'देश में 'मोदी सरकार' नहीं, कंपनी सरकार है', बुलंदशहर में बोले राकेश टिकैत
'देश में 'मोदी सरकार' नहीं, कंपनी सरकार है', बुलंदशहर में बोले राकेश टिकैत
बुलंदशहर, 24 अक्टूबर: भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की तुलना कंपनी सरकार (ब्रिटिश शासन) से की है। राकेश टिकैत ने कहा, 'देश में मोदी सरकार नहीं, बल्कि कंपनी सरकार है।' उन्होंने कहा कि संयुक्त किसान मोर्चा का संघर्ष से समाधान तक किसान आंदोलन जारी रहेगा और हम हमेशा वार्ता को तैयार हैं।
भाकियू प्रवक्ता राकेश टिकैट ने यह बाते बुलंदशहर के स्याना में कहीं। दरअसल, राकेश टिकैत बुलंदशहर के स्याना में भकियू के एनसीआर महासचिव मांगे राम त्यागी को देखने आये थे। वो एक हादसे में गंभीर रूप घायल हो गए थे। इस दौरान मीडिया से बात करते हुए राकेश टिकैत ने कहा कि मोदी सरकार ने प्रत्येक वर्ष दो करोड़ बेरोजगारों को नौकरी देने का वायदा किया था, लेकिन सात साल हो गए। उन्होंने पूछा कि मोदी जी बताएं कि किन 14 करोड़ लोगों को उन्होंने नौकरियां दी हैं।
राकेश टिकैत यही नहीं रुके, उन्होंने कहा कि सरकार ने एमएसपी पर धान की खरीद का वादा किया था, मगर मंडियों में व्यापारी किसानों का धान एमएसपी पर नहीं खरीद रहे। एमएसपी से कम दरों पर किसान अपनी उपज को बेचने को मजबूर है। बेरोजगारों की देश में फौज खड़ी है, सरकार ने श्रम कानूनों में बदलाव कर कंपनियों को फायदा पहुंचाने का काम किया है। कृषि, बिजली, शीड बिल, श्रम कानूनों में बदलावों को लेकर लड़ाई जारी रहेगी। उन्होंने कहा कि सरकार को कई कंपनियां चला रही है।
टिकैत ने कहा कि किसान सरकार की कुछ गलत नीतियों के कारण पहले से ही बर्बाद होता जा रहा है अब सरकार बाहर से दूध मंगाने की तैयारी में जुटी है। यदि बाहर से दूध आएगा, तो देश का दुग्ध उत्पादक किसान बर्बाद हो जाएगा, अमूल जैसी कंपनियां भी सरकार से दूध पर सब्सिडी की बात कर रही हैं। इतना ही नहीं, टिकैत ने कहा कि बेमौसम बारिश से किसानों की फसल क्षतिग्रस्त हुई है सरकार की जिम्मेदारी है कि फसल पीड़ित किसानों को आर्थिक मदद पहुंचाएं।
किसान
संगठन
किसके
साथ
अभी
तय
नहीं
किसान
द्वारा
किस
पार्टी
को
समर्थन
दिए
जाने
के
सवाल
पर
राकेश
टिकैत
ने
कहा
कि
अभी
वो
वक्त
नहीं
आया
कि
यह
तय
किया
जा
सके
कि
आगामी
विधानसभा
चुनावों
में
किसान
किसके
साथ
होगा।
हालांकि
विपक्षी
दलों
का
काम
है
कि
वह
सरकार
के
गलत
कामों
का
विरोध
करें।
अभी
चुनाव
में
चार-पांच
महीने
बाकी
हैं।
उन्होंने
दावा
किया
कि
आगामी
विधानसभा
चुनाव
देश
का
पहला
ऐसा
चुनाव
होगा
जब
जनता
सत्तारूढ़
सरकार
को
तो
वोट
नहीं
करेगी।