास बोर्ड के अध्य़क्ष रहे कथीरिया
बता दें कि, भाजपा के पूर्व सांसद वल्लभ कथीरिया 10 वर्षों तक राज्य में गुजरात गौसेवा और गौचर विकास बोर्ड के अध्य़क्ष रह चुके हैं। अब भारत सरकार ने उन्हें राष्ट्रीय कामधेनु आयोग के अध्यक्ष बनाया है।