सुप्रीम कोर्ट ने एलआईसी के आईपीओ पर रोक लगाने से किया इनकार
नई दिल्ली, 12 मई। सुप्रीम कोर्ट ने एलआईसी के आईपीओ के रिलीज करने की चल रही प्रक्रिया पर रोक लगाने की मांग को खारिज कर दिया है। ऐसे में साफ है कि एलआईसी आईपीओ के अलॉटमेंट में किसी भी तरह की बाधा नहीं आएगी और जिन लोगों ने एलआईसी के आईपीओ के लिए बिड किया है उन्हें यह आईपीओ मिलेगा अगर वह कंपनी के शेयर बैंड में आते हैं। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इस अपील पर सुनवाई करने के लिए सहमति दी है जिसमे सरकार के शेयर को डाइल्यूट करने के फैसले को चुनौती दी गई है।
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सुप्रीम कोर्ट के जज जस्टिस चंद्रचूड़ ,सूर्य कांत और पीएस नरसिम्हा ने इस याचिका पर सुनवाई की। दरअसल याचिकाकर्ताओं ने कोर्ट में याचिका दायर करके सरकार के उस फैसले को चुनौती दी थी जिसमे एलआईसी के आईपीओ को लाने के बिल को मनी बिल के तौर पर पेश किया गया था। अडिशनल सॉलिसिटर जनरल ऑफ इंडिया केंद्र सरकार की ओर से कोर्ट में पेश हुए और उन्होंने कहा कि यह भारत के इतिहास में अबतक का सबसे बड़ा आईपीओ है। 73 लाख से अधिक लोगों ने इसके लिए बिड किया है, 22.13 करोड़ शेयर को 939 के प्रीमियम पर बेचा गया है।
वहीं वरिष्ठ वकील श्याम दीवान ने दलील दी है कि एलआईसी के आईपीओ को बेचने के लिए सरकार ने जो प्रक्रिया अपनाई वह गलत है, सरकार ने इसे मनी बिल के तौर पर पेश किया, इसपर विचार किया जाना चाहिए। इसे मनी बिल के तौर पर पास नहीं किया जा सकता है क्योंकि इसमे आम लोगों का अधिकार शामिल है। बता दें कि एलआईसी के आईपीओ के खिलाफ कंपनी का कर्मचारी संघ शुरुआत से विरोध कर रहा है। कंपनी के कर्मचारी सरकार के इस फैसले का विरोध करते हुए कई बार हड़ताल कर चुके हैं और लगातार इसके खिलाफ अपनी आवाज बुलंद कर रहे हैं।